Punajb MgNarega Probe: पंजाब में मनरेगा गड़बड़ियों की जांच के लिए केंद्र दल भेजेगा. जालंधर में समीक्षा के बाद केंद्रीय मंत्री शिवराज चौहान ने कहा कि योजना गरीबों से जुड़ी है, हेराफेरी बर्दाश्त नहीं होगी. वहीं, बाढ़ प्रभावितों को राहत देते हुए मनरेगा में रोजगार 100 से बढ़ाकर 150 दिन किया गया है.
Subsidy on Solar Pumps: उप्र कृषि विभाग के निदेशक डॉ पंकज कुमार त्रिपाठी के मुताबिक, किसानों द्वारा बैंक से ऋण लेकर किसान अंश जमा करने पर कृषि अवस्थापना निधि (एआईएफ) के अंतर्गत केंद्र सरकार व राज्य सरकार द्वारा तीन-तीन फीसदी (कुल छह फीसदी) की छूट ब्याज में प्रदान किए जाने का प्रावधान है.
उत्तर प्रदेश के ललितपुर जिले का एक वीडियो सोशल मीडिया पर जमकर वायरल हो रहा है, जिसमें दिख रहा है कि खुद को पत्रकार बताने वाले एक युवक को गौशाला की कवरेज के दौरान, महिलाओं और अन्य कर्मी दौड़ाकर पीटे रहे हैं. इस वायरल वीडियो को सोशल मीडिया पर शेयर कर विपक्षी पार्टियों भी प्रदेश सरकार पर गौशालाओं की अव्यवस्थाओं को लेकर आरोप लगा रहे हैं. लेकिन सच्चाई कुछ और ही सामने आई.
कर्नाटक सरकार ने बाढ़ से प्रभावित किसानों को अतिरिक्त 1,033 करोड़ रुपये जारी किए. CM सिद्धारमैया ने बताया कि 14.58 लाख हेक्टेयर फसल और 14.24 लाख किसान प्रभावित हुए.
श्मीर वैली फ्रूट ग्रोअर्स और डीलर्स यूनियन के चेयरमैन बशीर अहमद बशीर ने डार की बातों को खारिज कर दिया है. उन्होंने कहा कि सरकार की तरफ से बताए गए आंकड़े बागवानी और कृषि, दोनों क्षेत्रों को हुए नुकसान का कम करके दिखाते हैं. उनका कहना था कि ये तब है जब ये दोनों ही सेक्टर जम्मू और कश्मीर की अर्थव्यवस्था के मुख्य आधार हैं.
छत्रपति संभाजीनगर की CA प्रिया अग्रवाल ने तापमान नियंत्रित कमरे और वर्टिकल फार्मिंग तकनीक की मदद से गर्म इलाके में भी सफलतापूर्वक केसर उगाकर नया मॉडल पेश किया है. करीब 7–8 लाख की लागत से तैयार इस आर्टिफिशियल सेटअप ने साबित किया है कि सही तकनीक से कश्मीर जैसी फसलें भी शुष्क मराठवाड़ा में उगाई जा सकती हैं.
केंद्रीय मंत्री शिवराज सिंह चौहान ने पंजाब के रणसिंह कलां गांव में किसानों से संवाद कर छह साल से पराली न जलाने के मॉडल की सराहना की. उन्होंने कहा कि फसल अवशेष प्रबंधन, डायरेक्ट सीडिंग और मल्चिंग से मिट्टी सुधरती है, लागत घटती है और यह मॉडल पूरे देश में लागू किया जाएगा.
अनंतपुर जिले की स्थिति इस समय बेहद गंभीर है. कभी केले की इतनी अधिक मांग थी कि सरकार ने तड़ीपत्री से 'बनाना ट्रेन' भी शुरू की थी. इसका मकसद केलों को देश के कई हिस्सों और विदेशों तक भेजना था. लेकिन आज यही किसान कठिनाई में हैं. एक टन केले की कीमत पहले 28,000 रुपये थी, लेकिन अब यह घटकर केवल 1,000 रुपये रह गई है.
बिहार में इस वर्ष बाढ़, अतिवृष्टि और मोन्था तूफान ने 12 जिलों में फसलों को गंभीर क्षति पहुंचाई है. सरकार ने राहत देने के लिए फसल सर्वेक्षण पूरा कर लिया है और कृषि इनपुट अनुदान योजना के तहत पात्र किसानों से 2 दिसंबर तक आवेदन मांगे हैं. असिंचित, सिंचित और बहुवर्षीय फसलों के लिए अनुदान की राशि क्रमशः ₹8,500, ₹17,000 और ₹22,500 प्रति हेक्टेयर तय की गई है.
पंजाब में जहां रबी सीजन की बुवाई का समय अपने पीक पर है. वहीं, कई जगहों से किसानों को खाद विक्रेताओं की ओर से जबरन गैर-जरूरी खाद खरीदने के लिए मजबूर किया जा रहा है. इसका असर अमृतसर में देखने को मिला जहां, किसान संगठन के लोगों ने कृषि अधिकारी के कार्यालय सामने धरना प्रदर्शन कर विरोध जताया.
कम समय के (अल्पकालिक) कृषि ऋणों को मध्यम अवधि के कर्ज में बदला जाएगा. इससे किसानों पर रि-पेमेंट का बोझ कम हो सकेगा. इसके अलावा, कृषि से संबंधित ऋणों की वसूली को एक वर्ष के लिए निलंबित कर दिया गया है. स्टेट लेवल बैंकर्स कमेटी (SLBC), महाराष्ट्र स्टेट कोऑपरेटिव बैंक लिमिटेड, मुंबई, और जिला केंद्रीय सहकारी बैंकों को निर्देश दिया गया है कि वो प्रभावित गांवों में उपायों को लागू करें .
Poultry India Expo भारत में बीते साल 14 हजार करोड़ से ज्यादा अंडों का उत्पादन हुआ था. इसी के बाद से भारत विश्व अंडा उत्पादन में तीसरे से दूसरे स्थान पर आ गया है. देश में प्रति व्यक्ति अंडों की खपत भी बढ़ गई है. ये आंकड़ा भी बढ़कर 103 अंडे पर आ गया है.
देसी बीज विदेशी लैबों और कंपनियों के हाथों में पहुंचकर महंगे हाइब्रिड के रूप में लौट रहे हैं. वहीं, ITPGRFA और CGIAR जैसे ढांचे भारत और यहां के किसानों को लाभ नहीं दे पाए. किसान अपनी ही विरासत खरीदने को मजबूर है. “भारत बीज” इस असंतुलन को चुनौती देकर बीज पर किसान का हक, स्थानीय उत्पादन और ग्रामीण समृद्धि का नया रास्ता दिखाता है. पढ़ें, बिनोद आनंद इस बारे में क्या कहते हैं...
कृषि कानूनों के खिलाफ किसानों के आंदोलन के आज पांच साल पूरे हो रहे है. इसको लेकर संयुक्त किसान मोर्चा ने देशव्यापी विरोध प्रदर्शन का ऐलान किया है. लेकिन इससे पहले संगठन ने राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू को संबोधित करते हुए एक ज्ञापन तैयार किया. इसमें मांग की गई है कि स्वामीनाथन आयोग के फार्मूले के आधार पर MSP लागू करने के लिए तुरंत एक कानून बनाया जाए. किसान संगठन आज विरोध प्रदर्शन के बाद राज्य और जिला स्तर पर ज्ञापन पेश करने की योजना बना रहे हैं. इसमें किसानों और कृषि श्रमिकों के लिए ऋण माफी, बिजली विधेयक 2025 को वापस लेने और चार श्रम संहिताओं को निरस्त करने समेत अन्य मांग की गई है.
त्रिपुरा भारत का दूसरा सबसे बड़ा रबर उत्पादक राज्य है. यहां 1,10,000 हेक्टेयर से अधिक क्षेत्र में रबर की खेती होती है. साल 2024 तक इसका अनुमानित उत्पादन 1,10,000 मीट्रिक टन से अधिक रहा है. राज्य सरकार आय में सुधार के लिए रबर खेती को सक्रिय रूप से बढ़ावा दे रही है. राज्य की राजधानी अगरतला में रबर और रबर से बने प्रॉडक्ट्स के लिए वर्चुअल ट्रेड फेयर (VTF) के छठे संस्करण का शुभारंभ हुआ है.
दिल्ली–एनसीआर और उत्तरी भारत में बढ़ते वायु प्रदूषण के बीच एक्सपर्ट्स ने चेताया है कि खराब AQI केवल इंसानों ही नहीं, बल्कि मवेशियों के लिए भी बेहद हानिकारक है. प्रदूषण से पशुओं में सांस की समस्या, आंखों में जलन, त्वचा रोग और प्रजनन क्षमता पर असर देखा जा रहा है. विशेषज्ञों ने पशुपालकों को आहार, देखभाल और बचाव के जरूरी उपाय अपनाने की सलाह दी है.
भारत मौसम विज्ञान विभाग (IMD) ने मध्य प्रदेश और छत्तीसगढ़ के किसानों के लिए विस्तृत फसल सलाह जारी की है. पश्चिमी मध्य प्रदेश में कोल्ड वेव की आशंका जताई गई है, जबकि अलग-अलग एग्रीकल्चर जोन में गेहूं, चना, सरसों और सब्जियों की बुवाई, सिंचाई, कीट नियंत्रण और खेत तैयारी को लेकर विशेष निर्देश दिए गए हैं.
केंद्र के बिजली संशोधन बिल 2025, सीड्स बिल, श्रम कानून व NEP-2020 के विरोध में किसान संगठनों ने 2020 जैसा बड़ा आंदोलन छेड़ने की चेतावनी दी है. SKM ने 28 नवंबर को रणनीतिक बैठक बुलाई है.
आपके मन में यह सवाल कभी न कभी जरूर आया होगा कि मंडियों में भाव कैसे तय होता है. यह भी सवाल होगा कि मंडी भाव को कौन तय करता है. अगर आप कृषि उपज की खरीद-फरोख्त से जड़े हैं तो ऐसा विचार जरूर आता होगा. तो आज हम इसी पर बात करेंगे कि मंडियों में आखिर उपज का दाम तय करने की प्रक्रिया क्या है.
BAHS 2025, 1 मार्च, 2024 से 28 फरवरी, 2025 तक किए गए इंटीग्रेटेड सैंपल सर्वे पर आधारित है. यह सर्वे दूध, अंडे, मीट और ऊन जैसे मेजर लाइवस्टॉक प्रोडक्ट्स (MLPs) पर जरूरी डेटा देता है, जो लाइवस्टॉक सेक्टर में रिसर्च और पॉलिसी बनाने में मदद करता है. उत्तर प्रदेश 15.6 फीसदी उत्पादन के साथ दूध मुहैया कराने में देश में नंबर वन है.
मुख्यमंत्री नीतीश कुमार की अध्यक्षता में हुई कैबिनेट बैठक में बड़ा फैसला. मुख्य सचिव की टीम करेगी बाधाओं की जांच—दो दशक बाद बिहार में मीठे उद्योग के फिर से लौटने की उम्मीद.
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