
केंद्रीय कृषि मंत्री नरेंद्र सिंह तोमर ने संसद में एक सवाल के लिखित जवाब में यह बताया है कि 2017 से 2021 के बीच देशभर में कुल 28,572 किसानों ने आत्महत्या की है. जिसमें सबसे ज्यादा महाराष्ट्र के किसानों ने आत्महत्या की है. इसी अवधि में 12,552 किसानों ने आत्महत्या की है. केंद्रीय कृषि मंत्रालय ने नेशनल क्राइम रिकॉर्ड ब्यूरो (NCRB) के हवाले से इसका आंकड़ा दिया है. वहीं केंद्रीय कृषि मंत्री नरेंद्र सिंह तोमर ने यह जानकारी तब दी है जब नई दिल्ली से आम आदमी पार्टी के सांसद एनडी गुप्ता ने इस संबंध में एक सवाल किया था.
आंकड़ों के अनुसार पिछले पांच वर्षों (2017-21) में पंजाब के कुल 1,056 किसानों ने आत्महत्या की है. वहीं कुल 1,056 मामलों में से 2017 में 243; 2018 में 229; 2019 में 239; 2020 में 174; और 2021 में 171 मामले दर्ज किए गए थे. इसके अलावा, तेलंगाना में 2017 में 846, 2018 में 900, 2019 में 491, 2020 में 466 और 2021 में 352 किसानों ने आत्महत्या की है.
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आंकड़ों के अनुसार गेहूं के सबसे बड़े उत्पादक राज्य उत्तर प्रदेश में पिछले पांच वर्षों में 398 किसानों ने आत्महत्या की है. जिसमें 2017 में 110, 2018 में 80, 2019 में 108, 2020 में 87 और 2021 में 13 किसानों ने आत्महत्या की है. पड़ोसी राज्य हरियाणा में पांच साल में 13 किसानों ने आत्महत्या की है. वहीं राजस्थान में, पांच वर्षों में 7 किसानों ने आत्महत्या की है, जबकि 2017 से 2021 के बीच मध्य प्रदेश में 1226 किसानों ने आत्महत्या की है. वहीं कुल 1226 मामलों में से 2017 में 429, 2018 में 303, 2019 में 142, 2020 में 235 और 2021 में 117 किसानों ने आत्महत्या की है.
इसके अलावा, 2017 से 2021 के बीच कर्नाटक के 6095 किसानों ने आत्महत्या की है. वहीं कुल 6095 मामलों में से 2017 में 1157, 2018 में 1365, 2019 में 1331, 2020 में 1072 और 2021 में 1170 किसानों ने आत्महत्या की है. वहीं 2017 से 2021 के बीच आंध्र प्रदेश के 2413 किसानों ने आत्महत्या की है. कुल मामलों में से 2017 में 375, 2018 में 365, 2019 में 628, 2020 में 564 और 2021 में 481 किसानों ने आत्महत्या की है.
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