चीनी उत्पादन में 12 फीसदी गिरावट से बाजार भाव डगमगाने लगा है. आपूर्ति पर असर की चिंताओं के चलते चीनी की खुदरा कीमतों को 3 फीसदी का उछाल दर्ज किया गया है. एक्सपर्ट का मानना है कि आने वाले कुछ सप्ताह में चीनी के दाम में और बढ़ोत्तरी देखी जा सकती है. क्योंकि, इस बार रिकवरी में गिरावट दर्ज की गई है और एथेनॉल के लिए चीनी का दोगुना डायवर्जन किया जा रहा है. इससे बाजार को आपूर्ति प्रभावित होने की चिंता सता रही है, जिससे कीमतों पर दबाव देखा जा रहा है. चीनी आपूर्ति बढ़ाने और कीमतों को स्थिर रखने के लिए केंद्र सरकार मार्च के लिए मासिक बिक्री आवंटन कोटा को बढ़ाकर 24 लाख मीट्रिक टन कर सकती है.
मौजूदा चीनी सीजन 2024-25 में 15 फरवरी 2025 तक कुल चीनी उत्पादन 197.03 लाख टन दर्ज किया गया है, जो बीते साल की समान अवधि की तुलना में 12 फीसदी कम है. प्रमुख उत्पादक राज्यों में पेराई के लिए गन्ने की कमी और चीनी रिकवरी में गिरावट की वजह से कुल उत्पादन नीचे लुढ़क गया है. निजी चीनी मिलों के शीर्ष उद्योग निकाय ISMA के अनुसार इस बार 20 फीसदी ब्लेंडिंग टारगेट पूरा करने के चलते इथेनॉल डायवर्जन 8.3 लाख टन की तुलना में 14.1 लाख टन पहुंच गया है, जो 70 फीसदी अधिक है.
गन्ने की उपलब्धता में कमी के चलते 72 शुगर मिलें समय से पहले बंद हो गई हैं. अनुमान है कि इस बार मार्च में ही पेराई सीजन खत्म हो सकता है. ऐसे में चीनी उत्पादन में गिरावट बने रहने की चिंताओं के बीच बाजार में चीनी के भाव ऊंचाई पकड़ रहा है, जो उपभोक्ताओं के लिए मुसीबत बनेगा. 19 फरवरी 2025 को चीनी का खुदरा मूल्य 45.21 रुपये प्रति किलो है, जो बीते महीने के दाम 44.21 रुपये प्रति किलो से 3 फीसदी अधिक है.
उपभोक्ता मामले विभाग के मूल्य निगरानी प्रभाग के अनुसार 20 फरवरी 2025 को चीनी का औसत खुदरा मूल्य 45.21 रुपये प्रति किलो है. जबकि, अधिकम खुदरा भाव 60 रुपये प्रति किलो है और मॉडल कीमत 45 रुपये प्रति किलो पर बनी हुई है. बीते महीने जनवरी से चीनी के खुदरा भाव की तुलना करें तो इसमें 3 फीसदी का उछाल दर्ज किया गया है. एक्सपर्ट का मानना है कि अगले कुछ सप्ताह में चीनी के दाम में उछाल 6 फीसदी के पार जाने की आशंका है.
विपरीत मौसम और के चलते गन्ना उत्पादन प्रभावित रहा है, जिसका असर मौजूदा पेराई सीजन में गिरावट के रूप में दिखा है. इस गिरावट असर बाजार पर कीमतों को बढ़ने से रोकने के लिए केंद्र सरकार ने जनवरी 2025 में घरेलू बिक्री के लिए मासिक चीनी कोटा मिलों के लिए 22.5 लाख मीट्रिक टन (LMT) दिया है. जबकि, इस महीने यानी फरवरी 2025 के लिए भी 22.5 लाख मीट्रिक टन कोटा दिया है. बीते अगस्त, सितंबर और अक्टूबर 2024 में आवंटित चीनी कोटा देखें तो हर माह कोटा बढ़ा है. केंद्र अब कीमतों को बढ़ने से रोकने के लिए मासिक कोटा को बढ़ाकर 24 लाख मीट्रिक टन कर सकता है.
Copyright©2025 Living Media India Limited. For reprint rights: Syndications Today