ऑटो एक्सपो 2023 में द‍िखेगी इथेनॉल की ताकत, गन्ना क‍िसानों की मेहनत एनर्जी में बदल रही

ऑटो एक्सपो 2023 में द‍िखेगी इथेनॉल की ताकत, गन्ना क‍िसानों की मेहनत एनर्जी में बदल रही

चीनी उद्योग ऑटोमोबाइल निर्माताओं को 2025-26 तक 20 प्रतिशत सम्मिश्रण लक्ष्य (blending target) प्राप्त करने के लिए 1,016 करोड़ लीटर इथेनॉल देगी. इससे इथेनॉल ईंधन वाले वाहनों को रोल आउट करने में मदद मिलेगी.

Advertisement
ऑटो एक्सपो 2023 में द‍िखेगी इथेनॉल की ताकत, गन्ना क‍िसानों की मेहनत एनर्जी में बदल रहीऑटो एक्स्पो में इथेनॉल से चलने वाहनों को दिया जाएगा बढ़ावा

पेट्रोल और डीजल से चलने वाले वाहनों से प्रदूषण का स्तर इस हद तक बढ़ गया है कि अब सभी कंपनियां दूसरा रास्ता तलाश रही हैं. ऐसे में ऑटोमोबाइल सेक्टर में इलेक्ट्रिक व्हीकल पहले ही अपना दबदबा बना चुके हैं. इसके अलावा सीएनजी से चलने वाले वाहन भी दौड़ते नजर आ रहे हैं. ऑटोमोबाइल सेक्टर लगातार पेट्रोल और डीजल पर निर्भरता खत्म करने की कोशिश कर रहा है. इसी कड़ी में अब इथेनॉल ईंधन का सहारा लिया जा रहा है. इसी कड़ी में ऑटो एक्सपो 2023 में इथेनाॅल से चलने वाले वाहनों का दम द‍िखाई दे सकता है.असल में ऑटोमोबाइल सेक्टर के इस अद्भुत बदलाव का असर गन्ने की खेती कर रहे किसानों पर भी देखने को मिल रहा है. गन्ना किसानों की मेहनत अब बायो एनर्जी में बदल रही है. पर्यावरण के साथ-साथ किसानों को भी इसका लाभ मिलता नजर आ रहा है.

इस नए प्रयास में सबसे अहम भूमिका चीनी उद्योग का भी है. मीडिया रिपोर्ट के मुताबिक चीनी उद्योग ऑटोमोबाइल निर्माताओं को 2025-26 तक 20 प्रतिशत सम्मिश्रण लक्ष्य (blending target) प्राप्त करने के लिए 1,016 करोड़ लीटर इथेनॉल देगी. इससे इथेनॉल ईंधन वाले वाहनों (FFVs) को रोल आउट करने में मदद मिलेगी.

ऑटो एक्स्पो में इथेनॉल से चलने वाहनों को दिया जा रहा बढ़ावा

इथेनॉल से चलने वाली गाड़ियों को 2023 के ऑटो एक्स्पो में शामिल किया गया है ताकि लोगों को इसके बारे में जागरूक किया जा सके. आने वाले समय में इथेनॉल जैव ईंधन भारत को सशक्त बनाने का काम कर रहा है. 

इंडियन शुगर मिल्स एसोसिएशन का बयान

चीनी उद्योग ने 1,000 करोड़ लीटर के उत्पादन को प्राप्त करने के लिए 100 लाख टन चीनी को इथेनॉल ईंधन में डायवर्ट करने का लक्ष्य रखा है. इंडियन शुगर मिल्स एसोसिएशन (ISMA) ने इस बारे में अधिक जानकारी देते हुए कहा है कि देश में गन्ना और चीनी उत्पादन को बढ़ावा देने के लिए उच्च इथेनॉल उत्पादन क्षमता को सही सरकारी नीतियों की आवश्यकता है.

ये भी पढ़ें: Bihar: मुजफ्फरपुर में मक्का पर फॉल आर्मी कीट का हमला, पांच प्रखंड के किसानों में हड़कंप

इथेनॉल उत्पादन में निर्धारित लक्ष्य के करीब भारत

नरेंद्र मोदी के नेतृत्व वाली सरकार द्वारा निर्धारित 20 प्रतिशत लक्ष्य से पहले देश में कुल इथेनॉल उत्पादन क्षमता 300 करोड़ लीटर की थी.  जो पहले ही 697 करोड़ लीटर तक पहुंच गई है. 2021 में विश्व पर्यावरण दिवस पर, मोदी ने 2025 से 2030 तक पेट्रोल (EBP) लक्ष्य के साथ 20 प्रतिशत इथेनॉल सम्मिश्रण की उन्नति की घोषणा की थी जो अब पूरा होता नजर आ रहा है. मौजूदा चीनी सीजन में, चीनी उद्योग को 12 प्रतिशत के सम्मिश्रण लक्ष्य को प्राप्त करने के लिए लगभग 45 लाख टन चीनी की आवश्यकता हो सकती है.

जीएसटी को लेकर सरकार से की गयी मांग

यह पता लगाने का समय आ गया है कि देश में FFVs को कैसे बढ़ावा दिया जा सकता है, ISMA ने कहा कि उसने सरकार से अनुरोध किया है कि वह हाइब्रिड FFVS के निर्माताओं पर वही GST लगाए जो EV निर्माताओं पर लगाया जाता है. "इसे बढ़ावा देने और इसे हर संभव नीतिगत बढ़ावा देने के लिए FFVs के स्पष्ट रोडमैप की आवश्यकता है. 

ये भी पढ़ें: स्टार्टअप के माध्यम से मोटे अनाज से बनाए उत्पादों को मिलेगा बाजार, बढ़ेगा व्यापार  

POST A COMMENT