खरीफ फसलों की बुवाई 97 फीसदी से अधिक एरिया में पूरी हो चुकी है. साल 2018-19 से 2022-23 तक देश में खरीफ फसलों का सामान्य क्षेत्र 1095.84 लाख हेक्टेयर रहा है. जिसमें से 1065.08 लाख हेक्टेयर में 23 अगस्त तक बुवाई पूरी हो चुकी है. पिछले साल के मुकाबले यह 20.22 लाख हेक्टेयर ज्यादा है. धान, दलहन, तिलहन, मोटे अनाजों और गन्ने की बुवाई में पिछले साल के मुकाबले तेजी है, लेकिन कपास और जूट की बुवाई में कमी दर्ज की गई है. धान की बुवाई और रोपाई लगभग पूरी होने को है, जबकि गन्ना, तिलहन फसलों और मोटे अनाजों की बुवाई पूरी हो चुकी है.
केंद्रीय कृषि मंत्रालय के मुताबिक 23 अगस्त तक 394.28 लाख हेक्टेयर में धान की रोपाई और बुवाई हो चुकी है. जबकि पिछले साल इसी अवधि तक सिर्फ 378.04 लाख हेक्टेयर एरिया ही कवर हुआ था. यानी इस साल 16.25 लाख हेक्टेयर एरिया बढ़ गया है. खरीफ सीजन के दौरान देश में धान का सामान्य क्षेत्र 401.55 लाख हेक्टेयर है. गन्ना की बुवाई 57.68 लाख हेक्टेयर में हो चुकी है जो पिछले वर्ष से 0.57 लाख हेक्टेयर ज्यादा है.
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मंत्रालय की रिपोर्ट के अनुसार अब तक 111.39 लाख हेक्टेयर में कपास बोया जा चुका है, जो पिछले साल की इसी अवधि से 11.36 लाख हेक्टेयर कम है. देश में कपास का सामान्य एरिया 129.34 लाख हेक्टेयर है. कपास की कम बुवाई ने कॉटन इंडस्ट्री की परेशानी बढ़ा दी है. ऐसे में अगले साल तक कपास का दाम बढ़ने का अनुमान लगाया जा रहा है. जूट की बुवाई 5.70 लाख हेक्टेयर में हो चुकी है, जो पिछले साल से 0.86 लाख हेक्टेयर कम है.
दलहन फसलों की बुवाई अब तक पूरी नहीं हुई है लेकिन पिछले साल से अधिक एरिया कवर हो चुका है. अब तक 122.16 लाख हेक्टेयर में दलहन फसलों की बुवाई हो चुकी है जो पिछले साल की इसी अवधि से 6.61 लाख हेक्टेयर ज्यादा है. हालांकि देश में खरीफ सीजन वाली दलहन फसलों की बुवाई का सामान्य क्षेत्र 136.02 लाख हेक्टेयर है.
अरहर की बुवाई 45.78 लाख हेक्टेयर में हो गई है जो पिछले वर्ष की इसी अवधि के मुकाबले 5.04 लाख हेक्टेयर अधिक है. उडद की बुवाई 29.04 लाख हेक्टेयर में हुई है जो पिछले वर्ष के मुकाबले 1.77 लाख हेक्टेयर कम है. हालांकि मूंग की बुवाई 34.07 लाख हेक्टेयर में हुई है जो पिछले वर्ष की इसी अवधि से 3.50 लाख हेक्टेयर ज्यादा है.
मोटे अनाजों की बुवाई 185.51 लाख हेक्टेयर में हो चुकी है जो पिछले साल से 8.02 लाख हेक्टेयर अधिक है. पिछले साल यानी 2023 में 23 अगस्त तक सिर्फ 177.50 लाख हेक्टेयर में मोटे अनाजों की बुवाई हुई थी. मक्के की बुवाई 87.23 लाख हेक्टेयर में हो गई है, जो पिछले वर्ष से 5.98 लाख हेक्टेयर अधिक है. मक्के की बुवाई उसके सामान्य एरिया 76.96 लाख हेक्टेयर से ज्यादा हो चुकी है. बाजरा 68.85 लाख हेक्टेयर में बोया जा चुका है जो पिछले साल से 1.15 लाख हेक्टेयर कम है. ज्वार 14.93 लाख हेक्टेयर और रागी 9.17 लाख हेक्टेयर में बोया जा चुका है.
कृषि मंत्रालय के मुताबिक तिलहन फसलों की बुवाई 188.37 लाख हेक्टेयर में हुई है जो पिछले साल से 1 लाख हेक्टेयर ज्यादा है. हालांकि, तिलहन फसलों का सामान्य एरिया 190.18 लाख हेक्टेयर है. मूंगफली 46.82 लाख हेक्टेयर में बोई जा चुकी है जो पिछले साल की इसी अवधि के मुकाबले 3.68 लाख हेक्टेयर अधिक है. जबकि सोयाबीन 125.11 लाख हेक्टेयर में बोया जा चुका है जो पिछले साल से 1.26 लाख हेक्टेयर अधिक है.
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