गाय-भैंस हो या कुत्ता अब उन्हें हड्डी और जोड़ों के दर्द को बर्दाश्त नहीं करना पड़ेगा. साथ ही ऐसे पशुओं को भी दर्द से छुटकारा मिलने जा रहा है जो हड्डी के कैंसर के दर्द से परेशान रहते हैं. साथ ही एक्सीडेंट होने या चोट लगने से टूटी हड्डी से परेशान रहने वाले पशुओं को भी अब राहत मिलने जा रही है. पशुओं को राहत देने का ये काम करेगा लाला लाजपत राय वेटरनरी एंड एनमिल साइंस यूनिवर्सिटी (लुवास), हिसार. लुवास एक खास प्रोजेक्ट पर काम कर रहा है.
प्रोजेक्ट के पूरा होते ही अब इंसानों की तरह से ही पशुओं को भी हड्डियों और जोड़ों की परेशानी छुटकारा मिल सकेगा. आखिरी चरण में चल रहे इस प्रोजेक्ट के तहत जल्द ही लुवास प्राइवेट कंपनी के साथ मिलकर कृत्रिम इम्प्लांट से पशुओं का इलाज करेगी. इसके लिए लुवास ने हाल ही में ओर्थोटैक इंडिया प्राइवेट लिमिटेड वलसाड़ गुजरात के साथ एमओयू साइन किया है.
लुवास के सर्जरी विभाग के विभागाध्यक्ष डॉ. आरएन चौधरी का कहना है कि ने बताया कि कृत्रिम इम्प्लांट से कुत्तों में हिप डिस्प्लेसिया और फ्रैक्चर को ठीक करने में काफी सहायता मिलेगी. इसके साथ-हड्डी के कैंसर से पीडि़त पशुओं में संक्रमित हड्डी-जोड़ को काटने के बाद पशु फिर से पूरी तरह से चलने-फिरने में कामयाब हो सकेगा. पालतू पशुओं के लिए खासतौर पर बने इम्प्लांट उपलब्ध नही होने से अभी इनका इलाज करने में काफी परेशानियों का सामना करना पड़ता है.
लुवास के ही डॉ. राम निवास पशुओं के लिए ओर्थोटेक कंपनी में तैयार होने वाले कृत्रिम इम्प्लांट की डिजाईन तैयार करेंगे. इस तकनीक की मदद से सबसे पहले कुल्हें के जोड़ में प्रत्यारोपण किया जाएगा. वाइस चांसलर ने इस प्रोजेक्ट की सफलता के लिए सभी को शुभकामनाएं दी हैं.
इसके लिए कंपनी के साथ होने वाली कागजी कार्रवाई पूरी की जा चुकी है. इस योजना को पूरा कराने में लुवास के मानव संसाधन निदेशालय के निदेशक डॉ. राजेश खुराना, अनुसंधान निदेशक डॉ. नरेश जिंदल और ऑर्थोटेक के निदेशक सुशांत बनर्जी और सुनीता बनर्जी का अहम योगदान रहा है.
ये भी पढ़ें- Meat Production: देश की बड़ी यूनिवर्सिटी ने बताया, क्यों बढ़ रहा मीट का उत्पादन और डिमांड
ये भी पढ़ें- Dairy: विदु ने 50 गाय पालकर दूध से कमाए 49 लाख और गोबर से 44 लाख, जानें कैसे
Copyright©2025 Living Media India Limited. For reprint rights: Syndications Today