देशभर में इस समय खरीफ सीजन की प्रमुख फसल गेहूं की कटाई चल रही है. ज्यादातर गेहूं उत्पादक राज्यों में एमएसपी पर सरकारी खरीद चल रही है और प्रमुख राज्यों में खरीद केंद्रों पर बंपर आवक देखी जा रही है. वैसे तो सभी राज्य अपने यहां के आंकड़े अलग-अलग जारी कर ही रहे हैं. लेकिन, अब उपभोक्ता मामले, खाद्य और सार्वजनिक वितरण मंत्रालय के खाद्य और सार्वजनिक वितरण विभाग ने गेहूं खरीद प्रक्रिया वाले राज्यों में अब तक यानी 17 अप्रैल 2025 तक हुई खरीद से जुड़े आंकड़े जारी किए है. आंकड़ों के मुताबिक, 11 राज्यों/केंद्रशासित प्रदेशों में 29,32,887 किसानों ने रजिस्ट्रेशन कराया, जबकि 5,25,755 किसानों से सरकार ने 48,02,174.50 मीट्रिक टन गेहूं की खरीद की. सरकार की ओर से गेहूं बेचने वाले किसानों में 2,63,138 किसानों को 5,29,420.24 लाख रुपये की राशि भुगतान स्वरूप दी जा चुकी है. जानिए विभिन्न राज्यों में गेहूं की खरीद का क्या हाल है…
सबसे पहले जान लेते हैं बिहार में गेहूं खरीद का क्या हाल है. सरकारी आंकड़ों के मुताबिक, यहां 17 अप्रैल तक 29,209 किसानों ने अपनी फसल बेचने के लिए रजिस्ट्रेशन कराया है. सरकार ने इनमें से 1,890 किसानों से 6,717.71 मीट्रिक टन उपज खरीदी है. इस दौरान सरकार ने 1319 किसानों के खाते में 1,352.87 लाख रुपये ट्रांसफर किए हैं. शेष किसानों का भुगतान बाकी है.
गुजरात में 52,803 किसानों ने सरकारी खरीद केंद्रों पर अपनी फसल बेचने के लिए रजिस्ट्रेशन कराया है. सरकार ने इनमें से 454 किसानों से 1,983.00 मीट्रिक टन उपज खरीदी है. सरकार ने 235 किसानों के खाते में 249.56 लाख रुपये ट्रांसफर किए हैं. बाकी बचे हुए किसानों के भुगतान की प्रक्रिया जारी है.
हरियाणा में 7,78,350 किसानों ने गेहूं की उपज सरकारी खरीद केंद्रों पर बेचने के लिए रजिस्ट्रेशन कराया है. सरकार ने इनमें से 54,068 किसानों से 6,64,866.38 मीट्रिक टन उपज खरीदी है. सरकार ने 11,928 किसानों के खाते में 31,870.55 लाख रुपये ट्रांसफर किए हैं, जबकि बाकी बचे किसानों के भुगतान की प्रक्रिया जारी है.
मध्य प्रदेश में 14,55,270 किसानों ने गेहूं बेचने के लिए रजिस्ट्रेशन कराया है और इनमेमं से 3,67,722 किसानों ने सरकार की ओर से बनाए गए खरीद केंद्रों पर 32,36,441.00 मीट्रिक टन उपज बेची है. इस दौरान सरकार ने भुगतान करते हुए 1,81,335 किसानों के खाते में 3,50,323.40 लाख रुपये भेजे हैं.
पंजाब में 19,395 किसानों ने सरकारी केंद्रों पर गेहूं बेचने के लिए रजिस्ट्रेशन कराया है. इनमें से 6,986 किसानों ने केंद्रों पर 89,813.80 मीट्रिक टन गेहूं की बिक्री की है. सरकार ने 4,803 किसानों के खाते में भुगतान के रूप में 14,396.92 लाख रुपये ट्रांसफर किए हैं.
राजस्थान में 1,91,213 किसानों ने सरकारी खरीद के लिए बने केंद्रों पर गेहूं बेचने के लिए रजिस्ट्रेशन कराया है. सरकार ने इनमें से 42,045 किसानों से 4,60,163.12 मीट्रिक टन गेहूं की खरीद की है. वहीं, 29,604 किसानों के खाते में 82,195.91 लाख रुपये का भुगतान किया जा चुका है.
वहीं, सबसे बड़े गेहूं उत्पादक राज्य उत्तर प्रदेश में 3,95,534 किसानों ने उपज बेचने के लिए कराया है. अब तक 52,590 किसानों ने 3,42,189.49 मीट्रिक टन फसल खरीद केंद्रों पर बेची है. वहीं राज्य सरकार ने 33,914 किसानों के खाते में उपज के भुगतान की राशि के रूप में 49,031.04 लाख रुपये ट्रांसफर किए है.
इसके अलावा कई अन्य राज्य/ केंद्रशासित प्रदेश ऐसे हैं, जहां थोड़ी संख्या में किसानों के रजिस्ट्रेशन हुए हैं, लेकिन खरीद आरंभ नहीं हुई है या आंकड़े उपलब्ध नहीं है. इनमें चंडीगढ़ शामिल है, जहां आंकड़े शून्य है. इसके अलावा हिमाचल प्रदेश में 761 किसानों ने रजिस्ट्रेशन कराया है. जम्मू-कश्मीर में 10,352 किसानों ने रजिस्ट्रेशन कराया है, लेकिन खरीद का कोई आंकड़ा उपलब्ध नहीं है. उत्तराखंड में भी प्रक्रिया के सभी आंकड़े शून्य हैं.