Milk Production: नंबर वन बने रहने से नहीं, दूध उत्पादन बढ़ाने से दूर होंगी डेयरी बाजार की चुनौतियां 

Milk Production: नंबर वन बने रहने से नहीं, दूध उत्पादन बढ़ाने से दूर होंगी डेयरी बाजार की चुनौतियां 

Milk Production in 2033 भारत दूध उत्पादन के मामले में दुनिया का बादशाह बना हुआ है. दूसरे नंबर पर अमेरिका है, लेकिन वो भी भारत के आंकड़े से बहुत पीछे है. आज भी भारत दूध उत्पादन के मामले में नंबर वन है. बीते साल 24 करोड़ टन दूध का उत्पादन हुआ था. वहीं प्रति व्यक्ति के हिस्से में अब 471 ग्राम दूध आ रहा है. और ये सब मुमकिन है ऑपरेशन फ्लड से. लेकिन अभी दूध उत्पादन को और बढ़ाने की जरूरत है.

Himachal Bulk Milk CoolerHimachal Bulk Milk Cooler
नासि‍र हुसैन
  • New Delhi,
  • Oct 02, 2025,
  • Updated Oct 02, 2025, 12:15 PM IST

Milk Production in 2033 बीते करीब ढाई दशक से भी ज्यादा वक्त से भारत दूध उत्पादन के मामले में अपनी धाक जमाए हुए है. दुनियाभर के बड़े-बड़े देशों के सामने भारत आज दूध उत्पादन के मामले में नंबर वन बना हुआ है. बीते कई साल से भारत की ये बादशाहत बरकरार है. लेकिन डेयरी एक्सपर्ट का कहना है कि सिर्फ दूध उत्पादन के मामले में नंबर वन बने रहने से काम नहीं चलेगा. अगर डेयरी बाजार की चुनौतियों से निपटना है तो दूध उत्पादन को और बढ़ाना होगा. हर साल होने वाले दूध बढ़ोतरी की दर को कम से कम डबल करना होगा. 

तभी बाजार में दूध और दूध से बने प्रोडक्ट की डिमांड को पूरा किया जा सकेगा. क्योंकि वक्त के साथ बढ़ती आबादी को देखते हुए बाजार में दूध और उसके प्रोडक्ट की डिमांड भी बढ़नी है. अभी देश में सालाना दूध उत्पादन 24 करोड़ टन है. जबकि साल 2033 तक देश को हर साल 33 करोड़ टन दूध की जरूरत है. वहीं हर साल दूध उत्पादन में करीब छह फीसद की ही बढ़ोतरी हो रही है, जो कम से कम 14 फीसद होनी चाहिए.   

हर साल हो 33 करोड़ टन दूध का उत्पादन 

राष्ट्रीय डेयरी अनुसंधान संस्थान (एनडीआरआई), करनाल के डॉयरेक्टर डॉ. धीर सिंह का कहना है कि भारत अब दुनिया में सबसे बड़ी आबादी वाला देश बन गया है. इतना ही नहीं हमारी आबादी में और बढ़ोतरी होने की उम्मीद है. बढ़ती आबादी के चलते दूध और दूध उत्पादों की मांग भी लगातार बढ़ रही है. एक अनुमान के अनुसार, देश की दूध और दूध उत्पादों की मांग को पूरा करने के लिए भारत को साल 2033 तक हर साल 33 करोड़ टन दूध का उत्पादन करने की जरूरत है. हाल के दशक में दूध उत्पादन में औसत बढ़ोतरी 6.6 फीसद हुई है. लेकिन 33 करोड़ टन दूध की डिमांड को पूरा करने के लिए कम से कम 14 फीसद वार्षिक बढ़ोतरी दर हासिल करने की जरूरत है.

दूध उत्पादन बढ़ाने में ये रोल निभा रहा एनडीआरआई

मोटे तौर पर देखें तो कृषि क्षेत्र में डेयरी सेक्टर का योगदान 24 फीसद है, जिसकी वैल्यू करीब 10 लाख करोड़ रुपये है. और दुनिया के दूसरे देशों के मुकाबले ये सबसे ज्यादा है. अच्छी बात ये है कि एनडीआरआई इन मुद्दों को हल करने के लिए डेयरी के विभिन्न पहलुओं पर काम कर रहा है. जैसे दूध उत्पादन बढ़ाने के लिए नई पोषण रणनीति और बेहतर प्रजनन पद्धतियां, दूध की गुणवत्ता में सुधार के लिए नई पशुधन प्रबंधन पद्धतियां, स्वच्छ दूध पद्धतियां, मिलावट का पता लगाने वाली किट और कोल्ड चेन पद्धतियां जिससे निर्यात क्षमता में बढ़ोतरी हो. 

ये भी पढ़ें- Dhanno Buffalo: सुपर भैंस धन्नो! दूध का ATM, बच्चों की नर्सरी, उम्र में भी कोई नहीं इसके जैसा…

ये भी पढ़ें- Cage Fisheries: 61 साल बाद 56 गांव अपनी जमीन पर कर रहे मछली पालन, जानें वजह

MORE NEWS

Read more!