रोपड़, पंजाब के बहादुरपुर गांव में हर एक घर का चूल्हा, फ्री में जलता है. या यह कह लें कि सिर्फ 100 रुपये महीने के खर्च पर दिन में तीन बार चूल्हा जलता है. हर घर से 100 रुपये महीना भी रखरखाव के नाम पर लिया जाता है. और ये सब मुमकिन होता है कुलदीप कौर की डेयरी से. कुलदीप गांव के करीब 70 गांवों को अपने डेयरी फार्म पर बने बयो गैस प्लांट से गैस सप्लाई करती हैं. लेकिन इसके बदले कुलदीप किसी भी घर से एक रुपया तक नहीं लेती हैं.
प्लांट के सुचारू संचालन के लिए एक टेक्नीशियन रखा गया है. इस टेक्नीशियन को हर घर से 100 रुपये दिए जाते हैं. कुलदीप का कहना है कि जब हमने डेयरी शुरू की तो हमारा मकसद था कि इसका फायदा हमारे गांव के लोगों को भी मिले. बस यही सोचकर हमने बायो गैस गांव भर के लिए फ्री कर दी है.
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कुलदीप कौर के बेटे गगनदीप ने किसान तक को बताया कि करीब 10 साल पहले घर में ये तय हुआ कि डेयरी यानि पशुपालन शुरू किया जाए. जब बात शुरू करने की आई तो घर के हर एक सदस्यौ ने अपनी जमा पूंजी में से कुछ ना कुछ रकम मां को दी. ताई, चाचा सभी ने इसमे सहयोग किया. इस तरह से पहले पांच गाय खरीदी गईं. जब काम बढ़ने लगा तो गाय की संख्या बढ़ानी भी शुरू कर दी. पहले हमारे पास एक ही नस्ल की गाय थी. लेकिन फिर हमने इधर-उधर से जानकारी जुटाने के बाद अपने फार्म में एचएफ, जर्सी और साहीवाल गाय रखनी शुरू कर दीं.
गगनदीप ने बताया कि बायो गैस प्लांट पर गैस बनाने के बाद जो तरल गोबर बचता है उसे हम ट्रॉली के हिसाब से किसानों को बेच देते हैं. हर रोज हमारे प्लांट से पांच ट्रॉली गोबर निकलता है. एक ट्रॉली 500 रुपये की जाती है. इस तरह हमे ढाई हजार रुपये रोजाना की इनकम गोबर से हो जाती है. इसके अलावा हमारे फार्म में अब 140 गाय हैं. सभी गाय से रोजाना 950 से एक हजार लीटर तक दूध मिल जाता है. इस पूरे दूध को हम पंजाब की वेरका डेयरी को बेच देते हैं.
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कामयाब डेयरी संचालन करने वालीं कुलदीप कौर का कहना है कि अगर कोई भी डेयरी खोलना चाहता है तो उसे सबसे पहले इसकी ट्रेनिंग लेनी चाहिए. गाय-भैंस की अच्छी ब्रीड ही पालनी चाहिए. इसके बाद हर वक्त ये कोशिश होनी चाहिए कि दूध उत्पादन की लागत को कैसे कम किया जाए. जैसे हमने अपने फार्म पर ही चारा तैयार करना शुरू कर दिया. इस तरह से हमे प्रति किलो चारे पर पांच रुपये की बचत होने लगी. साथ ही दूध उत्पादन बढ़ाने के लिए गाय-भैंस की खुराक पर ध्यान दें ना की बाजार में बिकने वालीं बेवजह की चीजों पर.