प्रधानमंत्री किसान सम्मान निधि योजना की शुरुआत साल 2019 में की गई थी. इसके अंतर्गत किसानों को हर साल तीन किश्तों में 6 हजार रुपये की राशि दी जाती है. इस योजना में पूरी तरह से किसानों को लाभ देने के लिए हर तरह की बुनियादी सहूलियत को ध्यान में रखा गया है. चाहे वह पैसे भेजने की सरल सुविधा हो, चाहे वह आसान रजिस्ट्रेशन की प्रक्रिया हो. इस बुनियादी प्रक्रिया के बाद किसानों के लिए एक और प्रावधान किया गया है जो कि लाभार्थी किसान की मृत्यु से जुड़ी है. आपको बता दें कि मृत्यु के बाद भी इस योजना के तहत लाभार्थी किसान के परिवार को यह लाभ मिलता रहेगा. ऐसे में आइए जानते हैं कैसे-
प्रधानमंत्री किसान सम्मान निधि योजना के तहत किसानों को खेती में लगने वाली लागत में सहायता देने के लिए साल में 3 किश्तों में 6 हजार रुपये की राशि मिलती है. वहीं यदि लाभ लेने वाले किसान की मृत्यु हो जाती है, तो यह राशि उस किसान के वारिस को देने का भी प्रावधान है. किसान की मृत्यु के बाद उसके वारिस को यह राशि दी जाएगी उसके लिए कुछ आवश्यक शर्तों को पूरा करना होगा.
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प्रधानमंत्री किसान सम्मान निधि योजना के माध्यम से लाभ लेने वाले किसान की यदि मृत्यु हो जाती है तो इसके बाद से उसके बच्चे या उस व्यक्ति को यह राशि मिलेगी जिसके नाम पर वह जमीन होगी जिस जमीन के आधार पर किसान इस योजना का लाभ ले रहा था. इसके लिए वारिस का पात्र होना आवश्यक है. साथ ही वह व्यक्ति भी सरकार की उन सभी शर्तों को पूरा करने की पात्रता रखता हो जिसके आधार पर किसानों को इस योजना का लाभ मिलता है. जैसे कि वारिस का बालिग होना, सरकारी सुविधाओं से वंचित रहना, कृषि भूमि उसके नाम पर होना, सभी आवश्यक दस्तावेजों का होना आदि.
सभी नियम और शर्तों को पूरा करने के बाद लाभार्थी किसान की मृत्यु के बाद उसके वारिस को भी पीएम किसान योजना की आधिकारिक पोर्टल पर खुद का रजिस्ट्रेशन कराना होगा. इसके लिए ऑनलाइन प्रक्रिया के साथ जरूरी जानकारियां फॉर्म में भरनी होंगी जिसके बाद से वारिस की पात्रता की जांच होने के बाद से यह राशि वारिस को मिलना शुरू हो जाएगी.
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