पूर्वी यूपी-बिहार समेत इन राज्‍यों के लिए बढ़‍िया है गेहूं की DBW 316 किस्‍म, जानिए इसकी खासियत

पूर्वी यूपी-बिहार समेत इन राज्‍यों के लिए बढ़‍िया है गेहूं की DBW 316 किस्‍म, जानिए इसकी खासियत

उत्तर-पूर्वी मैदानी क्षेत्रों के लिए ICAR-IIWBR की उन्नत गेहूं किस्म डी.बी.डब्ल्यू 316 (करण प्रेमा) एक बढ़ि‍या विकल्‍प है. सिंचित पछेती परिस्थितियों में यह 68 क्विंटल/हेक्टेयर तक उपज देती है. जानिए इसकी अन्‍य खासियत...

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पूर्वी यूपी-बिहार समेत इन राज्‍यों के लिए बढ़‍िया है गेहूं की DBW 316 किस्‍म, जानिए इसकी खासियतDBW 316 करण प्रेमा गेहूं किस्‍म (सांकेतिक तस्‍वीर)

उत्तर-पूर्वी मैदानी क्षेत्र में खेती करने वाले किसानों के लिए गेहूं की एक बढ़‍िया पछेती किस्‍म बाजार में उपलब्‍ध है. ICAR-IIWBR की बनाई गई गेहूं की इस उन्नत किस्म का नाम डी.बी.डब्ल्यू 316 (करण प्रेमा) है. यह किस्म खास तौर पर पूर्वी उत्तर प्रदेश, बिहार, झारखंड, उड़ीसा, पश्चिम बंगाल, असम और उत्तर पूर्वी राज्यों के मैदानी क्षेत्रों में सिंचित पछेती परिस्थितियों के लिए उपयुक्त है. डी.बी.डब्ल्यू 316 के उपज परीक्षणों में अन्य पारंपरिक चेक प्रजातियों की तुलना में उत्कृष्ट प्रदर्शन देखा गया है.  गेहूं की डी.बी.डब्ल्यू 316 किस्म की सिंचित पछेती बुवाई में उपज क्षमता 68 क्विंटल प्रति हेक्टर दर्ज की गई है. यह उच्च उपज देने वाली किस्म एच.डी. 3118, एच.आई.1621 और एच.आई.1563 जैसे अन्य किस्मों से बेहतर साबित हुई है.

देर से बुवाई पर भी उपज पर ज्‍यादा असर नहीं

डी.बी.डब्ल्यू 316 किस्म पछेती और अत्यधिक पछेती दशा में बुवाई के लिए उपयुक्त है. अन्य किस्मों की तुलना में इस किस्म में 1000 दानों का वजन 40 ग्राम प्राप्त हुआ, जो उच्चतम स्तर का है. रस्‍यविज्ञान परीक्षणों में यह देखा गया कि इस किस्म की उपज में देर से बुवाई करने पर भी केवल 27.5% की कमी हुई, जबकि अन्य किस्मों में यह कमी 31% से 38% तक पाई गई.

रोग और तनाव प्रतिरोधकता

डी.बी.डब्ल्यू 316 रोगों के प्रति अत्यंत प्रतिरोधी है. यह किस्म पीला, भूरा और काला रतुआ, ब्लास्ट रोग, पर्ण झुलसा, चूर्ण लसिता और करनाल बंट जैसी प्रमुख बीमारियों के खिलाफ मजबूत प्रतिरोध प्रदर्शित करती है. इसके अलावा, यह किस्म सूखा और ऊष्मा प्रतिरोधी भी है, जिससे किसानों को मुश्किल मौसम में भी बेहतर उत्पादन की संभावना मिलती है.

डी.बी.डब्ल्यू 316 की खासि‍यत

डी.बी.डब्ल्यू 316 के दाने हल्के गेहुंआ रंग के हैं और इसमें उच्च प्रोटीन (13.2%) और जिंक (38.2 पीपीएम) पाया गया है. इसके ब्रेड गुणवत्ता स्कोर 7.7/10, गीला और सूखा ग्लूटन (26.6% और 8.8%) और सेडिमेंटेशन मूल्य 51 मिली होने के कारण यह किस्म अनेक गेहूं आधारित उत्पादों के लिए उपयुक्त है.

किसानों के लिए फायदेमंद- करण प्रेमा गेहूं किस्‍म

डी.बी.डब्ल्यू 316 की उच्च उपज, रोग प्रतिरोधकता और गुणवत्ता विशेषताएं इसे किसानों के लिए एक लाभकारी और भरोसेमंद विकल्प बनाती हैं. विशेषकर उन क्षेत्रों में जहां सिंचाई सीमित है या देर से बुवाई करनी पड़ती है, यह किस्म किसानों की आय और उत्पादन दोनों बढ़ाने में सहायक साबित होगी. कृषि विशेषज्ञों के अनुसार, डी.बी.डब्ल्यू 316 की खेती अपनाकर किसान उच्च उत्पादन, बेहतर रोग नियंत्रण और पोषण मूल्य सुनिश्चित कर सकते हैं.

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