उत्तराखंड में बढ़ रही बागेश्वर के पिनालू और गडेरी की मांग, पढ़ें इन सब्जियों के सेवन के फायदे

उत्तराखंड में बढ़ रही बागेश्वर के पिनालू और गडेरी की मांग, पढ़ें इन सब्जियों के सेवन के फायदे

उत्तराखंड में पीनालू औऱ गडेरी को अन्य सब्जियां जैसे भिंडी और तोरई के साथ मिलाकर बनाया जाता है. जो काफी स्वादिष्ट होता है. पहाड़ में सर्दियों में गडेरी काफी तादाद में इस्तेमाल होती है. हालांकि एक जैसी और एक स्वाद वाली ये दोनों सब्जियों में बहुत अंतर है.

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उत्तराखंड में बढ़ रही बागेश्वर के पिनालू और गडेरी की मांग, पढ़ें इन सब्जियों के सेवन के फायदेउत्तराखंड की प्रसिद्ध पिनालू फोटोः किसान तक

उत्तराखंड में अलग-अलग मौसम के हिसाब से अलग-अलग प्रकार की सब्जियां मिलती हैं, जो सेहत के हिसाब से काफी फायदेमंद मानी जाती है. इसका सेवन करने के स्वास्थ्य लाभ होता है. खास कर यहां के बागेश्वर जिले की सब्जी गडेरी पूरे उत्तराखंड में प्रसिद्ध और बाजार में इसकी मांग भी खूब है. खास कर लौबांज, गौरीउड़यार और कपकोट की गडेरी को पूरे उत्तराखंड के लोग पसंद करते हैं. गडेरी उत्तराखंड की एक ऐसी सब्जी है जिसमें काफी मात्रा में पोषक तत्व होते हैं. गडेरी के अलावा पिनालू को भी लोग काफी पसंद करते हैं, यह भी सेहत के लिए काफी फायदेमंद होता है. पिनालू और गडेरी दोनों की पहाडी सब्जी है. इनके पत्तों से भी सब्जी बनाई जाती है. 

आमतौर पर उत्तराखंड में पीनालू औऱ गडेरी को अन्य सब्जियां जैसे भिंडी और तोरई के साथ मिलाकर बनाया जाता है. जो काफी स्वादिष्ट होता है. पहाड़ में सर्दियों में गडेरी काफी तादाद में इस्तेमाल होती है. हालांकि एक जैसी और एक स्वाद वाली ये दोनों सब्जियों में बहुत अंतर है. गडेरी की तासीर गरम होती है जबकि पिनालू की तासीर ठंडी होती है. यहि कारण है कि पहाड़ों में गडेरी की सब्जी को हरी सब्जियों के साथ मिलाकर बनाया जाता है. पिनालू कि सब्जी में गरम तासीर वाली सब्जियां जैसे मेथी, लहसन, पहाड़ी भांग के दाने के साथ मिलाकर बनाया जाता है. पहाड़ो में आलू के गुटके की तरह गडेरी और पिनालू के भी गुटके बनाए जाते हैं, जो खाने में काफी स्वादिष्ट होते हैं.

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व्रत के दिन भी करते हैं सेवन 

भांग के दाने पीस कर डाली हुई गडेरी पिनालू की सब्जी को पहाड़ में काफी पसंद किया जाता है. इससे पापड़ भी बनाए जाते हैं. पिनालू के गुटके भी स्वाद और सेहत से भरपूर होते हैं. उत्तराखंड के लोग गडेरी और पिनालू को व्रत के दिन फलाहार के रूप में भी इस्तेमाल करते हैं. गडेरी और पिनालू का उत्पादन सबसे ज्यादा बागेश्वर के कपकोट और गरुड़ क्षेत्र में किया जाता है, यहां गौरीउड़्यार, लौबांज, उड़खुली के साथ-साथ शामा क्षेत्र की गडेरी पूरे प्रदेश में प्रसिद्द हैं.

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गडेरी और पिनालू खाने के फायदे

गडेरी और पिनालू दोनों की सब्जियों के खाने के अनेक फायदे हैं.  गडेरी और पिनालू की सब्जी खाने से दिल से संबंधित बीमारियां और ब्लड प्रेशर की दिक्कत कम होती है. इतना ही नहीं यह डायबिटीज के मरीजों के लिए भी लाभदायक है.इसमें मौजूद फाइबर शरीर के मेटाबोलिज्म को मजबूत करता है. उत्तराखंड के बाजारों में यह सब्जी गडेरी और पिनालू बाजार में 40-50 रुपए प्रति किलो के हिसाब से मिल जाती है. 


 

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