Biparjoy की तबाही से जूझ रहे किसानों को मिलेगी राहत, फसल नुकसान का मुआवजा देगी गुजरात सरकार

Biparjoy की तबाही से जूझ रहे किसानों को मिलेगी राहत, फसल नुकसान का मुआवजा देगी गुजरात सरकार

चक्रवाती तूफान बिपरजॉय ने गुजरात के तटीय इलाकों में भारी तबाही मचाई है. कच्छ और सौराष्ट्र में बड़े पैमाने पर क्षति हुई है. फसलों की बर्बादी के साथ बड़ी संख्या में मवेशियों की जान गई है. इन सबसे किसानों को राहत देने के लिए गुजरात सरकार ने किसानों को मुआवजा देने का ऐलान किया है.

चक्रवाती तूफान बिपरजॉय से गुजरात में बड़ी क्षति हुई है (फोटो साभार- India Today/PTI)चक्रवाती तूफान बिपरजॉय से गुजरात में बड़ी क्षति हुई है (फोटो साभार- India Today/PTI)
क‍िसान तक
  • Noida,
  • Jun 20, 2023,
  • Updated Jun 20, 2023, 4:50 PM IST

चक्रवाती तूफान बिपरजॉय (cyclone biparjoy) ने गुजरात में भारी तबाही मचाई है. यह तबाही हर क्षेत्र में देखी जा रही है. किसानों को बड़े पैमाने पर फसली नुकसान हुआ है. खेती-बाड़ी पूरी तरह से चौपट हो गई है क्योंकि अचानक आई तेज बारिश ने फसलों को बर्बाद कर दिया है. मूंगफली और सोयाबीन को छोड़ दें तो लगभग हर फसल को नुकसान हुआ है. अपवाद के रूप में गुजरात के कुछ इलाकों में चक्रवाती बारिश से मूंगफली और सोयाबीन की बुआई में मदद मिली है. बाकी की फसलें बड़े स्तर पर प्रभावित हुई हैं. इसमें आम और खजूर भी शामिल हैं जिनकी खेती गुजरात में प्रमुखता से होती है. चक्रवात ने बड़ी संख्या में मवेशियों की भी जान ली है. किसानों के इस नुकसान को देखते हुए गुजरात सरकार ने मुआवजा देने का फैसला किया है.

गुजरात सरकार ने सोमवार को कहा कि वह चक्रवात 'बिपरजॉय' के कारण किसानों की फसलों, बागों के नुकसान के साथ-साथ मवेशियों की मौत के लिए मुआवजा देगी. एक शुरुआती सर्वेक्षण से पता चला है कि राज्य के बिजली ढांचे को करोड़ों रुपये का नुकसान हुआ है. कुल नुकसान 783 करोड़ रुपये का बताया जा रहा है. जैसा कि गुजरात में जीवन धीरे-धीरे पटरी पर आ रहा है, सरकार ने मई 2021 के बाद से दूसरे सबसे भीषण तूफान से हुए नुकसान का आकलन करना शुरू कर दिया है. बिपरजॉय तूफान पिछले सप्ताह गुजरात के तट पर टकराया था.

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क्या कहा सरकार ने?

कैबिनेट की बैठक के बाद गांधीनगर में गुजरात के स्वास्थ्य मंत्री और सरकार के प्रवक्ता ऋषिकेश पटेल ने कहा कि नुकसान का आकलन करने के लिए अलग-अलग टीमों को प्रभावित जिलों में भेजा गया है. उन्होंने कहा कि राज्य सरकार चल रहे सर्वेक्षण की रिपोर्ट मिलने के बाद किसानों और पशुपालकों को मुआवजा देगी. पटेल ने कहा कि एक शुरुआती सर्वेक्षण से पता चला है कि बिपरजॉय के कारण गुजरात के बिजली ढांचे को 783 करोड़ रुपये का नुकसान हुआ है. 15 जून को चक्रवात के आने के बाद 6,486 गांवों में बिजली कटौती की सूचना मिली थी. उन्होंने कहा कि 5,753 गांवों में बिजली बहाल कर दी गई है और बाकी गांवों में बिजली वापस लाने का काम जारी है.

पटेल ने कहा कि बिजली गिरने और पेड़ों के गिरने जैसी अलग-अलग चक्रवाती घटनाओं में 1,320 मवेशियों और लगभग 1,900 पोल्ट्री पक्षियों की मौत हो गई है. मंत्री ने कहा कि 1,129 मवेशियों की मौत के लिए 1.62 करोड़ रुपये का मुआवजा दिया गया है, जबकि अन्य पशुपालकों को जल्द ही भुगतान किया जाएगा. पटेल ने कहा कि एक शुरुआती सर्वेक्षण से पता चला है कि कच्छ, मोरबी, देवभूमि द्वारका, जामनगर और पोरबंदर जिलों में 53,000 हेक्टेयर में उगने वाले लगभग 14,800 फल देने वाले पेड़ तेज हवाओं के कारण उखड़ गए.

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आम-खजूर का नुकसान

कच्छ और सौराष्ट्र के इलाके में सबसे अधिक नुकसान देखा गया है. तूफान ने इसी इलाके में सबसे ज्यादा तबाही मचाई है. इसमें अच्छी बात ये रही कि सरकारी कोशिशों से किसी की जान का नुकसान नहीं हुआ. चक्रवाती तूफान से सबसे ज्यादा प्रभावित कच्छ क्षेत्र के किसान हैं. यहां कटने को तैयार खड़ी फसल को तेज हवा ने बर्बाद कर दिया और अब किसानों की रोजी-रोटी की चिंता बढ़ गई है. केसर आम और खजूर की खेती करने वाले किसानों को सबसे अधिक भुगतना पड़ा है. सरकार इन किसानों के नुकसान की भरपाई करेगी.(PTI)

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