डॉक्टर्स और कई स्वास्थ्य विशेषज्ञ हेल्दी लाइफ के लिए रोजाना डाइट में सब्जियों खासतौर पर हरी सब्जियों को शामिल करने पर जोर देते हैं. सब्जियां न केवल स्वाद में लाजवाब होती हैं, बल्कि इनमें मौजूद पोषक तत्व हमारे शरीर को तंदुरुस्त बनाए रखने में अहम भूमिका निभाते हैं. गर्मी के मौसम में कुछ खास किस्म की सब्जियां मिलती हैं, जो शरीर को ठंडक देने के साथ-साथ कई बीमारियों से भी सुरक्षा प्रदान करती हैं. ऐसी ही एक दुर्लभ लेकिन बेहद फायदेमंद सब्जी है लुंगड़ू जो हिमाचल प्रदेश की खासियत है. यहां के लोग तो इस सब्जी को अपना सबसे बड़ा सहारा तक करार देते हैं.
हिमाचल के अलावा यह सब्जी उत्तराखंड और उत्तर-पूर्वी भारत में भी पाई जाती है. लुंगड़ू सब्जी पहाड़ी इलाकों में प्राकृतिक तौर पर उगती है और इसे दुनिया की सबसे शक्तिशाली सब्जियों में गिना जाता है. दरअसल यह पहाड़ों के नदी-नालों के किनारे उगने वाला एक पौधा, है जिसे कुछ स्थानों पर लिंगड़ी या फर्न भी कहा जाता है. यह सब्जी कई तरह के पोषक तत्वों और औषधीय गुणों से भरपूर होती है. लुंगड़ू की कोमल हरी डंडियों में विटामिन ए, बी-कॉम्प्लेक्स, पोटैशियम, आयरन, कॉपर, फैटी एसिड, सोडियम, फॉस्फोरस, मैग्नीशियम, कैरोटीन और मिनरल्स भरपूर मात्रा में पाए जाते हैं. यही वजह है कि यह सब्जी न सिर्फ शरीर को एनर्जी देती है बल्कि कई तरह के रोगों से लड़ने की क्षमता भी प्रदान करता है.
आजकल यह सब्जी बाजार में भी आसानी से मिल जाती है. हिमाचल में लोग इसका साग, सब्जी, और अचार बनाकर खाते हैं. पहाड़ी डिशेज में इसका खास महत्व है. यहां पर इससे एक स्वीट डिश भी बनाई जाती है जिसे 'मधरा' कहते हैं. लुंगड़ू विशेष तौर पर डायबिटीज जैसी गंभीर बीमारियों से लड़ने में मददगार मानी जाती है. इसके नियमित सेवन से शरीर की रोग प्रतिरोधक क्षमता में इजाफा होता है. साथ ही यह और स्वास्थ्य समस्याओं को भी दूर रखने में मददगार होती है.
कुछ लोग सलाह देते हैं कि इस सब्जी को हमेशा अच्छे से पकाकर ही खाना चाहिए. अगर यह कच्ची रह गई तो इसमें कुछ विषैले तत्व हो सकते हैं. वहीं गर्भवती महिलाओं को बिना डॉक्टर की सलाह के इसका सेवन न करने के लिए कहा जाता है.
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