राजस्थान: बेमौसम बारिश और ओलावृष्टि से लाखों की फसलें तबाह, किसानों ने की मुआवजे की मांग

राजस्थान: बेमौसम बारिश और ओलावृष्टि से लाखों की फसलें तबाह, किसानों ने की मुआवजे की मांग

बाड़मेर के किसानों ने नवंबर माह में कई फसलों की बुवाई की थी और होली के बाद फसलों को काटने की तैयारी थी. लेकिन ठंडी हवाओं के साथ हुई बारिश और ओलावृष्टि ने किसानों के खेतों को पूरी तरह से बर्बाद कर दिया है. जिस वजह से किसानों को भारी नुकसान हुआ है. अब किसानों ने सरकार से मुआवजे की मांग की है.

बेमौसम बारिश और ओलावृष्टि से लाखों की फसलें तबाह, सांकेतिक तस्वीर बेमौसम बारिश और ओलावृष्टि से लाखों की फसलें तबाह, सांकेतिक तस्वीर
क‍िसान तक
  • Barmer,
  • Mar 06, 2023,
  • Updated Mar 06, 2023, 11:59 AM IST

राजस्थान के बाड़मेर में बेमौसम बारिश और ओलावृष्टि की वजह से किसानों को भारी नुकसान हुआ है. बाड़मेर के किसानों ने नवंबर माह में ईसबगोल, जीरा, रायडा, तारामीरा समेत कई फसलों की बुवाई की थी और होली के बाद फसलों को काटने की तैयारी थी. लेकिन उससे पहले ही ठंडी हवाओं के साथ हुई बारिश और ओलावृष्टि ने किसानों के खेतों को पूरी तरह से बर्बाद कर दिया है. जिस वजह से किसानों को भारी नुकसान हुआ है. दरसअल, किसान ईसबगोल, जीरा रायड़ा, तारामीरा समेत खेतों में खड़ी फसलों को काटने की तैयारी कर रहे थे. लेकिन 1 दिन पहले ही दोपहर बाद मौसम ने करवट ली और ठंडी हवाओं के साथ जिले के कई कस्बों के गांवों में बारिश के साथ जमकर ओले गिरे. कई जगह ठंडी हवाओं और बारिश ने फसलों को नुकसान पहुंचाया तो दर्जनों गांवों में अत्यधिक ओलावृष्टि ने किसानों की फसलें चौपट कर दी. 

रविवार को किसान अपनी पीड़ा लेकर सनावड़ा और उसके आसपास के गांवों के किसान जिला मुख्यालय पहुंचे. किसानों ने अतिरिक्त जिला कलक्टर सुरेंद्र पुरोहित से मुलाकात कर झुलसी हुई फसलें दिखाई और मुख्यमंत्री अशोक गहलोत के नाम ज्ञापन सौंपकर फसली खराबे की गिरदावरी करवाने और खराबे का मुआवजा दिलाने की मांग की है.

बैरंग हुई किसानों की होली

किसानों का कहना है कि सरकारी समितियों और बैंकों से लोन लेकर ईसबगोल, जीरे समेत अन्य फसलों की बुवाई की गई थी. पिछले चार माह से फसलों पर जमकर मेहनत की. कुछ ही दिन में फसलों की कटाई होनी थी. लेकिन बारिश और ओलावृष्टि की वजह से फसलें पूरी तरह से नष्ट हो गईं. दर्जनों गांवों में 80 फीसदी तो कहीं 90 फीसदी तक फसलें खराब हुई हैं. ऐसे में किसानों की होली भी अब बैरंग होती नजर आ रही है.

इसे भी पढ़ें- पुलवामा की सब्जियों का अर्थशास्त्र, एक साल में ज‍िले से बेचे गए 42 करोड़ के लहसुन-मटर

लाखों रुपये की ईसबगोल और जीरे की फसलें नष्ट

किसी किसान ने ईसबगोल और जीरे की फसल के लिए 7 लाख तो किसी ने 5 का लोन ले रखा था. उम्मीद थी कि खर्चे से तीन गुना अधिक मुनाफा होगा तो आमदनी अच्छी होगी. लेकिन बाड़मेर में बेमौसम बारिश और ओलावृष्टि ने इस कदर तबाही मचाई कि किसानों की उम्मीदें धरी की धरी रह गई. अब किसानों की चिंताएं इस बात को लेकर बढ़ गई है कि आखिर कर्ज में डूबे किसान बैंकों से लिया गया लोन कैसे चुकाएंगे और कैसे होली मनाएंगे.

कई कस्बों के दर्जनों गांव प्रभावित

बाड़मेर जिला मुख्यालय के आसपास के गांवों समेत चौहटन, बायतु, गुड़ामालानी, सेड़वा, धोरीमन्ना में बारिश और ओलावृष्टि से दर्जनों गांवों में किसानों की फसलें चौपट हो गई. होली पर्व के ठीक बाद फसलों की कटाई होनी थी और किसान अच्छी आमदनी की आस लगाए बैठे थे. लेकिन बेमौसम बारिश और ओलावृष्टि ने किसानों के अरमानों पर पानी फेर दिया. (रिपोर्ट: दिनेश बोहरा)

MORE NEWS

Read more!