संयुक्त किसान मोर्चा गैर राजनीतिक और किसान मजदूर मोर्चा के नेतृत्व में 101 किसानों का तीसरा जत्था दिल्ली के लिए शंभू बॉर्डर से आज निकला है. शंभू बॉर्डर पर पुलिस प्रशासन की ओर से लगाई गई बैरीकेडिंग पर पहुंचे किसानों और सुरक्षाकर्मियों के बीच हल्की झड़प हुई है. किसानों को रोकने के लिए पुलिस ने वॉटर कैनन और आंसू गैस के कई गोले दाग दिए हैं, जिसमें दोपहर 2.30 बजे तक 17 किसानों के घायल होने की सूचना है, जिन्हें अस्पताल भेजा गया है. किसानों ने आज दिल्ली जाने के लिए आगे बढ़ने से मना कर दिया है और दोनों किसानों मोर्चों ने दिल्ली मार्च वापस ले लिया है. अब किसान बैठक करेंगे, जिसमें अगले कदम की घोषणा की जाएगी.
सभी फसलों के लिए एमएसपी गारंटी कानून की मांग समेत किसानों के कई मुद्दों को लेकर 13 फरवरी से आंदोलन कर रहे पंजाब के किसानों का जत्था आज तीसरी बार दिल्ली कूच के ऐलान के साथ निकला है. 101 किसानों के जत्थे को शंभू बॉर्डर पर पुलिस प्रशासन ने रोका तो दोनों पक्षों के बीच झड़प हो गई है. पुलिस ने किसानों को रोकने के लिए पानी की बौछारें और आंसू गैस के गोले दागे गए हैं.
पैदल दिल्ली के लिए निकले किसानों पर पुलिस के आंसू गैस के गोले और पानी की बौछार फेंकने से भड़के किसान नेता सरवन सिंह पंधेर ने कहा कि हम चाहते हैं कि देशभर के किसान अपनी आवाज़ उठाएं, अगर वे ऐसा करेंगे तो आंसू गैस समेत ये सारी चीज़ें बंद कर दी जाएंगी और हमें दिल्ली जाने दिया जाएगा और हमारी मांगें पूरी की जाएंगी. हरियाणा पुलिस जनता को गुमराह कर रही है. 100 लोगों का पैदल चलना देश के लिए खतरनाक कैसे हो सकता है?"
पिछले 10 महीनों से आंदोलन कर रहे किसान आज फिर एक बार दिल्ली कूच के लिए निकलेंगे. हाल में किसानों की दिल्ली कूच की दो कोशिशों को पुलिस ने विफल कर दिया था. वहीं किसानों के मार्च को ध्यान में रखते हुए अंबाला में कई हिस्सों में इंटरनेट सेवा रोक दी गई है. दिल्ली कूच को लेकर किसान नेता सरवन सिंह पंढेर ने कहा कि आज विरोध प्रदर्शन का 307वां दिन है. आज शंभू बॉर्डर से 101 किसानों का हमारा तीसरा 'जत्था' 12 बजे तक दिल्ली के लिए रवाना होगा. पूरा देश इस विरोध प्रदर्शन से जुड़ा हुआ है.
पंढेर ने कहा कि जसविंदर सिंह लोंगोवाल और मलकीत सिंह के नेतृत्व में हमारा तीसरा समूह ठीक 12 बजे यहां से शांतिपूर्ण तरीके से आगे बढ़ेगा. हमें खनौरी से सूचना मिल रही है कि जगजीत सिंह दल्लेवाल की तबीयत ठीक नहीं है. पीएम और गृह मंत्री को छोड़कर पूरा देश उनके स्वास्थ्य को लेकर चिंतित है. न तो वे हमारे दिल्ली मार्च को लेकर चिंतित हैं, न ही वे खनौरी में जो हो रहा है, उससे चिंतित हैं. हमारा मानना है कि समिति बनाना हमारी समस्या का समाधान नहीं है. अगर सरकार समाधान पर पहुंचना चाहती है, तो उन्हें हमारे साथ बातचीत करनी चाहिए.
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