scorecardresearch
Electoral Reforms : सी विजिल ऐप को अपनाकर लोकतंत्र के सजग पहरेदार बनें मतदाता

Electoral Reforms : सी विजिल ऐप को अपनाकर लोकतंत्र के सजग पहरेदार बनें मतदाता

भारत में चुनाव के दौरान मतदाताओं को लुभाने के लिए राजनीतिक दल Money Power और Muscle Power से लेकर तमाम तरह के हथकंडे अपनाते हैं. ECI ने इस स्थिति से निपटने के लिए तकनीक को हथियार बनाया है. आयोग ने मतदाताओं से शुचितापूर्ण चुनाव प्रक्रिया सुनिश्चित करने के लिए सी विजिल एप का भरपूर इस्तेमाल करने की अपील की है.

advertisement
ECI issues Gazette notification for Phase 2 ECI issues Gazette notification for Phase 2

चुनाव आयोग ने कहा है कि Lok Sabha Election 2024 में स्वतंत्र, निष्पक्ष और पारदर्शी चुनाव प्रक्रिया सुनिश्चित करने में आयोग के साथ साथ मतदाताओं की भी सजग भूमिका जरूरी है. आयोग ने कहा है कि जब तक मतदाता चुनाव में प्रलोभन देने के हथकंडों को आंख बंद करके यूं ही देखते रहेंगे, तब तक इस पर रोक लगाना संभव नहीं है. इसके लिए आयोग ने तकनीक का इस्तेमाल करते हुए C-Vigil मोबाइल एप मतदाताओं के इस्तेमाल के लिए बनाया है. इसकी मदद से मतदाता चुनाव प्रक्रिया को दूषित करने वाले हथकंडों पर आसानी से रोक लगा सकते हैं. इससे पहले के Assembly Elections में भी आयोग, मतदाताओं के माध्यम से इस ऐप का सफल प्रयोग कर चुका है. इसे और अधिक कारगर बनाने के लिए आयोग मतदाताओं को इसके सार्थक उपयोग के बारे में जागरूक कर रहा है.

ऐसे करें एप से शिकायत

आयोग की ओर से सभी राज्यों के Chief Electoral Officers को सी विजिल एप के प्रति मतदाताओं को जागरूक करने के खास इंतजाम करने को कहा गया है. यूपी के मुख्य निर्वाचन अधिकारी नवदीप रिणवा ने मतदाताओं से अपील की है कि वे सी-विजिल एप के माध्यम से Model Code of Conduct के उल्लंघन की बढ़ चढ़ कर शिकायत करें. उन्होंने इसके इस्तेमाल के बारे में मतदाताओं से कहा कि इस ऐप को कोई भी व्यक्ति अपने मोबाइल फोन के Play Store या एप स्टोर से निशुल्क डाउनलोड कर सकता है.

ये भी पढ़ें, General Election 2024 : दूसरे चरण के चुनाव की अधिसूचना जारी, पहले चरण की नामांकन प्रक्रिया हुई पूरी

पहचान सार्वजनिक होने का खतरा नहीं

आयोग की ओर मतदाताओं को लगातार आश्वस्त किया जा रहा है कि इस ऐप के माध्यम से शिकायत करने पर उनकी पहचान पूरी तरह से गुप्त रखी जाती है. आयोग ने स्पष्ट क‍ि सी-विजिल एप पर शिकायत करने के लिए अपना नाम व मोबाइल नम्बर देने की कोई बाध्यता नहीं है. अगर शिकायतकर्ता द्वारा अपना नाम एवं मोबाइल नम्बर दिया जाता है तो भी यह सार्वजनिक नहीं हाे सकता है.

इतना ही नहीं, शिकायतकर्ता द्वारा अपनी शिकायत पर की गई कार्रवाई की ऐप के माध्यम से निगरानी करने पर भी पहचान गुप्त ही रहती है. ऐसे में शिकायत करने वाले व्यक्ति को किसी भी प्रकार से भयभीत होने की गुंजाइश नहीं रहती है. आयोग ने मतदाताओं से अपील की है कि वे बेखौफ होकर आयोग के "आंख नाक कान" बनकर सजक मतदाता की भूमिका निभा सकते हैं.

ये भी पढ़ें, Lok Sabha Election 2024 : प्रबुद्ध सम्मेलन को बनाया योगी ने यूपी में बीजेपी की क्लीन स्वीप का हथ‍ियार

शिकायत निवारण की प्रक्रिया

आयोग ने मतदाताओं की Complaint Redressal के लिए 100 मिनट की अवधि तय की है. शिकायत दर्ज होने पर सम्बन्धित Returning Officer द्वारा अपने नजदीक के उड़नदस्ता टीम (STF) को शिकायत स्थल पर भेजा जाता है. शिकायत की प्राथमिक तौर पर पुष्टि करने के बाद रिटर्निंग ऑफिसर के पोर्टल पर उक्त शिकायत को भेज दिया जाता है. इसके बाद सम्बन्धित रिटर्निंग ऑफिसर द्वारा शिकायत के निस्तारण के क्रम में निर्णय लिया जाता है.

आम तौर पर सी-विजिल एप के माध्यम से चुनाव में उम्मीदवारों द्वारा मतदाताओं को लालच देकर पैसा बांटने की शिकायत की जाती है. इनमें पैसा बांटने के लिए गिफ्ट या कूपन का वितरण करना, शराब के वितरण हेतु कूपन बांटने, महिलाओं को साड़ी और जेवरात बांटने सहित अन्य प्रकार से प्रलोभन देने की शिकायत की जा सकती है. इसके अतिरिक्त आयोग से अनुमति लिए बिना पोस्टर, बैनर लगाना, बिना अनुमति के बैठक करना, बिना अनुमति के प्रचार में गाड़ी लगाना और धार्मिक तथा उन्मादी भाषण देकर मतदाताओं को लुभाने या डराने की भी श‍िकायतें की जा सकती हैं.