इन दिनों हमारे देश में खरीफ फसलों की कटाई शुरू हो गई है. खरीफ फसलों की कटाई के तुरंत बाद ही रबी फसलों की बुवाई शुरू हो जाती है. देश की बड़ी किसान आबादी अब सब्जियों की खेती कर रही है. सब्जी की खेती करके कम समय में अधिक कमाई की जा सकती है. आप भी किसान हैं तो इस रबी सीजन से सब्जियों की खेती शुरू कर सकते हैं. आइए जान लेते हैं कि इस सीजन में कौन सी सब्जियों की खेती की जा सकती है.
रबी सीजन की खास फसलों की बात आती है तो गेहूं और सरसों का नाम सबसे पहले आता है. इसके साथ ही इस सीजन में कई अन्य दलहन और तिलहन फसलों की खेती की जाती है. आज आपको इससे हटकर सब्जियों की खेती के बारे में बताने जा रहे हैं जिससे कम समय में अधिक कमाई कर सकते हैं. किसान इस सीजन में गाजर, मूली, चुकंदर, पालक और आलू की खेती करें तो इससे अच्छी कमाई की जा सकती है.
खेती करने वाला हर किसान अपनी फसलों की अधिक से अधिक पैदावार चाहता है. अगर आप सब्जी की खेती कर अधिक पैदावार पाना चाहते हैं तो खास बातों का ध्यान रखना होगा. सब्जी की खेती पूरी तरह ऑर्गेनिक तरीके से करने की सलाह दी जाती है, ताकि इसके पोषक गुणों में भी बढ़ोतरी हो.
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इसके लिए बुवाई से पहले खेत की अच्छी तरह जुताई करें और फिर सड़ा हुआ गोबर पूरे खेत में पलट दें. गोबर डालने के तुरंत बाद पाटा चलाएं ताकि मिट्टी समतल हो जाए. अब पूरे खेत में छोटी-छोटी क्यारियां बना लेनी है और इन क्यारियों में ही बीजों की रोपाई करनी है.
किसी भी पौधे की अच्छी ग्रोथ और उससे पैदावार पाने के लिए पौधे को खाद-पानी के रूप में खुराक देना बहुत जरूरी होता है. सब्जी के खेत में कभी भी जलभराव नहीं करना चाहिए. केवल नमी बनाए रखने जितनी सिंचाई पर्याप्त होगी. सिंचाई के लिए ड्रिप इरिगेशन तकनीक का इस्तेमाल करें. खाद की बात करें तो बुवाई के 30-45 दिनों बाद आपको वर्मी कंपोस्ट देनी चाहिए. इससे पौधों की तेजी से ग्रोथ होगी.
हमने पहले ही बता दिया कि इस सीजन में गाजर, मूली, चुकंदर, पालक और आलू जैसी सब्जियों की खेती करने से फायदा मिलेगा. इन सभी सब्जियों की बाजार मांग सर्दी के सीजन में खूब होती है. आपको बता दें कि इन सभी फसलों के तैयार होने का समय अलग-अलग होगा है. पालक की कटाई तो आप बुवाई के 45-50 दिनों बाद से ही कर सकते हैं. गाजर और मूली की फसल भी तीन महीने बाद तैयार हो जाती है. आलू और चुकंदर को तैयार होने में चार महीने का समय लग सकता है.
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