राजस्थान के चूरू में एक अप्रैल से चना और सरसों की सरकारी खरीद शुरू होगी. इसके लिए 20 मार्च से किसानों ने अपना रजिस्ट्रेशन कराना शुरू कर दिया है. सरकारी खरीद के लिए चने का समर्थन मूल्य 5335 रुपये और सरसों का समर्थन मूल्य 5450 रुपये प्रति क्विंटल निर्धारित किया गया है. किसान अपनी उपज बेचने के लिए ई-मित्र पोर्टल पर सुबह नौ बजे से शाम सात बजे तक रजिस्ट्रेशन करा सकेंगे. इस रजिस्ट्रेशन के आधार पर किसानों को टोकन मिलेगा. फिर वे समर्थन मूल्य पर सरसों और चना बेच सकेंगे.
नियम के मुताबिक, एक किसान अधिकतम 25 क्विंटल उपज बेच सकेगा. किसान को ऑनलाइन रजिस्ट्रेशन करते समय आधार कार्ड, बैंक पासबुक, जमाबंदी गिरदावरी की कॉपी रजिस्ट्रेशन फार्म के साथ करनी अपलोड करनी होगी. किसान को अपना मोबाइल नंबर आधार कार्ड से लिंक करवाना होगा. किसानों को जन आधार कार्ड में अपना बैंक खाता नंबर दर्ज करना होगा.
सरकार रबी 2022-23 के तहत चना और सरसों की खरीद शुरू करने जा रही है. चूरू के क्रय विक्रय सहकारी समिति के उप रजिस्ट्रार संदीप शर्मा ने बताया कि क्रय विक्रय सहकारी समिति ने 20 मार्च से ऑनलाइन रजिस्ट्रेशन शुरू कर दिया है. इसके बाद एक अप्रैल से चना और सरसों की समर्थन मूल्य पर खरीद शुरू की जाएगी. किसान अपनी उपज बेचने के लिए ई-मित्र पर रजिस्ट्रेशन करा सकते हैं. एक मोबाइल नंबर पर एक ही किसान का रजिस्ट्रेशन किया जाता है और रजिस्ट्रेशन का काम सुबह नौ से शाम सात बजे तक किया जाता है.
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किसान की कृषि भूमि जिस तहसील में होगी, उसी तहसील के कार्य क्षेत्र में स्थित खरीद केंद्र का चयन रजिस्ट्रेशन के दौरान किया जा सकेगा. किसान को उसके रजिस्ट्रेशन के आधार पर वरीयता के अनुसार जींस की मात्रा का आवंटन किया जा रहा है और उसकी सूचना किसान के रजिस्टर्ड मोबाइल पर एसएमएस के जरिये दी जा रही है. एक किसान अधिकतम 25 क्विंटल उपज बेच सकता है.
क्रय विक्रय सहकारी समिति के उप रजिस्ट्रार संदीप शर्मा ने बताया कि चना और सरसों को समर्थन मूल्य पर बेचने के लिए किसान को ऑनलाइन पंजीयन करवाते समय जन आधार कार्ड, बैंक पासबुक, जमाबंदी, गिरदावरी की प्रति पंजीयन फार्म के साथ अपलोड करनी होगी. अपने मोबाइल नंबर को आधार कार्ड से लिंक कराना भी जरूरी है और जन आधार कार्ड से अपना बैंक खाता नंबर जोड़ना आवश्यक है. सरसों, चना की खरीद के लिए जिले में आठ केंद्र बनाए गए हैं. इन केंद्रों में चूरू, रतनगढ़, सरदारशहर, सुजानगढ़, बीदासर, सादुलपुर और रजपुरिया शामिल हैं.
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हाल में किसानों ने शिकायत की थी कि उनकी फसल बिकने के लिए तैयार है, लेकिन सरकारी खरीद शुरू नहीं हो सकी है. इससे मजबूरी में किसानों को अपनी उपज प्राइवेट में बाहर बेचना पड़ रहा है. किसानों के पास उपज रखने की समुचित व्यवस्था नहीं होने का बेजा फायदा प्राइवेट व्यापारी उठा रहे हैं और कम दामों पर सरसों, चने जैसी फसल खरीद रहे हैं. सरकारी खरीद में अच्छी कीमत मिलने की उम्मीद में किसानों ने प्रशासन से गुहार लगाई थी कि खरीद सेंटर जल्द खोले जाएंगे. लिहाजा राजस्थान के चूरू में एक अप्रैल से सरसों और चना की सरकारी खरीद शुरू की जा रही है.(रिपोर्ट/विजय चौहान)
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