GST on Dairy Product: नई टैक्स लिस्ट से डेयरी में आएगा बड़ा बूम, मिलावटी घी-पनीर पर भी लगेगी रोक 

GST on Dairy Product: नई टैक्स लिस्ट से डेयरी में आएगा बड़ा बूम, मिलावटी घी-पनीर पर भी लगेगी रोक 

GST on Dairy Product भारत दूध उत्पादन के मामले में दुनिया में नंबर वन है. हर साल दूध उत्पादन विश्व के मुकाबले तेजी से बढ़ रहा है. डेयरी एक्सपोर्ट में भी बहुत अवसर हैं, लेकिन डेयरी प्रोडक्ट पर भारी-भरकम टैक्स के चलते घी-मक्खन जैसे प्रोडक्ट का भी फायदा नहीं उठा पा रहे थे. लेकिन अब टैक्स स्लैब कम होने से कुछ उम्मीद जागी हैं. 

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GST on Dairy Product: नई टैक्स लिस्ट से डेयरी में आएगा बड़ा बूम, मिलावटी घी-पनीर पर भी लगेगी रोक डेयरी और एग्री सेक्टर को लेकर फंसा है भारत-यूएस डील में पेंच

GST on Dairy Product देश का डेयरी सेक्टर एक नहीं कई तरह की परेशानियों से जूझ रहा था. जिसमे ज्यादा टैक्स, दूध-घी, पनीर में मिलावट और डेयरी के एक बड़े हिस्से का असंगठित होना शामिल था. इंडियन डेयरी एसोसिएशन (IDA) इसे लेकर लगातार आवाज उठा रही थी. कई मौकों पर सरकार के सामने भी इन मुद्दों को रखा गया था. अब जब केन्द्र सरकार ने जीएसटी स्लैब में बदलाव किया है तो इसे बड़े रूप में देखा जा रहा है. डेयरी एक्सपर्ट का कहना है कि इस बदलाव से सिर्फ डेयरी सेक्टर ही नहीं पशुपालक और ग्राहकों को भी फायदा होगा. 

डेयरी का बाजार भी बड़ा होगा. बाजार बड़ा होने से सरकार को भी पहले से ज्यादा टैक्स मिलेगा. गौरतलब रहे केन्द्र सरकार ने घी, मक्खन, दूध, पनीर और चीज पर जीएसटी स्लैब में छूट दी है. पनीर पर से तो टैक्स ही खत्म कर दिया गया है. 

डेयरी सेक्टर को होगा 11400 करोड़ का फायदा 

IDA के प्रेसिडेंट और अमूल के पूर्व एमडी डॉ. आरएस सोढ़ी ने किसान तक को बताया कि हमारी एक पुरानी और बड़ी मांग अब पूरी हुई है. सरकार के इस कदम को अगर फायदे के तौर पर देखें तो इससे 11400 करोड़ रुपये का फायदा होगा. ये फायदा सिर्फ डेयरी सेक्टर ही नहीं पशुपालक और आम ग्राहक को भी होगा. डेयरी का जो बड़ा हिस्सा असंगठित है वो संगठित क्षेत्र में आ जाएगा. कम होने के बाद अब लोग टैक्स देकर नंबर एक में काम करना पसंद करेंगे. यही वजह है कि जब ग्राहक को दूध से बने प्योर डेयरी आइटम सस्ते मिलेंगे तो मिलावट करने वालों को धंधा कम हो जाएगा. 

घी सस्ता होने के बाद अब उसमे मिलावट भी कम हो जाएगी. अभी तक घी पर 12 फीसद जीएसटी ली जा रही थी. जबकि घी में किसान का भविष्य छिपा हुआ है. देश ही नहीं विदेश के घी बाजार में भी बहुत मौके हैं. हमारे पास दूध कलेक्शन से लेकर सप्लाई तक की मजबूत और सस्ती चेन है. पनीर में भी बहुत मिलावट होती है. अब पनीर को टैक्स फ्री कर दिया गया है. पनीर भी सस्ता हो जाएगा तो मिलावट भी कम होगी. और सबसे बड़ी बात ये है कि घी-पनीर सस्ता होने से आम लोग पोषण के लिए ज्यादा से ज्यादा इस्तेमाल कर सकेंगे. 

किस पर कितना कम हुआ टैक्स 

  • यूएचटी मिल्क पर टैक्स खत्म कर दिया गया है. 
  • कंडेंस्ड मिल्क पर टैक्स 12 से 5 फीसद कर दिया गया है. 
  • घी, बटर और बटर ऑयल पर टैक्स 12 से 5 फीसद कर दिया गया है.
  • चीज पर टैक्स 12 से 5 फीसद कर दिया गया है.
  • छैना और पनीर पर टैक्स पूरी तरह से खत्म कर दिया गया है. 

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