छत्तीसगढ़ सरकार द्वारा किसानों को पारंपरिक खेती के साथ-साथ उद्यानिकी फसलों की ओर प्रेरित करने का सकारात्मक असर अब नजर आने लगा है. रायपुर जिले के मनोरा विकासखंड के ग्राम केराकोना निवासी किसान सायो ने मिर्च की खेती अपनाकर अपनी आमदनी को दुगुना कर लिया है.
मुख्यमंत्री विष्णुदेव साय के नेतृत्व में राज्य सरकार द्वारा किसानों को आर्थिक रूप से सशक्त बनाने के लिए सतत प्रयास किए जा रहे हैं. उद्यानिकी विभाग की तकनीकी सहायता और प्रशिक्षण से लाभान्वित होकर किसान सायो ने 3.6 हेक्टेयर में से 0.3 हेक्टेयर भूमि पर मिर्च की खेती शुरू की. विभाग द्वारा खेत का परीक्षण कर मिर्च की फसल के लिए उपयुक्त होने की पुष्टि के बाद यह निर्णय लिया गया.
सायो ने बताया कि मिर्च की स्थानीय और आस-पास की मंडियों में अच्छी मांग है, जिससे उन्हें पारंपरिक फसलों की तुलना में दुगुनी आमदनी हो रही है. उन्होंने यह भी कहा कि अब वे अगले फसल वर्ष में मिर्च की खेती का रकबा और बढ़ाने की योजना बना रहे हैं.
उद्यानिकी विभाग द्वारा समय-समय पर प्रशिक्षण और तकनीकी सहयोग से किसान अब उन्नत कृषि पद्धतियों को अपनाकर आत्मनिर्भरता की ओर बढ़ रहे हैं. सायो की यह सफलता अन्य किसानों के लिए एक प्रेरणा बन रही है.
किसान सायो ने बताया कि उद्यानिकी विभाग की ओर से उन्हें मिर्च के महत्व और लाभ के विषय के बारे में तकनीकी मार्गदर्शन में उन्होंने अपने कुल 3.6 हेक्टेयर की भूमि में से 0.3 हेक्टेयर भूमि पर मिर्च उत्पादन शुरू किया. स्थानीय बाजार के साथ आस-पास की मंडियों में मिर्च की अच्छी मांग को देखते हुए विभागीय अधिकारियों के मार्गदर्शन में उन्होंने काम किया.
इस मार्गदर्शन और मेहनत से उन्हें अच्छी आमदनी मिल रही है. उन्होंने कहा कि पारंपरिक फसलों की जगह मिर्च के उत्पादन से मुझे दुगुनी आमदनी हो रही है. वे बताते हैं कि अगले फसल वर्ष में मिर्च की फसल और अधिक रकबे में करने के लिए तैयार हैं और खेती करने के लिए बेहद खुश हैं.
सायो की खेती और उनकी मेहनत को देख कर बाकी किसान भी खुश हैं. वे भी सायो की तरह मिर्च की खेती करना चाहते हैं और कुछ किसानों ने मिर्च की खेती भी शुरू कर दी है. बाजारों में मिर्च की मांग हमेशा बनी रहती है जिसे देखते हुए सायो जैसे किसान इसकी खेती अधिक से अधिक करने पर जोर दे रहे हैं.