मध्य प्रदेश के कांग्रेस प्रदेश अध्यक्ष जीतू पटवारी सुर्खियों में आ गए हैं और मामला ये है कि उनपर FIR दर्ज हो गई है. मामला ये है कि जीतू पटवारी किसानों की कई समस्याओं के लेकर केंद्रीय कृषि मंत्री शिवराज सिंह चौहान के आवास में प्रदर्शन करने पहुंच गए थे. जीतू पटवारी अनाज का बोरा कंधे में उठाकर अपने कार्यकर्ताओं के साथ मंत्री जी के घर की तरफ पैदल ही निकल गए. इस मामले में कांग्रेस प्रदेश अध्यक्ष के ऊपर मामला दर्ज हो गया है.
कांग्रेस प्रदेश अध्यक्ष जीतू पटवारी ने कहा कि 'हमें भावान्तर नहीं भाव चाहिए' उन्होंने सोशल मीडिया पर पोस्ट करते हुए लिखा कि खाद, बीज, और फसल का उचित मूल्य न मिलना, साथ ही कर्ज और खराब फसलों के कारण किसान आत्महत्या को मजबूर हो रहे हैं यह स्थिति बेहद गंभीर है. सिर्फ योजनाओं का झुनझुना बजाकर किसानों को बहलाया नहीं जा सकता. हमारी स्पष्ट मांग है, किसानों को "भावांतर" नहीं, फसल का उचित और सुनिश्चित भाव मिले! आश्वासन नहीं, ठोस समाधान दिया जाए. हंगामे के बीच केंद्रीय कृषि मंत्री शिवराज सिंह चौहान खुद अपने घर से बाहर आए और कांग्रेस के प्रतिनिधिमंडल को अपने साथ अंदर लेकर गए और बातचीत की.
पुलिस के अनुसार, कांग्रेस की ओर से प्रशासन या पुलिस को किसी भी तरह की पूर्व सूचना नहीं दी गई थी. इसलिए यह धरना और प्रदर्शन कानून और व्यवस्था का उल्लंघन माना गया. FIR में स्पष्ट किया गया है कि बिना अनुमति किसी भी प्रकार का प्रदर्शन करना कानूनी अपराध है और इसके लिए जिम्मेदार नेताओं और कार्यकर्ताओं के खिलाफ कार्रवाई की जाएगी. आपको बता दें कि पुलिस ने कांग्रेस कार्यकर्ताओं को कई बार रोकने की कोशिश की. रास्ते में बैरिकेड्स और पुलिस की जीपें भी लगाई गईं, लेकिन हर बार पुलिस और कार्यकर्ताओं के बीच झड़प हुई और जीतू पटवारी आगे बढ़ते रहे.
जीतू पटवारी ने ANI के साथ बातचीत करते हुए बताया कि, "आज मैं किसानों की समस्याओं को लेकर शिवराज सिंह चौहान के आवास पर गया था. पिछले दो दिनों में आठ किसानों ने आत्महत्या की है. विधानसभा चुनावों के दौरान आपने (तत्कालीन सीएम शिवराज सिंह चौहान ) मोदी को सोयाबीन के लिए 6,000 रुपये प्रति क्विंटल, धान के लिए 3,100 रुपये और गेहूं के लिए 2,700 रुपये MSP देने की गारंटी दी थी. लेकिन एक भी वादा पूरा नहीं किया गया. किसान कर्ज के बोझ तले दबे हुए हैं और आत्महत्या करने को मजबूर हो रहे हैं.
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