अमेरिकी वेदर एजेंसी की रिपोर्ट ने किया दावा, गंभीर सूखे से प्रभावित रहा भारत का 20 फीसदी क्षेत्र

अमेरिकी वेदर एजेंसी की रिपोर्ट ने किया दावा, गंभीर सूखे से प्रभावित रहा भारत का 20 फीसदी क्षेत्र

अमेरिकी एजेंसी नेशनल ओशियेनिक एंड एटमोशफेयर एडमिनिशट्रेशन (NOAA) के मुताबिक यह भी  बताया गया कि भारत में सिंतबर महीना सबसे अधिक सूखा रहा. सिंतबर के महीने में वैश्विक तापमान 20वीं सदी के औसत तापमान 15 डिग्री सेल्सिय से 1.44 डिग्री सेल्सियस अधिक रहा.

सूखा हुआ तालाब                                                                      फाइल फोटोसूखा हुआ तालाब फाइल फोटो
क‍िसान तक
  • Delhi,
  • Oct 27, 2023,
  • Updated Oct 27, 2023, 12:18 PM IST

ग्लोबल वार्मिंग का असर विश्व के कई देशों में दिखाई दे रहा है. इसके कारण उन देशों या क्षेत्रों में मौसम के पैटर्न में बदलाव हो रहा है. यही वजह है कि साल 2023 अब खत्म होने वाला है. वैश्विक इतिहास में इस साल को अब तक के सबसे गर्म साल के तौर पर दर्ज किया जाएगा क्योंकि अमेरिकी मौसम एजेंसी ने इस बात की पुष्टि की है कि यह साल ऐसा रहा जब भारत का पांचवा हिस्सा सूखे की गंभीर चेपट में रहा. एजेंसी ने कहा कि इंडिया ड्राउट मॉनिटर के अनुसार देश के उत्तरी भाग, पूर्वी भाग उत्तर-पश्चिम तटीय इलाकों में सूखे की हालात की पुष्टि होती है. ड्राउट मॉनिटर के अनुसार भारत का 21.6 फीसदी क्षेत्र सूखे से प्रभावित रहा. 

अमेरिकी एजेंसी नेशनल ओशियेनिक एंड एटमोशफेयर एडमिनिशट्रेशन (NOAA) के मुताबिक यह भी  बताया गया कि भारत में सिंतबर महीना सबसे अधिक सूखा रहा. सिंतबर के महीने में वैश्विक तापमान 20वीं सदी के औसत तापमान 15 डिग्री सेल्सिय से 1.44 डिग्री सेल्सियस अधिक रहा. अमेरिकी राष्ट्रीय पर्यावरण सूचना केंद्र की तरफ से कहा गया है कि इस बात की संभावना बहुत अधिक है कि साल 2023 को अब तक के इतिहास में सबसे गर्म साल घोषित किया जाए. NOAA  ने कहा कि 2023 का सितंबर महीना 174 साल के इतिहास में सबसे अधिक गर्म महीना रहा है.

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सबसे गर्म महीना रहा सितंबर 

बढ़ते तापमान का सबसे अधिक असर विश्व के कृषि क्षेत्रों पर पड़ा है. कृषि योग्य भूमि का एक बड़े हिस्से में नमी की हो रही है साथ ही वहां पर भूगर्भजलस्तर में भी गिरावट दर्ज की जा रही है. इस क्षेत्रों में वनस्पति पर भी खासा तनाव देखा जा रहा है, क्योंकि उन्हें पानी की कमी महसूस हो रही है. अमेरिकी मौसम एजेंसी ने कहा कि सितंबर के महीने में विश्व के 20 फीसदी क्षेत्रफल में सबसे अधिक गर्मी महसूस की गई. जो तापमान का रिकॉर्ड रखने की शुरुआत किए गए वर्ष 1951 से बाद से अब तक में सबसे अधिक है. समुद्री सतह के तापमान में सिंतबर महीने में लगातार छठे महीने तक बढ़ोतरी देखी गई. अमेरिकी एजेंसी की तरफ से दी गई जानकारी को ब्यूरो ऑफ मेट्रोलॉजी ऑस्ट्रेलिया ने भी सही माना है और उनके रिकॉर्ड में भी सितंबर सबसे गर्म महीना रहा है.

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इन हिस्सों में रहा सूखा 

सिंतबर 2023 का महीना लगातार 49वां महीना और 535वां लगातार वह महीना है जब इसका तापमान 20वीं सदी के मुकाबले अधिक है. अमेरिकी वेदर एजेंसी ने यूनिर्सिटी ऑफ मेरीलैंड का हवाला देते हुए हा कि अल नीनो की शुरुआत जून में हुई थी जिसने कई क्षेत्रों को प्रभावित किया और उन क्षेत्रों में सूखा रहा. मानकीकृत अवक्षेपण वाष्पीकरण श्वसन सूचकांक (SEPI)  के मुताबिक दक्षिण-पश्चिम एशिया, भारत के कुछ हिस्सों में, रुस, दक्षिण-पूर्व एशिया और उत्तरी चीन में सूखा रहा. इन क्षेत्रों में बारिश कम हुई धूप अधिक हुई इसके कारण सूखे जैसे हालात रहे. 


 

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