चंडीगढ़ में खत्म हुआ किसानों का आंदोलन, किसान महापंचायत में बनेगी आगे की रणनीति

चंडीगढ़ में खत्म हुआ किसानों का आंदोलन, किसान महापंचायत में बनेगी आगे की रणनीति

भारतीय किसान यूनियन (उग्राहां) के अध्यक्ष जोगिंदर सिंह उग्राहां ने कहा कि किसान शुक्रवार को धरना स्थल छोड़ना शुरू कर देंगे. इसके बाद वो 30 सितंबर तक का इंतजार करेंगे, क्योंकि राज्य सरकार ने उनसे कहा है कि 30 सितंबर तक उनके पास नई कृषि नीति का मसौदा भेज दिया जाएगा.

चंडीगढ़ें में खत्म हुआ किसानों का विरोधचंडीगढ़ें में खत्म हुआ किसानों का विरोध
क‍िसान तक
  • Noida,
  • Sep 06, 2024,
  • Updated Sep 06, 2024, 6:32 PM IST

पंजाब के चंडीढ़ के सेक्टर 34 कार्निवल ग्राउंड में विरोध कर रहे किसानों का धरना सरकार के आश्वासन के बाद खत्म हो गया है. पंजाब के मुख्यमंत्री भगवंत मान से कल किसानों के साथ हुई बैठक के बाद कहा था कि सरकार कृषि नीति लागू करने के लिए तैयार है. इसका मसौदा भी तैयार हो चुका है. इसके बाद से आज किसान धरना स्थल से जाने की तैयारी करते हुए दिखे. किसान टेंट को खोल कर उसे समेट रहे थे. किसानों ने कहा कि अब वे पंजाब सरकार की तरफ से किए गए वादे के अनुसार 30 सितंबर तक इंतजार करेंगे. 

भारतीय किसान यूनियन (उग्राहां) के अध्यक्ष जोगिंदर सिंह उग्राहां ने कहा था कि किसान धरना स्थल छोड़ना शुरू कर देंगे. इसके बाद वो 30 सितंबर तक का इंतजार करेंगे, क्योंकि राज्य सरकार ने उनसे कहा है कि 30 सितंबर तक उनके पास नई कृषि नीति का मसौदा भेज दिया जाएगा. इस पर किसान चर्चा करेंगे. फिर किसानों से चर्चा करने के बाद ही सरकार राज्य में कृषि नीति को लागू करने को लेकर कोई फैसला लेगी. इसलिए किसानों ने कहा था कि वे आज एक बैठक कर आगे की रणनीति की चर्चा करेंगे और धरना समाप्त कर देंगे. 

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मांगों पर सरकार ने जताई सहमति

इससे पहले कल शाम को चंडीगढ़ में भारतीय किसान यूनियन (उग्राहां) और पंजाब खेत मजदूर यूनियन के नेताओं के साथ पंजाब के मुखयमंत्री ने लगभग दो घंटे तक बैठक की थी. इस बैठक में विरोध कर रहे किसानों से मांगों से संबंधित विषयों पर चर्चा की गई थी. बैठक में किसानों की तरफ से उठाई गई अधिकांश मांगों पर सरकार ने सहमति जताई. इसके बाद बैठक खत्म हो गई. इस दौरान किसानों ने कृषि लोन समेत कृषि और किसानों से जुड़े कई मुद्दों पर विस्तार से चर्चा की थी. 

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पांच दिवसीय विरोध प्रदर्शन

बता दें कि भारतीय किसान यूनियन (उग्राहां) और पंजाब खेत मजदूर यूनियन के बैनर तले किसानों ने पंजाब में कृषि नीति को लागू करने समेत कई मांगों को लेकर रविवार से पांच दिवसीय विरोध प्रदर्शन किया था. इस दौरान किसानों ने विधानसभा मार्च भी किया था और अपनी मांगों से संबंधित ज्ञापन सौंपा था. इसके बाद गुरुवार को पंजाब से मुख्यमंत्री ने किसानों को बातचीत के लिए बुलाया और कहा कि राज्य में कृषि नीति लगभग तैयार हो गई है. 30 सितंबर तक इसकी कॉपी किसानों को भेज दी जाएगी, उनसे बातचीत के बाद इसे लागू किया जाएगा.
 

 

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