खाद की कमी पर सरकारी कंपनी NFL का बड़ा बयान, स्टॉक और सप्लाई पर जारी किए आंकड़े 

खाद की कमी पर सरकारी कंपनी NFL का बड़ा बयान, स्टॉक और सप्लाई पर जारी किए आंकड़े 

पंजाब में रबी फसलों के लिए जरूरी उर्वरकों की उपलब्धता को लेकर सरकारी स्वामित्व वाली उर्वरक कंपनी एनएफएल ने शनिवार को कहा कि राज्य में मौजूदा रबी बुआई सीजन की मांग को पूरा करने के लिए पर्याप्त यूरिया का स्टॉक मौजूद है. 

एनएफएल ने कहा है कि पंजाब में उर्वरकों की कोई कमी नहीं है. एनएफएल ने कहा है कि पंजाब में उर्वरकों की कोई कमी नहीं है.
क‍िसान तक
  • Noida,
  • Dec 07, 2024,
  • Updated Dec 07, 2024, 3:41 PM IST

रबी फसलों के लिए खाद की कमी की शिकायतों को लेकर सरकारी सरकारी स्वामित्व वाली उर्वरक कंपनी एनएफएल ने कहा है कि पंजाब में उर्वरकों की कोई कमी नहीं है. रबी सीजन के लिए खूब है खाद उपलब्ध है और डीलर्स के जरिए तेज सप्लाई की जा रही है. कंपनी ने कहा कि यूरिया का एक 45 किलोग्राम का बैग लगभग 250 रुपये में बेचा जाता है. ओवर प्राइसिंग करने वालों पर सख्ती करने और कार्रवाई करने की बात कही गई है. 

रबी सीजन में गेहूं, चना, सरसों समेत अन्य फसलों की बुआई के लिए उर्वरकों को लेकर कई राज्यों में किसानों ने कमी और अधिक कीमत वसूलने की शिकायतें दर्ज कराई हैं. पंजाब में रबी फसलों के लिए जरूरी उर्वरकों की उपलब्धता को लेकर सरकारी स्वामित्व वाली उर्वरक कंपनी एनएफएल ने शनिवार को कहा कि राज्य में मौजूदा रबी बुआई सीजन की मांग को पूरा करने के लिए पर्याप्त यूरिया का स्टॉक मौजूद है. 

यूरिया का पर्याप्त स्टॉक मौजूद - एनएफल 

देश की अग्रणी उर्वरक निर्माता कंपनी एनएफएल ने शनिवार को किसानों से कहा कि वह खाद की कमी की अफवाहों पर ध्यान न दें और पोषक तत्वों की जमाखोरी न करने की सलाह दी. कंपनी ने कहा कि पंजाब में मौजूदा रबी बुआई सीजन के लिए जरूरी यूरिया का पर्याप्त स्टॉक है. एनएफएल ने एक बयान में कहा कि रबी सीजन के लिए पंजाब में यूरिया की कुल आवश्यकता में से उर्वरक कंपनियों द्वारा राज्य में नियमित आपूर्ति की जा रही है.

मार्कफेड और निजी कंपनियां कर रहीं बिक्री 

एनएफएल ने कहा कुल आवश्यकता के अनुपात के आधार पर 1 अक्टूबर से पंजाब को पर्याप्त मात्रा में आपूर्ति की जा चुकी है. यह मात्रा यूरिया की अनुपातिक आवश्यकता के मुकाबले एक लाख टन से अधिक है. कंपनी ने कहा कि उर्वरक कंपनियां पंजाब में 60 प्रतिशत यूरिया मार्कफेड के माध्यम से और 40 प्रतिशत निजी डीलरों के माध्यम से आपूर्ति कर रही हैं. 

यूरिया उत्पादन बढ़कर 314 लाख टन पहुंचा

कंपनी के अनुसार यूरिया उत्पादन 2014-15 के दौरान 225 लाख टन प्रति वर्ष से बढ़कर 2023-24 के दौरान रिकॉर्ड 314.07 लाख टन हो गया है. किसानों को यूरिया वैधानिक रूप से अधिसूचित अधिकतम खुदरा मूल्य (एमआरपी) पर उपलब्ध कराया जाता है. यूरिया एमआरपी और उत्पादन लागत के बीच का अंतर निर्माताओं को दिया जा रहा है. यूरिया का एक बैग (45 किलोग्राम) लगभग 250 रुपये में बेचा जाता है. कहीं भी अधिक कीमत किसान से नहीं ली जा रही है. कहीं ऐसा मामला मिलता है तो नियमानुसार कार्रवाही की जाएगी. 

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