प्याज की निर्यातबन्दी खत्म होने के बाद किसानों के लिए थोक दाम में लगातार सुधार हो रहा है. अब ज्यादातर मंडियों में 2500 से 3000 रुपये प्रति क्विंटल का दाम मिलने लगा है, जिससे किसानों को अच्छा मुनाफा मिल रहा है. इस बीच रायगढ़ जिले की पेण मंडी में प्याज के न्यूनतम और अधिकतमदोनों दाम ने रिकॉर्ड बना दिया है. कम आवक की वजह से ऐसा हुआ. महाराष्ट्र एग्रीकल्चरल मार्केटिंग बोर्ड के अनुसार 14 जून को यहां सिर्फ 189 क्विंटल प्याज की आवक हुई. इसलिए न्यूनतम दाम भी 3800 रुपये पहुंच गया. अधिकतम दाम 4000 और औसत दाम भी 3800 रहा.
राज्य की कई मंडियों में आवक बहुत कम हो गई है, इसलिए दाम तेजी से बढ़ रहा है. हिंगणा मंडी में सिर्फ 6 क्विंटल प्याज बिकने को आया. इसलिए न्यूनतम दाम भी 2900 रुपये प्रति क्विंटल तक पहुंच गया. भुसावल में सिर्फ 7 क्विंटल की आवक हुई और यहां न्यूनतम दाम 2000 रुपये रहा. नंदुरबार में सिर्फ 103 क्विंटल की आवक थी, इसलिए यहां न्यूनतम दाम 2160 रुपये रहा. इसी प्रकार कल्याण मंडी में मात्र 3 क्विंटल प्याज की आवक हुई इसलिए न्यूनतम दाम भी 2800 रुपये प्रति क्विंटल तक पहुंच गया.
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महंगाई कम करने के लिए सरकार से 7 दिसंबर 2023 से प्याज के निर्यात पर रोक लगा दी थी, इसके बाद दाम गिर गए थे. किसानों को सिर्फ 1 से 10 रुपये किलो तक का ही दाम मिल रहा था. इसलिए नाराज किसानों ने लोकसभा चुनाव में बीजेपी और उसके साथी दलों को सबक सिखाने की घोषणा कर दी. नुकसान होता देख सरकार ने पांच महीने बाद 4 मई को प्याज का निर्यात खोल दिया, जिसके बाद से दाम बढ़ना शुरू हुआ और किसानों को लाभ मिलने लगा.
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