Bakrid: बकरीद पर कुर्बानी के लिए सोनपरी बकरों की भी हो रही डिमांड, जानें खासियत

Bakrid: बकरीद पर कुर्बानी के लिए सोनपरी बकरों की भी हो रही डिमांड, जानें खासियत

देशभर में बकरे-बकरियों की 41 नस्ल पाली जाती हैं. किसी खास नस्ल को दूध के लिए पाला जाता है तो किसी को मीट के लिए. कुछ ऐसी भी होती हैं जिन्हें दूध-मीट दोनों के लिए पाला जाता है. कई ऐसी नस्ल हैं जिन्हें मीट के लिए देश ही नहीं विदेशों में, खासतौर पर अरब देशों में पसंद किया जाता है. अब इस लिस्ट में मीट के लिए बकरों की एक और खास नस्ल सोनपरी भी शामिल हो गई है. 

किसानों के लिए ATM है ये बकरी की नस्लकिसानों के लिए ATM है ये बकरी की नस्ल
नासि‍र हुसैन
  • NEW DELHI,
  • May 19, 2025,
  • Updated May 19, 2025, 10:58 AM IST

बकरों की कई ऐसी नस्ल हैं जिन्हें मीट के लिए देश ही नहीं विदेशों, खासतौर पर अरब देशों में पसंद किया जाता है. अच्छी खबर ये है कि मीट के लिए बकरों की एक और खास नस्ल लिस्ट में शामिल हो गई है. ये नई नस्ल है सोनपरी. इस बार बकरीद पर कुर्बानी के लिए सोनपरी की भी डिमांड हो रही है. सोनपरी नस्ल के बकरे-बकरी बैरारी और ब्लैक बंगाल की मिक्स नस्ल है. यही वजह इसे मीट के लिए खास बनाती है. हालांकि वजन में ये 24 से 28 किलो के होते हैं. 

लेकिन दूसरे बकरों के मुकाबले इनका मीट महंगे दाम पर बिकता है. ये खास नस्ल वाराणसी, सोनभद्र और मिर्जापुर में बहुत पाई जाती है. केन्द्रीय बकरी अनुसंधान संस्थान (सीआईआरजी), मथुरा ने इस पर रिसर्च की है. बीते चार साल से सीआईआरजी इस नस्ल पर रिसर्च कर रहा है. इसे सोनपरी नाम दिया गया है. सोनपरी नस्ल को रजिस्टर्ड कराने के लिए फाइल संबंधित विभाग को भेज दी गई है. रिसर्च के और रिजल्ट देखने के लिए सोनपरी नस्ल के बकरे और बकरियों को सीआईआरजी में भी रखा गया है. 

खासतौर पर मीट के लिए तैयार की गई है सोनपरी नस्ल

गोट एक्सपर्ट और सीनियर साइंटिस्ट डॉ. चेतना गंगवार का कहना है कि काफी साल पहले सोनभद्र और मिर्जापुर के इलाकों में किसानों की मदद के लिए और उनकी गरीबी दूर करने के लिए बैरारी नस्ल की बकरी उनके बीच बांटी गईं थी. इसे पालकर वो इसके दूध से बच्चों का पालन-पोषण करते थे. लेकिन बीते कुछ वक्त से इन्हीं किसानों ने बैरारी बकरी और ब्लैक बंगाल नस्ल के बकरे को क्रास कराकर एक नई नस्ल तैयार कर दी. ब्लैक बंगाल पश्चिम बंगाल की नस्ल है. लेकिन इसका पालन सोनभद्र, वाराणसी, मिर्जापुर, झारखंड और छत्तीसगढ़ में भी किया जाता है. इसी के चलते किसानों ने ये नया प्रयोग किया. ब्लैंक बंगाल नस्ल‍ खासतौर से मीट के लिए अपनी पहचान रखती है. 

बाजार में सोनपरी की ऐसे कर सकते हैं पहचान 

डॉ. चेतना गंगवार ने बताया कि अगर आप बाजार में सोनपरी नस्ल के बकरे-बकरी खरीदने जा रहे हैं तो इनकी पहचान बहुत ही आसान है. ये दिखने में डार्क ब्राउन कलर के होते हैं. इनकी पीठ यानि रीढ़ की हड्डी पर गर्दन से लेकर पूंछ तक काले रंग के उभरे हुए बाल होते हैं. इतना ही नहीं गले पर काले उभरे हुए बालों की रिंग (गोला) होती है. सींग नुकीले पीछे की ओर होते हैं. ये मध्यम आकार की बकरी है. पूंछ के पास थाई पर भी ब्राउन और ब्लैक कलर के उभरे हुए बाल होते हैं.

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