PMFBY: मेरी पॉलिसी मेरे हाथ अभ‍ि‍यान के तीसरे चरण की हुई शुरुआत, जानें इसके लाभ

PMFBY: मेरी पॉलिसी मेरे हाथ अभ‍ि‍यान के तीसरे चरण की हुई शुरुआत, जानें इसके लाभ

केंद्र सरकार की ओर से चलाई जाने वाली फसल बीमा योजना के तहत मेरी पॉलिसी मेरा हाथ योजना के तीसरे चरण की शुरुआत की गई है. आइए जानते है ये योजना क्या है.

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PMFBY: मेरी पॉलिसी मेरे हाथ अभ‍ि‍यान के तीसरे चरण की हुई शुरुआत, जानें इसके लाभमेरी पॉलिसी मेरा हाथ योजना के तीसरे चरण की शुरुआत, फसल की तस्वीर

देश की तरक्की में किसानों का बहुत अधिक योगदान रहा है. इसलिए सरकार हमेशा किसानों के हित में अनेक तरह की योजनाएं लेकर आती रहती है, जिससे किसानी की आर्थिक आय और उनकी फसलों की सुरक्षा की जा सके. इसी तरह की एक योजना प्रधानमंत्री फसल बीमा योजना है. इस योजना से जुड़े क‍िसानों के ल‍िए कृषि‍ व क‍िसान कल्याण मंत्रालय ने मेरी पॉलिसी मेरे हाथ अभि‍यान शुरू क‍िया है, जो इसके तीसरे चरण का अभ‍ियान है. आइए जानते हैं क‍ि ये अभ‍ियान क्या है और क‍िसानों को कैसे इसका लाभ म‍िलेगा. 

मेरी पॉलिसी मेरे हाथ योजना

 

यह अभ‍ियान केंद्र सरकार की ओर से चलाई जाने वाली पीएम फसल बीमा योजना के तहत अपनी फसलों का बीमा कराने वाले किसानों को प्रमाण के रूप में दस्तावेज देने के लिए चलाया गया है. पहले फसलों का बीमा कराने वाले किसानों के दस्तावेज या जरूरी कागजात सोसायटी या बैंकों में ही रखा रहता था. वो अब सीधे किसानों को दिया जाएगा. इससे पहले भी 2 चरणों में किसानों को कागजात बांटे जा चुके हैं इस बार तीसरे चरण की शुरुआत की गई है.

इसके लाभ

मेरी पॉलिसी मेरा हाथ योजना के अंतर्गत किसानों को फसल की बीमा का पूरा दस्तावेज दिया जाएगा. इससे पहले उनके पास बीमा को कोई ठोस प्रमाण नहीं होता था. सिर्फ एक पावती दी जाती थी, जिसके माध्यम से किसानों को अपनी फसलों की नुकसान को क्लेम करने में कई तरह की समस्या का सामना करना पड़ता था. इस योजना के लागू होते ही किसान अपनी फसल बीमा संबंधी सभी दस्तावेज आसानी से प्राप्त कर सकेंगे, जिसके बाद मौसम या आपदाओं की वजह से खराब हुई फसल के मुआवजे की मांग करने में आसानी होगी.

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 आपको बता दें कि केंद्र सरकार की ओर से चलाई जाने वाली प्रधानमंत्री फसल बीमा योजना के तहत किसानों के फसलों का बीमा किया जाता है. इसके बाद खराब मौसम या प्राकृतिक आपदाओं के कारण यदि किसान की फसलें प्रभावित होती हैं तो किसान खुद अपने मुआवजे की मांग कर सकता है.

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