Farmer Suicide: महाराष्‍ट्र में 60 दिनों में 479 किसानों ने की आत्‍महत्‍या, सरकार ने किया मदद का दावा 

Farmer Suicide: महाराष्‍ट्र में 60 दिनों में 479 किसानों ने की आत्‍महत्‍या, सरकार ने किया मदद का दावा 

Farmer Suicide: महाराष्‍ट्र विधानसभा में विधायकों की तरफ से उठाए गए सवालों का जवाब देते हुए राहत एवं पुनर्वास मंत्री मकरंद जाधव ने शुक्रवार को कहा कि मार्च 2025 में मराठवाड़ा और विदर्भ में 250 किसानों ने आत्महत्या की है. जाधव ने यह भी कहा कि अप्रैल 2025 में राज्य में 229 किसानों ने आत्महत्या की है. मार्च में दर्ज 250 आत्महत्याओं में से 102 मामले सरकारी मानदंडों के अनुसार मुआवजे के लिए पात्र पाए गए हैं.

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Farmer Suicide: महाराष्‍ट्र में 60 दिनों में 479 किसानों ने की आत्‍महत्‍या, सरकार ने किया मदद का दावा farmer suicide Mahrashtra: महाराष्‍ट्र से आए डराने वाले आंकड़ें

महाराष्‍ट्र में किसानों की आत्‍महत्‍या एक बड़ा मसला बनता जा रहा है. कहां उम्‍मीद थी कि इसमें इस साल कुछ सुधार आ सकता है तो यह मामला और गंभीर होता जा रहा है. महाराष्‍ट्र सरकार की तरफ से जो नए आंकड़ें दिए गए हैं, वो काफी डराने वाले हैं. दो महीनों में ही करीब 500 किसानों ने आत्‍महत्‍या कर ली है. वहीं राज्‍य सरकार की तरफ से यह भी बताया गया है कि उसकी तरफ से प्रभावित परिवारों को कितनी आर्थिक मदद मुहैया कराई जा रही है. 

मार्च-अप्रैल के आंकड़ें 

महाराष्‍ट्र विधानसभा में विधायकों की तरफ से उठाए गए सवालों का जवाब देते हुए राहत एवं पुनर्वास मंत्री मकरंद जाधव ने शुक्रवार को कहा कि मार्च 2025 में मराठवाड़ा और विदर्भ में 250 किसानों ने आत्महत्या की है. जाधव ने यह भी कहा कि अप्रैल 2025 में राज्य में 229 किसानों ने आत्महत्या की है. मार्च में दर्ज 250 आत्महत्याओं में से 102 मामले सरकारी मानदंडों के अनुसार मुआवजे के लिए पात्र पाए गए हैं जबकि 62 मामले अयोग्‍य हैं. साथ ही, 86 मामले जांच के लिए अटके हैं. 102 पात्र मामलों में से 77 मामलों में मदद मुहैया कराई गई है. 

अप्रैल में दर्ज 229 मामलों में से 74 मामले पात्र पाए गए हैं और 31 मामले मुआवजे के लिए अयोग्‍य पाए गए हैं. बाकी मामलों में मदद प्रदान करने की प्रक्रिया चल रही है. आत्महत्या करने वाले किसानों के उत्तराधिकारियों को राज्य सरकार 1 लाख रुपए की सहायता राशि प्रदान करती है. अगर मृतक के परिवार में कोई व्यक्ति कृषि भूमि रखता है, तो उसे किसान माना जाता है. 

कैसे मिलती है किसान को मदद 

जाधव ने अपने लिखित जवाब में कहा, 'आत्महत्या की सूचना मिलने के बाद, जिला स्तरीय अधिकारी द्वारा परिवार का दौरा किया जाता है. तालुका स्तरीय समिति की तरफ से जरूरी जांच की जाती है और जिला स्तरीय समिति द्वारा पूर्ण प्रस्ताव तैयार करने के बाद योग्‍य और अयोग्‍य का फैसला किया जाता है. इसके बाद तुरंत सहायता प्रदान की जाती है. जाधव विधायक रोहित पवार, जितेंद्र आव्हाड, विजय वडेट्टीवार सहित की तरफ से उठाए गए सवालों का जवाब दे रहे थे. 

सरकार की योजनाओं से मदद 

उन्होंने यह भी कहा कि प्राकृतिक आपदाओं के कारण फसल के नुकसान के मामले में राहत और पुनर्वास विभाग द्वारा सहायता प्रदान की जा रही है. जाधव ने कहा, 'केंद्र प्रायोजित प्रधानमंत्री किसान सम्मान निधि योजना के तहत कृषि विभाग के माध्यम से सालाना 12,000 रुपये और नमो शेतकरी महासम्मान निधि के तहत 6,000 रुपये दिए जा रहे हैं. आत्महत्याओं को रोकने के लिए किसानों की कृषि उपज का उचित मूल्य दिलाने, सिंचाई सुविधाओं को बढ़ाने और बंदरगाहों का संचालन करने जैसी योजनाएं जिला स्तर पर लागू की जा रही हैं.' 

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