आज 111वें दिन, जगत सिंह डल्लेवाल का आमरण अनशन दातासिंहवाला-खनौरी किसान मोर्चे पर जारी रहा. इस आंदोलन का मुख्य उद्देश्य केंद्र सरकार से MSP (न्यूनतम समर्थन मूल्य) गारंटी कानून की घोषणा करवाना है. यह संघर्ष केवल पंजाब और हरियाणा के किसानों तक सीमित नहीं है, बल्कि पूरे देश के किसानों की आवाज बन चुका है.
हाल ही में, तमिलनाडू के तनकाशी में संयुक्त किसान मोर्चा (गैर-राजनीतिक) द्वारा राज्य स्तरीय किसान महापंचायत का आयोजन किया गया. इस महापंचायत में किसानों ने एकजुट होकर MSP गारंटी कानून के समर्थन में प्रस्ताव पारित किया. सभी उपस्थित किसानों ने एक स्वर में मांग की कि केंद्र सरकार 19 मार्च को किसान नेताओं के साथ बैठक के दौरान MSP गारंटी कानून बनाने की घोषणा करे.
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महापंचायत में पी आर पांड्यन और अय्यकन्नू के नेतृत्व में 20 से अधिक जिलों से किसानों ने भाग लिया. तमिलनाडु के किसान नेताओं ने यह स्पष्ट किया कि MSP गारंटी कानून की मांग सिर्फ पंजाब और हरियाणा के किसानों की नहीं है, बल्कि यह पूरे देश के किसानों की ज़रूरत है. उन्होंने कहा कि तमिलनाडु के किसान जगत सिंह डल्लेवाल के संघर्ष में उनके साथ खड़े हैं और इस आंदोलन को देशभर में समर्थन मिल रहा है.
संयुक्त किसान मोर्चा (गैर-राजनीतिक) और किसान मजदूर मोर्चा के नेतृत्व में किसान आंदोलन अब और तेज हो गया है. 17 मार्च को चंडीगढ़ के किसान भवन में कृषि विशेषज्ञों के साथ एक सेमिनार का आयोजन किया जाएगा, जिसमें MSP गारंटी कानून के मुद्दे पर गहन चर्चा होगी. इसके बाद एक प्रेस कॉन्फ्रेंस का आयोजन भी किया जाएगा, जिसमें किसानों की मांग को मीडिया के माध्यम से और अधिक पब्लिक किया जाएगा.
इससे पहले, 21 मार्च को राजस्थान के श्रीगंगानगर और 22 मार्च को हरियाणा के फतेहाबाद में प्रदेश स्तरीय किसान सम्मेलन होंगे. इन सम्मेलनों की तैयारियाँ जोर-शोर से चल रही हैं और इनका उद्देश्य MSP गारंटी कानून को लेकर किसानों की आवाज को और मजबूत करना है.
किसान संगठन लंबे समय से MSP गारंटी कानून की मांग कर रहे हैं, ताकि किसान अपनी फसल को न्यूनतम समर्थन मूल्य पर बेच सकें और उन्हें उनके उत्पाद का उचित मूल्य मिल सके. यह कानून किसानों के हित में होगा और उन्हें बाजार में दामों की अनिश्चितता से बचाएगा.
किसान नेताओं का कहना है कि बिना MSP गारंटी के, किसान बाजार की मनमानी और व्यापारी वर्ग की असंवेदनशीलता का शिकार होते हैं. ऐसे में, MSP गारंटी कानून से किसानों को आर्थिक सुरक्षा मिलेगी और वे अपनी मेहनत का सही मूल्य प्राप्त कर सकेंगे.
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