Buransh: लाल ही नहीं, पीला और सफेद भी होता है बुरांश का फूल, जानें इनकी खासियत

Buransh: लाल ही नहीं, पीला और सफेद भी होता है बुरांश का फूल, जानें इनकी खासियत

पहाड़ी इलाके में इन दिनों एक ऐसा भी फूल खिलता है, जो अपनी खूबसूरती और औषधीय गुणों के लिए जाना जाता है. वो हैं बुरांश का फूल. मार्च और अप्रैल के महीने में पहाड़ इस फूलों के रंग में डूबा रहता है.

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Buransh: लाल ही नहीं, पीला और सफेद भी होता है बुरांश का फूल, जानें इनकी खासियतबुरांश का फूल

वसंत ऋतु को सभी ऋतुओं का राजा भी कहा जाता है. यह मौसम बेहद आनंदमय और सुखद होता है. इस मौसम में चारो तरफ रंग-बिरंगे फूलों का बहार होती है. लोग अपने बगीचे में तरह-तरह की फूल पत्तियां इस मौसम में लगाते हैं. वहीं जंगलों की बात की जाए तो यहां भी इस मौसम में प्रकृति का अलग नजारा देखने को मिलता है. मैदानी इलाकों से पहाड़ी इलाकों में भी रंग-बिरंगे फूल खिले रहते हैं. पहाड़ी इलाके में इन दिनों एक ऐसा भी फूल खिलता है] जो अपनी खूबसूरती और औषधीय गुणों के लिए जाना जाता है. वो हैं बुरांश का फूल. मार्च और अप्रैल के महीने में पहाड़ इस फूलों के रंग में डूबा रहता है. अब तक आपने लाल रंग के बुरांश के फूल देखा होगा. लेकिन इस फूल के कई और रंग भी हैं. आइये जानते हैं बुरांश फूल के अलग-अलग रगों के बारे में: 

कई रंगों का होता है बुरांश का फूल

बसंत के मौसम में यह फूल लोगों का मन मोहने के लिए तैयार रहता है. इसकी उपज पहाड़ी इलाकों में सबसे अधिक है. इसलिए बुरांश उत्तराखंड का राजकीय वृक्ष भी है. वहीं हिमाचल और नागालैंड का राजकीय पुष्प है बुरांश. इसका चटकीला रंग और औषधीय गुण इसको सबसे खास बनाता है. बुरांश एक सदाबहार पेड़ है, जो समुद्र तल से 1500-3600 मीटर की ऊंचाई पर बढ़ता है, 20 मीटर तक लंबा, खुरदरी और गुलाबी-भूरी छाल वाला होता है. अब तक आपने लाल रंग के बुरांश का फूल देखा होगा. लेकिन, आपको बता दें यह ना सिर्फ लाल पीला और सफ़ेद रंग का भी होता है और हरेक रंग के फूल हैं. जिसके अपने अपने फायदे हैं.

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बुरांश के फूल की खासियत

उत्तराखंड में परंपरागत रूप से बुरांश के फूल की पंखुड़ियों का इस्तेमाल किया जाता है. कई लोग इसकी पंखुड़ियों को खाते भी है. स्वाद की बात करें तो इसका स्वाद खट्टा-मीठा होता है. बुरांश के फूल का इस्तेमाल औषधि बनाने में भी किया जाता है. हेमवती नंदन बहुगुणा व‍िश्वव‍िद्यालय के इकोलॉजी प्रोफेसर, डॉ प्रमोद उन‍ियाल ने इस फूल की खासियत बताते हुए कहा कि बुरांश के फूल के इस्तेमाल से नाक से खून निकलने कि समस्या को रोका जा सकता है. वहीं हड्डी को मजबूत करता है और द‍िल के ल‍िए टॉन‍िक का काम करता है बुरांश का फूल. सामान्य जानकारी के मुताबिक बुरांश के फूलों से बना शरबत दिल के मरीजों के लिए बेहद फायदेमंद माना जाता है.

इसकी पंखुड़ियों का उपयोग सर्दी के मौसम में सबसे अधिक होता है. मांसपेशियों में दर्द से लेकर सिरदर्द और बुखार से राहत दिलाने के लिए किया जाता है. स्थानीय लोग इसका इस्तेमाल खाद्य पदार्थ बनाने जैसे जैम आदि के लिए करते हैं. ग्रामीण इलाके में आज भी इसकी चटनी को काफी पसंद किया जाता है.

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