पंजाब के मुख्यमंत्री भगवंत मान ने बाढ़ प्रभावित किसानों को तुरंत मुआवजा देकर एक नई मिसाल कायम की है. 13 अक्टूबर 2025 को चंडीगढ़ में आयोजित एक कार्यक्रम के दौरान उन्होंने किसानों को प्रति एकड़ 20,000 रुपये की दर से चेक बांटे. यह वादा महज एक महीने के अंदर पूरा किया गया. यह किसी भी भारतीय राज्य में अब तक का सबसे तेज और सबसे ज्यादा मुआवजा दर वाला कदम है. मान सरकार ने न सिर्फ आर्थिक मदद की है बल्कि दिवाली से पहले किसानों को एक बड़ा तोहफा भी दिया है.
जुलाई-अगस्त 2025 में आई भीषण बाढ़ ने पूरे पंजाब में भारी तबाही मचाई थी. इस आपदा से राज्य के 20 जिले प्रभावित हुए और 10 लाख एकड़ से ज्यादा फसलें बर्बाद हो गईं. सरसों, धान, सब्जियों और फलों की फसलें पूरी तरह पानी में डूब गईं, जिससे करीब 1,500 करोड़ रुपये का अनुमानित नुकसान हुआ. इस बाढ़ में 50 से अधिक लोगों की जान चली गई और हजारों परिवार बेघर हो गए. मंडी, कपूरथला, जालंधर और तरन तारन उन इलाकों में शामिल थे जो सबसे ज्यादा प्रभावित हुए.
मुआवजे के बारे में पंंजाब आप यूनिट की तरफ से जानकारी दी गई. एक्स पर एक पोस्ट में लिखा था, 'पंजाब के किसानों को मिला सबसे कम समय में सबसे अधिक मुआवजा. आज मुख्यमंत्री ने बाढ़ पीड़ित किसानों को एक महीने के अंदर ही ₹20,000/Acre के हिसाब से मुआवजा राशि के चेक सौंपें.' इस पोस्ट के अनुसार मुख्यमंत्री ने किसानों से जो वादा किया था, उसे निभाया है.
ਅੱਜ ਅਜਨਾਲਾ ਇਲਾਕੇ ਦੇ 52 ਪਿੰਡਾਂ ਲਈ ਨੁਕਸਾਨੇ ਹੋਏ ਘਰਾਂ, ਫ਼ਸਲਾਂ ਅਤੇ ਪਸ਼ੂਆਂ ਲਈ 5 ਕਰੋੜ ਰੁਪਏ ਤੋਂ ਵੱਧ ਰਾਸ਼ੀ ਦਾ ਮੁਆਵਜ਼ਾ ਵੰਡਣ ਦੀ ਸ਼ੁਰੂਆਤ ਕੀਤੀ। ਅਸੀਂ ਫਿਰ ਤੋਂ ਗਰਾਊਂਡ ਲੈਵਲ 'ਤੇ ਗਿਰਦਾਵਰੀ ਕਰਵਾ ਕੇ ਹਰ ਇੱਕ ਪੀੜਤ ਤੱਕ ਮੁਆਵਜ਼ਾ ਪਹੁੰਚਾਵਾਂਗੇ। ਹੜ੍ਹ ਪ੍ਰਭਾਵਿਤ ਇਲਾਕਿਆਂ ਨੂੰ ਮੁੜ ਲੀਹ 'ਤੇ ਲੈ ਕੇ ਆਉਣਾ ਸਾਡਾ ਮੁੱਢਲਾ ਫ਼ਰਜ਼… pic.twitter.com/iRtIMR2qSi
— Bhagwant Mann (@BhagwantMann) October 13, 2025
पिछले दिनों बाढ़ के बाद पंजाब सरकार ने पीड़ितों की मदद करने के लिए जमीनी स्तर पर कई तरह का काम शुरू किया. मुख्यमंत्री भगवंत मान ने गिरदावरी शुरू करवाई और पीड़ित अवाम को मुआवजा मुहैया करवाया. 11 सितंबर को विशेष गिरदावरी की घोषणा हुई और 45 दिनों में पूरा करने का लक्ष्य तय किया गया. पंजाब में 2,508 गांवों में फसल का नुकसान हुआ, करीब 3.5 लाख एकड़ खेती योग्य जमीन बर्बाद हुई. पंजाब सरकार के अनुसार केंद्र सरकार से मदद की अपील के बावजूद कोई जवाब नहीं मिलने पर भी पंजाब सरकार ने किसानों के लिए 13,200 अतिरिक्त मुआवजा दिया. मुआवजे की राशि सीधे किसानों के बैंक खातों में पहुंचाई जा रही है, जिससे बिचौलियों और देरी की कोई गुंजाइश नहीं रही.
सरकार ने बताया है कि बाढ़ वाले इलाकों में हुए घरों के नुकसान का भी तेजी से सर्वे हुआ. 30,806 घरों का सर्वे पूरा कर लिया गया और आंशिक तौर पर क्षतिग्रस्त घरों का मुआवजा 6,500 रुपये से बढ़ाकर 40,000 रुपये कर दिया गया. जिन परिवारों ने अपने प्रियजनों को बाढ़ में खोया, उन्हें 4 लाख रुपये की मदद दी गई. मवेशियों और पोल्ट्री के नुकसान का मुआवजा भी तय कर दिया गया, जिससे कोई भी परिवार संकट में अकेला न रहे.
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