Paddy farming: भारत में धान की खेती मुख्य रूप से की जाती है. धान की खपत को देखते हुए धान की खेती का रकबा भी लगातार बढ़ता आ रहा है. इतना ही नहीं धान खाद्य सुरक्षा के नजरिए से भी काफी महत्वपूर्ण है. इसी कड़ी में भारत की प्रमुख फसल सुरक्षा कंपनी इंसेक्टिसाइड्स (इंडिया) लिमिटेड (IIL) ने जापान की निसान केमिकल कॉर्पोरेशन के साथ मिलकर एक नई प्री-इमर्जेंट खरपतवार नाशक दवा ‘अलटेयर’ लॉन्च की है. यह खासतौर पर धान की फसल के लिए तैयार की गई है और यह दवा घासों को अंकुरित होने से पहले ही खत्म कर देती है, जिससे किसान की मेहनत और लागत दोनों में कमी आती है.
अलटेयर एक पेटेंटेड जापानी तकनीक से तैयार किया गया खरपतवार नाशक है, जिसे 8 साल की रिसर्च और परीक्षणों के बाद विकसित किया गया है. यह दवा मिट्टी में एक सुरक्षा परत बना देती है जो बीजों से घास को अंकुरित होने से रोकती है. इसे धान की रोपाई के 0 से 3 दिन के अंदर डालना चाहिए, जिससे 40 से 50 दिनों तक घास नहीं उगती और फसल को एक बेहतरीन शुरुआत मिलती है.
ये भी पढ़ें: Jaggery Making: 12 सौ रुपये का मीटर बताता है कि किस गन्ने का रस गुड़ बनाने लायक है
IIL के अनुसार, भारत के धान किसान अक्सर कई तरह की कठिनाइयों का सामना करते हैं:
अलटेयर इन सभी समस्याओं के लिए एक समाधान के रूप में सामने आया है.
ये भी पढ़ें: महाराष्ट्र में मॉनसून के पहले ही हजारों हेक्टेयर में खड़ी फसल चौपट, किसानों को बुवाई न करने की सलाह
IIL के मैनेजिंग डायरेक्टर राजेश कुमार अग्रवाल ने बताया, “हमें गर्व है कि हम जापान की उन्नत तकनीक को भारत के किसानों तक ला रहे हैं. ‘अलटेयर’ धान की खेती में क्रांति लाएगा और किसानों की असली जरूरतों को पूरा करेगा.” वहीं, कंपनी के CMO दुष्यंत सूद ने बताया, “पिछले एक साल में इस दवा को 500 से ज्यादा खेतों में टेस्ट किया गया, जहां 10,000 से ज्यादा किसानों ने इसे इस्तेमाल किया और इसके असर को सराहा.” IIL के वाइस प्रेसिडेंट एम. के. सिंघल के अनुसार, “अलटेयर छत्तीसगढ़ जैसे राज्यों के लिए बेहद फायदेमंद रहेगा, जहां धान की खेती बड़े पैमाने पर होती है. हमारे पास इस खरीफ सीजन में इसे किसानों तक पहुंचाने की पूरी योजना है.”
IIL के राइस क्रॉप मैनेजर मनोज सिंह भंडारी ने बताया कि अलटेयर का इस्तेमाल आसान, सुरक्षित और लंबे समय तक असरदार है. कंपनी इसे अपने विस्तृत वितरण नेटवर्क के ज़रिए देशभर के धान किसानों तक पहुंचाएगी, ताकि सभी को इसका लाभ मिल सके.
Copyright©2025 Living Media India Limited. For reprint rights: Syndications Today