Makhana Cultivation: बिहार की तर्ज पर अब यूपी में भी होगी मखाना की खेती, अयोध्‍या से हुई शुरुआत 

Makhana Cultivation: बिहार की तर्ज पर अब यूपी में भी होगी मखाना की खेती, अयोध्‍या से हुई शुरुआत 

Makhana CUltivation: बिहार और मणिपुर के बाद अब उत्तर प्रदेश भी मखाने की खेती के नक्शे पर आ गया है.  अयोध्या से शुरू हुई यह पहल प्रदेश के किसानों की तरक्की का मार्ग प्रशस्त करेगी और आने वाले समय में इसे एक ‘हरित क्रांति 2.0’ की तरह देखा जा सकता है. उत्तर प्रदेश के कृषि मंत्री सूर्य प्रताप शाही ने बताया कि बिहार में मखाना खेती का जो मॉडल है वही अयोध्या और उत्तर प्रदेश के बाकी जिलों में लागू किया जा रहा है.

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Makhana Cultivation: बिहार की तर्ज पर अब यूपी में भी होगी मखाना की खेती, अयोध्‍या से हुई शुरुआत Makhana farming: बिहार के बाद अब यूपी में भी मखाना की खेती

भारत में मखाने की खेती अब सिर्फ बिहार और मणिपुर तक ही सीमित नहीं रहेगी. भगवान श्रीराम की नगरी अयोध्या में इसकी ऐतिहासिक शुरुआत हो चुकी है। यह पहल न सिर्फ़ किसानों की ज़िंदगी बदलने जा रही है, बल्कि उत्तर प्रदेश को देश की मखाना उत्पादन सूची में खास पहचान दिलाने की तैयारी भी है. नरेंद्र देव कृषि विश्वविद्यालय, अयोध्या में पहली बार मखाने की खेती की आधिकारिक शुरुआत हो गई है.  माना जा रहा है कि यह कदम प्रदेश की कृषि क्रांति में एक नया अध्याय जोड़ने वाला साबित होगा. 

कृषि मंत्री सूर्य प्रताप शाही का बयान

बिहार और मणिपुर के बाद अब उत्तर प्रदेश भी मखाने की खेती के नक्शे पर आ गया है.  अयोध्या से शुरू हुई यह पहल प्रदेश के किसानों की तरक्की का मार्ग प्रशस्त करेगी और आने वाले समय में इसे एक ‘हरित क्रांति 2.0’ की तरह देखा जा सकता है. उत्तर प्रदेश के कृषि मंत्री सूर्य प्रताप शाही ने बताया कि बिहार और मणिपुर जैसे राज्यों में मखाने की खेती ने किसानों की आय दोगुनी करने में बड़ी भूमिका निभाई है. अब वही मॉडल अयोध्या और उत्तर प्रदेश के बाकी जिलों में लागू किया जा रहा है. उन्होंने कहा यह शुरुआत इतिहास रचने जैसी है, क्योंकि मखाने की खेती से किसानों को नई आर्थिक ताकत मिलेगी. 

मखाना सुपरफूड की खेती

मखाना न सिर्फ धार्मिक और सांस्कृतिक महत्व रखता है बल्कि इसे सुपरफूड भी कहा जाता है. इसमें प्रोटीन, कैल्शियम और मिनरल्स की भरपूर मात्रा पाई जाती है. बिहार और मणिपुर की तरह अब उत्तर प्रदेश में भी इसकी मांग को देखते हुए बड़े स्तर पर खेती को प्रोत्साहित किया जाएगा. नरेंद्र देव कृषि विश्वविद्यालय ने इस परियोजना को वैज्ञानिक तरीके से आगे बढ़ाने की योजना बनाई है. खेती के लिए विशेष तालाब और वैज्ञानिक तकनीक अपनाई जाएगी, जिससे उत्पादन अधिक और लागत कम हो सके. 

किसानों के लिए नया अवसर

अयोध्या और आसपास के ज़िलों के किसानों को विश्वविद्यालय की ट्रेनिंग और तकनीकी मार्गदर्शन दिया जाएगा. कृषि वैज्ञानिकों का मानना है कि आने वाले समय में यह इलाका मखाना उत्पादन का हब बन सकता है. रामनगरी अयोध्या में यह खेती सिर्फ आर्थिक बदलाव ही नहीं, बल्कि धार्मिक महत्व भी रखती है. रामलला की नगरी से सुपरफूड मखाने की खेती की शुरुआत एक तरह से परंपरा और आधुनिकता का संगम मानी जा रही है.

(मयंक शुक्‍ला की रिपोर्ट) 

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