Farmers Protest: रेल रोको आंदोलन से 4 घंटे ट्रेनों के पहिये जाम रहेंगे, किसान नेताओं ने यात्रा से बचने की अपील की

Farmers Protest: रेल रोको आंदोलन से 4 घंटे ट्रेनों के पहिये जाम रहेंगे, किसान नेताओं ने यात्रा से बचने की अपील की

फसलों पर एमएसपी गारंटी कानून समेत कई मांगों को लेकर आंदोलित किसान संगठनों ने पंजाब, हरियाणा समेत देश के अन्य हिस्सों में रेल रोको आंदोलन का आह्वान किया है. ट्रेनों का चक्का जाम दोपहर 12 बजे से 4 बजे तक करने की घोषणा की गई है.

किसानों का रेल रोको प्रदर्शन. (File Photo)किसानों का रेल रोको प्रदर्शन. (File Photo)
क‍िसान तक
  • Noida,
  • Mar 10, 2024,
  • Updated Mar 10, 2024, 12:32 PM IST

फसलों पर एमएसपी गारंटी कानून समेत कई मांगों को लेकर करीब 27 दिन से आंदोलन कर रहे किसानों ने आज 10 मार्च को ट्रेनों के चक्का जाम की घोषणा की है. किसान नेता सरवन सिंह पंढेर ने किसानों से कहा कि बढ़-चढ़ कर इस रेल रोको आंदोलन में हिस्सा लें. किसान संगठन पंजाब समेत कुछ अन्य इलाकों में दोपहर 12 बजे से 4 बजे तक ट्रेनों का चक्का जाम करेंगे. पंजाब के देवीदासपुरा में महिला किसान भी पहुंच रही हैं. वहीं, अमृतसर, गुरदासपुर समेत कई जिलों में रेल पटरियों पर किसान बैठेंगे. आंदोलन को देखते हुए सुरक्षा व्यवस्था कड़ी कर दी गई है.  

4 घंटे तक ट्रेनों के पहिये जाम रहेंगे, यात्रा से बचने की अपील   

पंजाब मजदूर संघर्ष समिति के महासचिव किसान नेता सरवन सिंह पंढेर ने 10 मार्च को कहा कि 13 फरवरी को पंजाब-हरियाणा सीमा पर शुरू हुए आंदोलन के तहत हमने आज देशभर में 'रेल रोको' का आह्वान किया है. हम देश के सभी किसानों, मजदूरों और आम लोगों से आग्रह करते हैं कि वे बड़ी संख्या में आज 'रेल रोको' में हमारा समर्थन करें. हम उन लोगों से भी आग्रह करते हैं, जो आज दोपहर 12 बजे से शाम 4 बजे के बीच ट्रेन यात्रा करना चाहते हैं, वे आज 4 घंटे तक ऐसा न करें. आज लोगों को थोड़ी असुविधा का सामना करना पड़ सकता है. यह आंशिक 'रेल रोको' है.

किसान संगठनों ने संभाली रेल रोको आंदोलन की कमान 

किसान नेता सरवन सिंह पंढेर ने कहा कि प्रदर्शनकारी किसान फिरोजपुर, अमृतसर, रूपनगर और गुरदासपुर जिलों सहित पंजाब में कई स्थानों पर रेलवे पटरियों पर बैठेंगे. भारतीय किसान यूनियन (एकता उग्रहां), भारती किसान यूनियन (दकौंदा-धनेर) और क्रांतिकारी किसान यूनियन भी 'रेल रोको' आंदोलन में हिस्सा लेंगे. 

सरकार की नींद खोलने के लिए ट्रेन रोको आंदोलन

किसान और खेत मजदूर की आबादी देश में 80 फीसदी है. अगर खेती सेक्टर कॉरपोरेट घराने ले गए तो इसका नुकसान बहुत ज्यादा होगा. किसान नेता सरवन सिंह पंढेर ने कहा कि यह ट्रेन रोको आंदोलन सरकार की नींद खोलने के लिए है. उन्होंने कहा कि सरकार कहती है कि आंदोलन खत्म कर दो पर जब तक हमारी मांगें पर समाधान नहीं होगा, आंदोलन जारी रहेगा. 

सरकार अपनी जिम्मेदारी से भाग रही

संयुक्त किसान मोर्चा (गैर-राजनीतिक) और किसान मजदूर मोर्चा ने 9 मार्च की शाम को प्रेस कॉन्फ्रेंस कर कहा कि सरकार को अपनी ज़िम्मेदारी से भागना नहीं चाहिए और किसानों और देश को बचाने के लिए एमएसपी की गारंटी के लिए एक कानून लाना चाहिए. किसान नेता जगजीत सिंह दल्लेवाल ने चंडीगढ़ में कहा कि किसानों और देश को बचाने के लिए एमएसपी की गारंटी के लिए एक कानून लाना चाहिए. किसान नेताओं ने कहा कि एक तरफ केंद्र सरकार आत्मनिर्भर भारत व स्वदेशी का नारा देती है, लेकिन दूसरी तरफ 1 लाख 41 हजार करोड़ के खाद्यान तेल और 29 लाख टन दालें बाहर से आयात करती है. किसान नेताओं ने कहा कि MSP गारंटी कानून बनने के बाद देश की अर्थव्यवस्था का पहिया भी तेजी से दौड़ेगा.

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