Coconut Farmers: सरकार नारियल के बागों के लिए क्‍लीन प्‍लांट प्रोग्राम पर कर रही काम-शिवराज सिंह  

Coconut Farmers: सरकार नारियल के बागों के लिए क्‍लीन प्‍लांट प्रोग्राम पर कर रही काम-शिवराज सिंह  

शिवराज सिंह ने लोकसभा में कहा कि दुनिया भर में नारियल उत्पादन में भारत पहले स्थान पर है और कोयंबटूर का पोलाची एक प्रमुख उत्पादक है, जहां 1.2 लाख हेक्टेयर में नारियल के बागान फैले हुए हैं. कृषि मंत्री के शब्‍दों में, 'हमने पोलाची में एक नारियल क्लस्टर स्थापित करने का प्रस्ताव दिया है  इस पर काम चल रहा है.'

Shivraj Singh Chouhan Shivraj Singh Chouhan
क‍िसान तक
  • New Delhi ,
  • Dec 09, 2025,
  • Updated Dec 09, 2025, 3:38 PM IST

केंद्रीय कृषि मंत्री शिवराज सिंह चौहान ने मंगलवार को सदन में कहा कि सरकार दक्षिण भारत में नारियल के बागानों को प्रभावित करने वाले कीटों और बीमारियों को कंट्रोल करने के लिए युद्ध स्तर पर काम कर रही है और क्लीन प्लांट प्रोग्राम का विस्तार करने के लिए कदम उठा रही है. कृषि मंत्री ने ये बातें तब कहीं जब वह लोकसभा में प्रश्‍नकाल के दौरान सदन में जवाब दे रहे थे. उन्‍होंने  कहा कि दुनिया भर में नारियल उत्पादन में भारत पहले स्थान पर है और कोयंबटूर का पोलाची एक प्रमुख उत्पादक है, जहां 1.2 लाख हेक्टेयर में नारियल के बागान फैले हुए हैं. 

भारत पहले नंबर पर 

शिवराज सिंह ने लोकसभा में कहा कि दुनिया भर में नारियल उत्पादन में भारत पहले स्थान पर है और कोयंबटूर का पोलाची एक प्रमुख उत्पादक है, जहां 1.2 लाख हेक्टेयर में नारियल के बागान फैले हुए हैं. कृषि मंत्री के शब्‍दों में, 'हमने पोलाची में एक नारियल क्लस्टर स्थापित करने का प्रस्ताव दिया है  इस पर काम चल रहा है.' हाल के दिनों में, राइनोसेरोस बीटल, रेड पाम वीविल, रूट विल्ट और गैनोडर्मा जैसे कीट और बीमारियां नारियल की फसलों को प्रभावित कर रही हैं और एक चुनौती बन गई हैं. 

बीमारियों को कंट्रोल करने का काम जारी 

कृषि मंत्री ने कहा, 'सरकार नारियल की खेती को प्रभावित करने वाली बीमारियों को कंट्रोल करने के लिए युद्ध स्तर पर काम कर रही है.' उन्होंने कहा कि नारियल विकास बोर्ड अपनी नर्सरी में अच्छे, साफ-सुथरे नारियल के पौधे उगाने का काम कर रहा है लेकिन उनकी संख्या काफी नहीं है. उन्होंने कहा, 'हम नारियल के लिए इस साफ़-सुथरे नारियल के पौधे के कार्यक्रम को बड़े पैमाने पर करने की कोशिश कर रहे हैं.' उनका कहना था कि बढ़ते तापमान और ज्‍यादा बारिश के साथ जलवायु परिवर्तन खेती सेक्टर के लिए एक बड़ा संकट बनकर उभरा है. 

नारियल किसानों के लिए खराब समय 

इस बार नारियल के किसानों को काफी मुश्किलों का सामना करना पड़ा है. व्‍हाईट फ्लाइज और दूसरी समस्‍याओं की वजह से उन्‍हें खासा नुकसान झेलना पड़ा है. आंध्र प्रदेश के पेडावेगी मंडल के विजयराय में तो नारियल किसानों ने सही कीमत की मांग को लेकर पिछले दिनों विरोध प्रदर्शन भी किया है. उनका कहना था कि 1,000 नारियल की कीमत 26,000 रुपये से घटकर 14,000 से 15,000 रुपये पर आ गई है. आंध्र प्रदेश नारियल किसान संघ के राज्य संयोजक के. श्रीनिवास ने कहा कि व्यापारी कर्नाटक और केरल से आने वाले नारियल का हवाला देकर कीमतें कम कर रहे हैं और इस ट्रेंड को मार्केट में हेरफेर बताया. किसान सरकार से 1,000 नारियल की कीमत 20,000 रुपये तय करने की अपील कर रहे हैं. 

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