देश में तेजी से बढ़ रही जैविक खेती, 3 साल में ऑर्गेनिक खाद के उत्पादन में जबरदस्त बढ़ोतरी, देखें आंकड़े

देश में तेजी से बढ़ रही जैविक खेती, 3 साल में ऑर्गेनिक खाद के उत्पादन में जबरदस्त बढ़ोतरी, देखें आंकड़े

भारत में जैविक खेती तेजी से बढ़ रही है. सरकार की ओर से संसद में दी गई जानकारी के अनुसार, PKVY और MOVCDNER योजनाओं से अब तक 19 लाख हेक्टेयर से ज्यादा क्षेत्र कवर किया जा चुका है. वहीं, कई राज्यों में ऑर्गेनिक खाद का उत्पादन लाखों टन तक पहुंच गया है. पढ़ें सरकारी डेटा क्‍या कहता है...

organic farming and Fertilizer Prodcutionorganic farming and Fertilizer Prodcution
क‍िसान तक
  • Noida,
  • Dec 13, 2025,
  • Updated Dec 13, 2025, 8:11 PM IST

भारत सरकार लगातार जैविक खेती को बढ़ावा देने के लिए कई योजनाओं पर काम कर रही है. परंपरागत कृषि विकास योजना (PKVY) और पूर्वोत्तर राज्यों के लिए मिशन ऑर्गेनिक वैल्यू चेन डेवलपमेंट (MOVCDNER) इस दिशा में सबसे अहम कार्यक्रम हैं. इन दोनों योजनाओं के जरिए किसानों को जैविक खेती के हर चरण में सहायता दी जाती है, जिसमें उत्पादन, प्रोसेसिंग, प्रमाणन और बाजार तक पहुंच शामिल है. सरकार का लक्ष्य है कि छोटे और सीमांत किसानों को संगठित कर उन्हें क्लस्टर के रूप में तैयार किया जाए, ताकि वे मिलकर सुरक्षित और रसायन-मुक्त खेती कर सकें.

इन योजनाओं की वजह से देश में जैविक खेती का दायरा लगातार बढ़ रहा है. अब तक PKVY के तहत 16.90 लाख हेक्टेयर और MOVCDNER के तहत 2.36 लाख हेक्टेयर क्षेत्र को जैविक खेती के रूप में विकसित किया जा चुका है. पूर्वोत्तर राज्यों में 479 किसान उत्पादक संगठन (FPO) बनाए गए हैं, जिनसे लगभग ढाई लाख किसान जुड़े हुए हैं. इन राज्यों में सामूहिक खेती और जैविक उत्पादन एक तरह का आंदोलन बन चुका है.

किसानों को मिल रही इतनी मदद

सरकार किसानों को आर्थिक रूप से भी मजबूत समर्थन दे रही है. PKVY में तीन साल के लिए प्रति हेक्टेयर 31,500 रुपये की सहायता दी जाती है, जिसमें 15,000 रुपये सीधे किसानों के खाते में DBT के रूप में भेजे जाते हैं, ताकि वे जैविक खाद, जैविक तरल और अन्य इनपुट खरीद सकें.

इसी तरह MOVCDNER योजना के तहत तीन साल में 46,500 रुपये की सहायता मिलती है. इसमें भी किसानों को 32,500 रुपये जैविक इनपुट के लिए और 15,000 रुपये DBT से प्रदान किए जाते हैं. इस आर्थिक मदद का बड़ा असर किसानों की उत्पादन लागत पर पड़ रहा है, क्योंकि रासायनिक खादों की जगह जैविक विकल्प अपनाने से उनकी निर्भरता बाजार पर कम होती है.

PM-PRANAM से सुधर रही मिट्टी की सेहत

जैविक खेती को गति देने के लिए सरकार PM-PRANAM योजना भी चला रही है. इस योजना का उद्देश्य रासायनिक खादों के अत्यधिक इस्‍तेमाल को कम करना और मिट्टी की सेहत में सुधार लाना है. इसके तहत राज्यों को सलाह दी गई है कि वे प्राकृतिक खेती और मिश्रित पोषण प्रबंधन (INM) अपनाएं, ताकि मिट्टी में पोषक तत्वों का संतुलन बना रहे और फसलों की उत्पादकता पर कोई नकारात्मक प्रभाव न पड़े. इन प्रयासों के साथ ही जैविक खाद और बायो-इनपुट को बढ़ावा देने के लिए कई राज्यों में जागरूकता कार्यक्रम भी चलाए जा रहे हैं.

यूपी में जैव‍िक खेती के क्‍लस्‍टर बनाए गए

उत्तर प्रदेश में जैविक खेती को लेकर दिलचस्प प्रगति देखने को मिली है. इटावा और फतेहपुर जिलों में 20-20 क्लस्टर बनाए गए हैं, जहां किसानों को प्रशिक्षण, डेमो प्लॉट और इनपुट सहायता दी जा रही है. केवल इन दो जिलों में ही कुल 1,562 किसानों को इसका सीधा फायदा मिल चुका है. इससे प्रदेश में जैविक खेती के लिए एक मजबूत आधार तैयार हो रहा है.

इसके साथ ही देश में ऑर्गेनिक खाद का उत्पादन भी लगातार बढ़ रहा है. सरकार की ओर से जारी डेटा के मुताबिक, कई राज्यों ने पिछले तीन वर्षों में उल्लेखनीय वृद्धि दिखाई दी है. कर्नाटक, मध्य प्रदेश, महाराष्ट्र, गुजरात, तमिलनाडु और पंजाब जैसे राज्यों में उत्पादन लाखों टन तक पहुंच गया है. वहीं, कुछ छोटे राज्य भी अपने स्तर पर स्थिर उत्पादन कर रहे हैं. देख‍िए राज्‍यवार कहां कितना जैव‍िक खाद का उत्‍पादन हुआ… 

ऑर्गेनिक फर्टिलाइजर का प्रोडक्शन डेटा (आकंडे- मीट्रिक टन में)

राज्य2022-232023-242024-25
आंध्र प्रदेश272572.1318586521874125
असम43773.2125812122001
बिहार53256.382250016526
छत्तीसगढ़-78402681697
गोवा11221.37-8959
गुजरात278036.86257822253473
हरियाणा71179.41274223438689
हिमाचल प्रदेश32.79654520564729
जम्मू और कश्मीर3250.48852409166
झारखंड-32831-
कर्नाटक227824122866491844895
केरल13560.18902738
मध्य प्रदेश84598.0513882051472273
महाराष्ट्र237843.28343171216230
मणिपुर-150150
ओडिशा14763.9--
पंजाब7407.063088335938
राजस्थान5047752220192909
तमिलनाडु231522213445397301
तेलंगाना28788.03039996
त्रिपुरा946.8110221050
उत्तर प्रदेश74799.2380226280456
उत्तराखंड7440.4511075021171
पश्चिम बंगाल6704.806065451
पुडुचेरी2470-1025
लद्दाख-13681-
कुल योग37,72,884.441,26,60,90080,04,921

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