अच्छी बारिश से बढ़ी मांग, भारत का फर्टिलाइजर इंपोर्ट 41% बढ़कर 223 लाख टन पहुंचने का अनुमान

अच्छी बारिश से बढ़ी मांग, भारत का फर्टिलाइजर इंपोर्ट 41% बढ़कर 223 लाख टन पहुंचने का अनुमान

फर्टिलाइजर एसोसिएशन ऑफ इंडिया (FAI) के अनुसार अच्छी मॉनसून बारिश के चलते घरेलू मांग में तेज वृद्धि हुई है, जिससे 2025-26 वित्त वर्ष में भारत का कुल फर्टिलाइज़र इंपोर्ट 41% बढ़कर 223 लाख टन तक पहुंच सकता है. यूरिया, DAP और NPK के इंपोर्ट में भी बड़ी बढ़ोतरी का अनुमान है, जबकि देश अगले 2-3 वर्षों में यूरिया उत्पादन में आत्मनिर्भर बनने की दिशा में बढ़ रहा है.

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क‍िसान तक
  • New Delhi ,
  • Dec 10, 2025,
  • Updated Dec 10, 2025, 12:38 PM IST

फर्टिलाइजर एसोसिएशन ऑफ इंडिया (FAI) ने मंगलवार को कहा कि अच्छी मॉनसून बारिश के बाद घरेलू मांग में बढ़ोतरी की वजह से 2025-26 फाइनेंशियल ईयर में भारत का फर्टिलाइजर इंपोर्ट 41 परसेंट बढ़कर 223 लाख टन होने का अनुमान है.

इंडस्ट्री बॉडी एफएआई ने कहा कि दुनिया के दूसरे सबसे बड़े फर्टिलाइजर कंज्यूमर भारत ने अप्रैल-अक्टूबर के दौरान 144 लाख टन इंपोर्ट किया, जो एक साल पहले के 85 लाख टन से लगभग 69 परसेंट ज्यादा है.

80-90 लाख टन यूरिया इंपोर्ट

FY26 में कुल इंपोर्ट में से, इस फाइनेंशियल ईयर में यूरिया इंपोर्ट लगभग 80-90 लाख टन रहने का अनुमान है, जबकि पिछले साल यह 56 लाख टन था, डाइ-अमोनियम फॉस्फेट (DAP) इंपोर्ट 70 लाख टन रहने का अनुमान है, जबकि पिछले साल यह 45 लाख टन था और NP/NPKS इंपोर्ट 33 लाख टन रहने का अनुमान है, जबकि पिछले साल यह 22 लाख टन था.

FAI के चेयरमैन एस शंकरसुब्रमण्यम ने एसोसिएशन के तीन दिन के सालाना सेमिनार से पहले रिपोर्टर्स को बताया, "अच्छी बारिश की वजह से घरेलू डिमांड में अचानक बढ़ोतरी की वजह से फर्टिलाइजर के इंपोर्ट में बढ़ोतरी हुई है."

उन्होंने कहा कि नवंबर के आखिर तक फर्टिलाइजर का स्टॉक 102 लाख टन था, जबकि एक साल पहले यह 99 लाख टन था, जिसमें 50 लाख टन यूरिया, 17 लाख टन DAP और 35 लाख टन NPK फर्टिलाइजर शामिल हैं.

यूरिया में आत्मनिर्भर होगा भारत

FAI अधिकारियों को यह भी उम्मीद है कि भारत अगले 2-3 सालों में यूरिया के मामले में आत्मनिर्भर हो सकता है क्योंकि बड़ी घरेलू कैपेसिटी आ रही है. उन्होंने यह भी कहा कि लंबे समय के कॉन्ट्रैक्ट और दूसरी डील्स की वजह से अभी देश में कहीं भी फर्टिलाइजर की कमी नहीं है.

इस बीच, शंकरसुब्रमण्यम, जो कोरोमंडल इंटरनेशनल के मैनेजिंग डायरेक्टर भी हैं, ने 'बिजनेस स्टैंडर्ड' से कहा कि भारत ने पिछले दो महीनों में बड़ी मात्रा में कॉन्ट्रैक्ट किए हैं और सप्लाई में कोई दिक्कत नहीं है. उन्होंने कहा कि खरीफ सीजन के दौरान कुछ जगहों पर कमी थी, लेकिन कुल सप्लाई काफी रही.

घरेलू खाद उत्पादन में वृद्धि

FAI के डेटा से पता चला है कि अप्रैल-अक्टूबर में घरेलू फर्टिलाइजर का प्रोडक्शन थोड़ा बढ़कर 299 लाख टन हो गया, जो एक साल पहले 297 लाख टन था. प्रोडक्शन में 171 लाख टन यूरिया, 23 लाख टन DAP, 70 लाख टन NPK फर्टिलाइजर और 34 लाख टन SSP शामिल थे. एसोसिएशन ने कहा कि 150 से ज्यादा कंपनियां भारत की लगभग तीन-चौथाई पोषक तत्वों की जरूरतें पूरी करती हैं, बाकी इंपोर्ट से पूरी होती हैं.

भारत, जहां 14 करोड़ से ज्यादा किसान परिवार रहते हैं, हर साल लगभग 700 लाख टन फर्टिलाइजर इस्तेमाल करता है, जो चीन के बाद दूसरे नंबर पर है.

सरकार ने 2024-25 में यूरिया और न्यूट्रिएंट-बेस्ड फ्रेमवर्क के जरिए 1.9 लाख करोड़ रुपये से ज्यादा की सब्सिडी दी. FAI ने कहा कि भारत ने सप्लाई सिक्योरिटी को मजबूत करने के लिए सऊदी अरब, जॉर्डन, मोरक्को, कतर और रूस जैसे संसाधन संपन्न देशों के साथ साझेदारी की है. 10 दिसंबर से शुरू होने वाले सेमिनार का उद्घाटन फर्टिलाइजर मिनिस्टर जेपी नड्डा करेंगे.

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