Rajasthan Agriculture: राजस्थान सरकार ने जारी किया खरीफ के लिए बुवाई का लक्ष्य, मूंग सबसे आगे

Rajasthan Agriculture: राजस्थान सरकार ने जारी किया खरीफ के लिए बुवाई का लक्ष्य, मूंग सबसे आगे

Rajasthan Agriculture: पिछले साल राज्य में करीब 43 लाख हेक्टेयर में बाजरा बोया गया था. इस साल बुवाई का लक्ष्य पिछले साल जितना ही रखा गया है. मॉनसून के जल्दी आने की वजह से 20 जून तक 246,000 हेक्टेयर क्षेत्र में इसकी बुवाई हो चुकी है. पिछले साल मक्का की खेती 970,000 हेक्टेयर में हुई थी और इस साल लक्ष्य को इतना ही रखा गया है.

Moong and Urad procurement Madhya PradeshMoong and Urad procurement Madhya Pradesh
क‍िसान तक
  • New Delhi,
  • Jun 30, 2025,
  • Updated Jun 30, 2025, 12:10 PM IST

राजस्थान के कृषि विभाग ने 2025 के लिए खरीफ फसलों की बुवाई का लक्ष्य जारी कर दिया है. कृषि विभाग के आंकड़ों के अनुसार ग्वार की बुवाई का लक्ष्य घटा दिया गया है, जबकि दलहनी फसलों का लक्ष्य बढ़ा दिया गया है. केंद्र सरकार की तरफ से मोटे अनाजों को बढ़ावा दिए जाने के कारण बाजरा की बुवाई के लक्ष्य में थोड़ा बदलाव किया गया. वहीं ज्वार की बुवाई का क्षेत्रफल दोगुना कर दिया गया है. कृषि और इससे जुड़े क्षेत्र राज्य की जीडीपी में करीब 27 फीसदी का योगदान करते हैं. 

बाजरा और मक्‍का जस के तस 

अखबार बिजनेस स्‍टैंडर्ड की रिपोर्ट के अनुसार पिछले साल राज्य में करीब 43 लाख हेक्टेयर में बाजरा बोया गया था. इस साल बुवाई का लक्ष्य पिछले साल जितना ही रखा गया है. मॉनसून के जल्दी आने की वजह से 20 जून तक 246,000 हेक्टेयर क्षेत्र में इसकी बुवाई हो चुकी है. पिछले साल मक्का की खेती 970,000 हेक्टेयर में हुई थी और इस साल लक्ष्य को इतना ही रखा गया है. इसी तरह 2024 में ज्वार की बुवाई 341,000 हेक्टेयर में हुई थी जबकि इस साल इसकी बुवाई का लक्ष्य बढ़ाकर 620,000 हेक्टेयर कर दिया गया है. 

मूंग को मिली प्राथमिकता 

प्रमुख दलहनी फसल मूंग की बुवाई पिछले साल 2.36 मिलियन हेक्टेयर में हुई थी. इस साल मूंग की बुवाई का लक्ष्य बढ़ाकर 2.5 मिलियन हेक्टेयर कर दिया गया है. जयपुर के मूंग व्यापारी निर्मल जैन के हवाले से अखबार ने बताया है कि इस साल किसान इस दाल की बुवाई ज्‍यादा कर सकते हैं क्योंकि पिछले साल पूरे साल कीमतें अनुकूल रहीं थी. 

ग्‍वार का लक्ष्‍य हुआ कम 

अगर बात करें तिलहनी फसलों की तो सोयाबीन की बुवाई 2024 में 1.07 मिलियन हेक्टेयर में की गई थी. इस साल इसका लक्ष्य बढ़ाकर 1.1 मिलियन हेक्टेयर कर दिया गया है. पिछले साल मूंगफली की बुवाई 1.04 मिलियन हेक्टेयर में की गई थी. इस साल बुआई का लक्ष्य घटाकर 950,000 हेक्टेयर कर दिया गया है. पिछले साल ग्वार की बुआई करीब 2.9 मिलियन हेक्टेयर में की गई थी. इस साल ग्वार की बुआई का लक्ष्य घटाकर करीब 2.5 मिलियन हेक्टेयर कर दिया गया है. राजस्थान ग्वार का प्रमुख उत्पादक है. राज्‍य देश के कुल उत्पादन में करीब 70 फीसदी का योगदान देता है. 

क्‍यों ग्‍वार में नहीं रुचि 

बाड़मेर के एक ग्वार व्यापारी ने बताया कि 2024-25 में ग्वार के भाव में कोई बढ़ोतरी नहीं हुई है. निर्यात कम होने और स्टॉक अधिक होने के कारण भाव स्थिर रहे. इस कारण किसानों का ग्वार की ओर रुझान कम हो रहा है. इस फसल की जगह किसान बाजरा और मूंग की फसल में रुचि दिखा रहे हैं. पिछले साल बाजरा के भाव मजबूत थे और प्रति बीघा पैदावार संतोषजनक रही थी. बाजरा की कटाई के बाद बची हुई फसल को पशु चारे के लिए अच्छे दामों पर बेचा जा सकता है. 

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