FCI ने ई-नीलामी के जरिए पश्चिम बंगाल में बेचा 4.29 लाख टन गेहूं, 20 दिसंबर को जारी करेगी 9000 टन चावल

FCI ने ई-नीलामी के जरिए पश्चिम बंगाल में बेचा 4.29 लाख टन गेहूं, 20 दिसंबर को जारी करेगी 9000 टन चावल

एफसीआई के उप महाप्रबंधक (पश्चिम बंगाल क्षेत्र) प्रदीप सिंह ने कहा कि गेहूं और चावल की बढ़ती कीमतों को नियंत्रित करने के लिए सरकार 25 ओपन मार्केट में ई-नीलामी के माध्यम से गेहूं और चावल बेच रही है. उनकी माने तो गेहूं और चावल की बिक्री दिसंबर तक जारी रहेगी. 

पश्चिम बंगाल में गेहूं की बिक्री. (सांकेतिक फोटो)पश्चिम बंगाल में गेहूं की बिक्री. (सांकेतिक फोटो)
क‍िसान तक
  • Noida,
  • Dec 17, 2023,
  • Updated Dec 17, 2023, 5:34 PM IST

भारतीय खाद्य निगम (एफसीआई) ने इस साल जून से अभी तक पश्चिम बंगाल में 25 ओपन मार्केट में ई-नीलामी के जरिए 4.29 लाख मीट्रिक टन गेहूं और 14760 मीट्रिक टन गैर-फोर्टिफाइड चावल बेचा है. एफसीआई के उप महाप्रबंधक (पश्चिम बंगाल क्षेत्र) प्रदीप सिंह ने शनिवार को कहा कि अनाजों की बिक्री ओपन मार्केट सेल्स स्कीम (घरेलू) एम-जंक्शन के ई-नीलामी पोर्टल के जरिए किया जाता है. उनकी माने तो एफसीआई के इस कदम से चावल और गेहूं की बढ़ती कीमतों पर ब्रेक लगा है.

प्रदीप सिंह ने कहा कि गेहूं और चावल की बढ़ती कीमतों को नियंत्रित करने के लिए सरकार 25 ओपन मार्केट में ई-नीलामी के माध्यम से गेहूं और चावल बेच रही है. उनकी माने तो गेहूं और चावल की बिक्री दिसंबर तक जारी रहेगी. उन्होंने कहा कि एफसीआई सार्वजनिक वितरण प्रणाली (पीडीएस) के माध्यम से अनाज की मुफ्त आपूर्ति जारी रखेगी. जहां ई-नीलामी बिक्री के लिए गेहूं का आरक्षित मूल्य 2,150 रुपये प्रति क्विंटल है, वहीं गैर-फोर्टिफाइड चावल के लिए यह 2,900 रुपये प्रति क्विंटल है. सिंह ने कहा कि फोर्टिफाइड चावल की आपूर्ति केवल पीडीएस के माध्यम से की जाती है, न कि ई-नीलामी मार्ग के माध्यम से.

खरीफ सीजन के दौरान चावल खरीदा जाता है

उन्होंने कहा कि पश्चिम बंगाल में गेहूं की बहुत कम खेती होती है. लेकिन यह राज्य चावल के उत्पादन के मामले में आत्मनिर्भर है. राज्य में मार्केटिंग सीजन 2024 के लिए हरियाणा, पंजाब और मध्य प्रदेश से 2275 रुपये प्रति क्विंटल के मौजूदा न्यूनतम समर्थन मूल्य (एमएसपी) पर गेहूं की खरीद की जा रही है.  उन्होंने कहा कि जहां रबी सीजन के दौरान किसानों से गेहूं खरीदा जाता है, वहीं खरीफ सीजन के दौरान चावल खरीदा जाता है.

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खुले बाजार में बिक्री के लिए पेश किया जाता है

अधिकारी के मुताबिक, बड़ी और छोटी प्रसंस्करण इकाइयों के लिए ई-नीलामी के माध्यम से गेहूं और चावल की खरीद की मात्रा में भी अंतर किया गया है. सिंह ने कहा कि एफसीआई ने प्रोसेसरों से यह भी कहा है कि वे टेंडर्स के लिए बोली लगाते समय मासिक प्रसंस्करण क्षमता से अधिक स्टॉक न रखें. उन्होंने कहा कि अगली निर्धारित ई-नीलामी 20 दिसंबर को होगी, जब 30,000 मीट्रिक टन गेहूं और 9,000 मीट्रिक टन गैर-फोर्टिफाइड चावल पश्चिम बंगाल के खुले बाजारों में बिक्री के लिए जारी किया जाएगा. उन्होंने कहा, हर हफ्ते इतनी ही मात्रा में गेहूं खुले बाजार में बिक्री के लिए जारी किया जाता है.

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