Malvi Cow Dairy Farming: गाय की देसी नस्ल मालवी, भारत में पाई जाने वाली गायों की सबसे खूबसूरत नस्लों में से एक है. यह मध्य प्रदेश में पाई जाती है. वहीं, इस गाय का नाम इसके मूल स्थान के नाम पर रखा गया है. इस नस्ल को मंथनी या महादेवपुरी के नाम से भी जाना जाता है. यह गाय ज्यादातर मध्य प्रदेश के राजगढ़, शाजापुर, रतलाम, मंदसौर और उज्जैन जिलों में पाई जाती है. मालवी नस्ल की गायें सफेद या भूरे रंग की होती हैं. इस नस्ल की गाय और बैल उम्र के साथ एक समय पर लगभग सफेद हो जाते हैं. वहीं इनके सींग घुमावदार होते हैं. इस नस्ल के मवेशी मजबूत और सुगठित होते हैं.
मालवी नस्ल की गायें एक ब्यांत में लगभग 916 किलोग्राम दूध देती हैं. वहीं औसतन दुग्ध उत्पादन क्षमता 627 किलोग्राम से 1227 किलोग्राम तक होता है. मालवी गाय के दूध में 4.3 प्रतिशत फैट पाया जाता है. मालवी को मुख्य रूप से भारवाहक पशु के रूप में जाना जाता है. ऐसे में आइए इस गाय के बारे में विस्तार से जानते हैं-
• मालवी नस्ल के मवेशी आमतौर पर सफेद या भूरे सफेद रंग के होते हैं, और उम्र के साथ रंग सफेद रंग में बदल जाता है.
• मालवी गाय एक दिन में 13 लीटर तक दे सकती है दूध
• गर्दन, कंधे, कूबड़ के चौथाई हिस्से का रंग भूरा-काला होता है.
• आंखों के आसपास के बाल काले रंग के होते हैं.
• सिर छोटा और चौड़ा होता है, और माथा झुका हुआ होता है.
• इनका थूथन चौड़ा, गहरे रंग का और थोड़ा ऊपर की ओर उठा हुआ होता है.
• पैर छोटे लेकिन शक्तिशाली और मजबूत काले खुर होते हैं.
• सींग घुमावदार होते हैं.
• कान छोटे और नुकीले होते हैं.
• पिछला भाग झुका हुआ और पीठ सीधा होता है.
• पूंछ मध्यम लंबाई की होती है.
• बैल की औसत ऊंचाई 134 सेमी और गायों की औसत ऊंचाई 120 सेमी होती है.
• बैल के शरीर की औसत लंबाई 132 सेमी और गायों के शरीर की औसत लंबाई 118 सेमी होती है.
• बैल का औसत वजन 500 किलोग्राम होता है. जबकि गाय का वजन 340 किलोग्राम होता है.
• यह गाय एक ब्यांत में लगभग 900 किलोग्राम दूध देती है.
• दूध में लगभग 4.3 प्रतिशत फैट यानी वसा पाया जाता है.
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आमतौर पर गायों की कीमत दूध देने की अवधि, दूध देने की क्षमता और उम्र के आधार पर तय किया जाता है. वहीं, मालवी गाय की कीमत/Malvi Cow Price लगभग 20 से 50 हजार रूपए तक है. कीमत कम या ज्यादा भी हो सकती है.
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मालवी गाय को भी कई तरह के रोग और बीमारियां होती हैं जिनमें पाचन से संबंधित बीमारियों में सादी बदहजमी, तेजाबी बदहजमी, खारी बदहजमी, कब्ज, अफारे, मोक/मरोड़/खूनी दस्त और पीलिया आदि शामिल हैं. वहीं रोग में तिल्ली रोग (एंथ्रैक्स), एनाप्लाज़मोसिस, अनीमिया, मुंह-खुर रोग, निमोनिया, डायरिया, थनैला रोग, पैरों का गलना और दाद आदि शामिल हैं.