
उत्तर प्रदेश में ऐसे किसान जो पानी की मुश्किलों का सामना कर रहे हैं, उन्हें सरकार ने एक राहत की खबर दी है. सिंचाई में पानी की कमी दूर करने और बढ़ते बिजली, डीजल खर्च से राहत देने के लिए राज्य सरकार ने सोलर पंप लगाने की नई योजना शुरू की है. इस स्कीम के तहत सरकार 40,521 सोलर पंप 60 फीसदी सब्सिडी पर मुहैया कराएगी. यानी किसानों को केवल थोड़ी-सी राशि चुकानी होगी, बाकी पूरा खर्च सरकार खुद उठाएगी. उत्तर प्रदेश में सौर पंप योजना मुख्य रूप से केंद्र सरकार की PM-KUSUM योजना के तहत चलती है, जिसमें किसानों को सिंचाई के लिए सोलर पंप लगाने पर सब्सिडी मिलती है. किसान 15 दिसंबर तक इस योजना के लिए अप्लाई कर सकते हैं.
कृषि विभाग के अधिकारियों के मुताबिक, इस बार सोलर पंप आवंटन पूरी तरह ‘पहले आओ–पहले पाओ’ आधार पर होगा. जो किसान समय पर आवेदन करेगा और उसके दस्तावेज पूरे होंगे, उसे प्राथमिकता मिलेगी. सरकार यह भी सुनिश्चित कर रही है कि हर जिले के किसानों को बराबर मौका मिले, इसलिए हर जिले के लिए पंपों की तय संख्या तय कर दी गई है. योजना का लाभ लेने के लिए किसानों को आवेदन करते समय 5,000 रुपये की टोकन मनी जमा करना होगा. यह राशि पंजीकरण की पुष्टि के तौर पर ली जाएगी, ताकि आवेदन प्रक्रिया पारदर्शी रहे और फर्जी आवेदन न हों. विभाग की मानें तो इससे असली और जरूरतमंद किसानों तक योजना का लाभ आसानी से पहुंच सकेगा.
सरकार का मानना है कि इस योजना से किसानों को कई बड़े फायदे होंगे. सरकार की तरफ से 60 फीसदी तक सब्सिडी मिलेगी जिससे खर्च काफी कम होगा. इसके अलावा सोलर पंप लगने के बाद बिजली बिल या डीजल पर एक रुपये भी खर्च नहीं करना पड़ेगा. वहीं सिंचाई समय पर हो सकेगी जिससे फसल उत्पादन में बढ़ोतरी होगी. वहीं गांवों में सौर ऊर्जा के उपयोग को बढ़ावा मिलेगा और पर्यावरण भी सुरक्षित रहेगा. किसान अपनी जमीन और जरूरत के हिसाब से अलग-अलग क्षमता वाले पंप चुन सकेंगे. कई किसान पहले ही ऐसे सोलर पंप लगाकर फायदा उठा रहे हैं. उनका कहना है कि इससे खेती का खर्च कम हो जाता है और पानी की समस्या लगभग खत्म हो जाती है.
राज्य सरकार का लक्ष्य है कि किसानों की आमदनी बढ़े और खेती को आधुनिक, टिकाऊ और पर्यावरण–अनुकूल बनाया जाए. बिजली की कमी और डीजल की बढ़ती कीमतें लंबे समय से किसानों की चिंता रही हैं. ऐसे में सोलर पंप एक स्थायी और कम–खर्च वाला विकल्प साबित होंगे. बहुत जल्द इस योजना के लिए ऑनलाइन आवेदन शुरू होंगे. कृषि विभाग अपनी आधिकारिक वेबसाइट पर आवेदन लिंक जारी करेगा. प्रक्रिया बिल्कुल आसान रखी गई है.
इच्छुक किसान www.agriculture.up.gov.in पर जाकर अप्लाई करें
पोर्टल पर सबसे पहले ऑनलाइन रजिस्ट्रेशन करें.
पहचान और जमीन से जुड़े जरूरी दस्तावेज अपलोड करें.
5,000 रुपये का टोकन शुल्क जमा करें.
आवेदन मंजूरी होने के बाद विभाग की टीम खेत पर जाकर पंप लगाने की प्रक्रिया शुरू करेगी.
इस बात का ध्यान रखें कि कृषि विभाग की तरफ से यह निर्देश दिए गए हैं कि 2 एचपी के लिए 4 इंच, 3 व 5 एचपी के लिए छह इंच व 7.5 एचपी व 10 एचपी के लिए 8 इंच की बोरिंग अनिवार्य है जो किसान को खुद करानी होगी. वैरीफिकेशन के समय बोरिंग नहीं होने पर टोकन मनी जब्त हो जाएगी और अप्लीकेशन भी कैंसिल कर दी जाएगी.
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