ओडिशा सरकार ने वित्त वर्ष 2025-26 के लिए बजट की घोषणा कर दी है. राज्य सरकार ने कृषि एवं संबद्ध क्षेत्र के लिए 37,838 करोड़ रुपये खर्च करने का प्रावधान है, बीते वित्तवर्ष की तुलना में 12 फीसदी अधिक है. यह रकम कृषि से जुड़ी योजनाओं, सिंचाई सुविधाएं और किसानों के लिए नई योजनाओं समेत पूरे एग्री इकोसिस्टम विकसित कर मॉडर्न बनाने पर खर्च होगी. पशुपालकों को आर्थिक लाभ पहुंचाने के लिए मुख्यमंत्री कामधेनु योजना के लिए अलग से 164 करोड़ रुपये का बजट तय किया है.
ओडिशा के मुख्यमंत्री मोहन चरण माझी ने वित्त वर्ष 2025-26 के लिए 2.90 लाख करोड़ रुपये का राज्य बजट पेश किया है. माझी ने पिछले साल जुलाई में वित्त वर्ष 2024-25 के लिए 2.65 लाख करोड़ रुपये का अंतरिम बजट पेश किया था. एजेंसी के अनुसार राज्य सरकार ने बजट में कृषि और सिंचाई पर खास ध्यान केंद्रित किया है. मुख्यमंत्री ने कहा कि राज्य की लगभग आधी आबादी कृषि पर निर्भर है. ऐसे में यह क्षेत्र समुचित विकास की मांग करता है और सरकार ने इस बजट में कृषि सेक्टर के लिए बजट 12 फीसदी बढ़ाया है.
राज्य सरकार की ओर से कहा गया कि ओडिशा की लगभग 48 प्रतिशत वर्कफोर्स कृषि पर निर्भर हैं और 80 फीसदी लोग ग्रामीण क्षेत्रों में रहते हैं. मुख्यमंत्री ने कहा कि उनकी सरकार ने बजट में कृषि और संबद्ध क्षेत्र के लिए 37,838 करोड़ रुपये आवंटित किए हैं. विधानसभा में बजट पेश करते हुए माझी ने कहा कि कृषि क्षेत्र के लिए प्रस्तावित आवंटन में लगभग 12 फीसदी की वृद्धि दिखाई देती है.
मुख्यमंत्री ने कहा कि कृषि क्षेत्र के लिए बजट प्रावधान में सीएम किसान योजना के लिए 2,020 करोड़ रुपये और बाजरा की खेती को बढ़ावा देने के लिए श्री अन्न अभियान के लिए 600 करोड़ रुपये का आवंटन शामिल है. उन्होंने कहा कि मुख्यमंत्री कामधेनु योजना के तहत दूध उत्पादन को बढ़ावा देने और किसानों की आजीविका में सुधार के लिए 164 करोड़ रुपये का प्रावधान किया गया है.
बजट भाषण के दौरान उन्होंने राज्य में सिंचाई सुविधाओं में सुधार के लिए कई नई योजनाओं का प्रस्ताव रखा. उन्होंने कहा कि राज्य सरकार ने बेहतर जल प्रबंधन के लिए बजट में विशेष प्रावधान किए हैं. राज्य बजट 2025-26 में सिंचाई और बाढ़ नियंत्रण के लिए 16,273 करोड़ रुपये आवंटित किए गए हैं, जो पिछले वित्तीय वर्ष के बजट से 15.3 फीसदी अधिक हैं.
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