मध्यप्रदेश सरकार ने पराली जलाने की समस्या को रोकने और फसल अवशेष प्रबंधन को बढ़ावा देने के लिए किसानों के हित में एक नई योजना शुरू की है. अब किसानों को स्ट्रॉ रीपर (Straw Reaper) खरीदने पर भारी सब्सिडी दी जा रही है. इससे खेतों में फसल कटाई के बाद बची पराली को जलाने की जरूरत नहीं पड़ेगी, जिससे वायु प्रदूषण में कमी आएगी और खेतों की उर्वरकता बनी रहेगी.
मध्यप्रदेश कृषि विभाग की ओर से मिली जानकारी के अनुसार, स्ट्रॉ रीपर पर सब्सिडी के लिए आवेदन की प्रक्रिया 3 अक्टूबर 2025 से शुरू हो चुकी है. किसान ई-कृषि यंत्र अनुदान पोर्टल (https://farmer.mpdage.org) के माध्यम से ऑनलाइन आवेदन कर सकते हैं.
आवेदन के आधार पर तय लक्ष्य के अनुसार किसानों का चयन लॉटरी प्रक्रिया से किया जाएगा. लॉटरी में चयनित किसानों को इसकी जानकारी पोर्टल और SMS के माध्यम से दी जाएगी.
आवेदन करते समय किसानों को ₹10,000 का डिमांड ड्राफ्ट (Demand Draft) जमा करना जरूरी होगा. यह ड्राफ्ट संबंधित जिले के सहायक कृषि यंत्री के नाम से बनवाना होगा. बिना डिमांड ड्राफ्ट के आवेदन अमान्य माना जाएगा.
स्ट्रॉ रीपर एक आधुनिक कृषि यंत्र है जो फसल की कटाई के बाद खेत में बचे फसल अवशेष (पराली) को इकट्ठा करता है. इन अवशेषों का उपयोग किसान पशु चारे, जैविक खाद या ऊर्जा उत्पादन में कर सकते हैं.
इसके फायदे:
स्ट्रॉ रीपर सब्सिडी योजना में आवेदन करते समय किसानों को निम्नलिखित दस्तावेजों की जरूरत होगी:
कृषि विभाग ने किसानों से अपील की है कि वे समय पर आवेदन करें, क्योंकि योजना सीमित लक्ष्य पर आधारित है. यदि आवेदन अधिक आते हैं, तो लॉटरी के जरिए चयन किया जाएगा.
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