हिमाचल प्रदेश के किसानों को राज्य सरकार ने बड़ी राहत देते हुए उनके बिजली बिल पर भारी सब्सिडी देने का ऐलान किया है. अब यहां के किसानों को बिजली के लिए मात्र 1 रुपये प्रति यूनिट ही भुगतान करना होगा. बाकी राशि यानी 4.04 रुपये राज्य सरकार सब्सिडी देगी. इसकी जानकारी सोमवार को राज्य सरकार के एक प्रवक्ता ने दी. उन्होंने कहा कि सरकार किसानों को सस्ती दरों पर बिजली उपलब्ध करवाने के लिए पूरी तरह से प्रतिबद्ध है. किसानों को मात्र एक रुपये प्रति यूनिट की दर से बिजली उपलब्ध करवाई जाएगी. इसके लिए राज्य सरकार प्रति यूनिट 4.04 रुपये की सब्सिडी वहन करेगी. इसके लिए अधिसूचना जारी कर दी गई है.
प्रवक्ता ने कहा अधिसूचना जारी होने में थोड़ी देरी हुई है, जिसके कारण कुछ किसानों को अस्थायी रूप से बढ़ी हुई दरों के हिसाब से बिजली बिल मिले हैं. लेकिन, जिन किसानों से ज्यादा राशि वसूली हुई है, उनके अगले बिलों में उस राशि को समायोजित (Adjust) कर राहत दी जाएगी. उन्होंने कहा कि वर्तमान राज्य सरकार किसानों के कल्याण को सर्वोच्च प्राथमिकता दे रही है और इस दिशा में सभी जरूरी और प्रभावी कदम उठाए जा रहे हैं.
न्यूज एजेंसी एएनआई के मुताबिक, इससे पहले रविवार को विधानसभा में विपक्ष के नेता जयराम ठाकुर ने रविवार को सुक्खू सरकार पर तीखा हमला बोला. ठाकुर ने आरोप लगाया कि सरकार "व्यवस्था में सुधार" के वादे के तहत सत्ता में आई थी और अब "शुल्कों की सरकार" बन गई है, जो लगातार राज्य के लोगों पर तरह-तरह के शुल्क लगा रही है. प्रेस विज्ञप्ति में ठाकुर ने सरकार की आलोचना करते हुए कहा कि यह तथाकथित जनहितैषी सरकार अब किसानों को बढ़े हुए बिजली बिलों से चौंका रही है. विपक्ष के नेता ठाकुर ने दावा किया कि सत्ता में बैठी सरकार किसानों से पांच से छह गुना अधिक बिजली बिल भरवाकर उनका शोषण कर रही है.
उन्होंने कहा कि सरकार ने किसानों द्वारा इस्तेमाल किए जाने वाले सिंचाई संबंधी कनेक्शनों के बिजली बिलों में पांच से छह गुना वृद्धि की है. यह गरीब किसानों का सरासर शोषण है. सिंचाई के लिए बिजली शुल्क में की गई भारी वृद्धि लोगों की समझ से परे है. किसानों को इस वृद्धि पर यकीन नहीं हो रहा है और कई किसान स्पष्टीकरण के लिए बिजली दफ्तरों के चक्कर लगा रहे हैं. यह किसानों के साथ सरासर अन्याय है. कांग्रेस जहां किसानों के नाम पर देशभर में बड़े-बड़े दावे करती है, वहीं हिमाचल में उसने सिंचाई के बिजली बिलों में पांच गुना वृद्धि कर दी है.
ठाकुर ने सवाल किया कि क्या मुख्यमंत्री सिर्फ अपने खोखले वादों में किसानों के हिमायती हैं? कांग्रेस पूरे देश में किसानों के कल्याण के बारे में झूठ फैलाती है, लेकिन जहां वे सत्ता में हैं, वहां वे सिंचाई के लिए इस्तेमाल की जाने वाली बिजली की लागत बढ़ाकर किसानों पर बोझ डाल रही है. नेता प्रतिपक्ष ठाकुर ने आगे दावा किया कि उन्हें राज्य भर के कई किसान परिवारों से फोन आए हैं, सभी ने बिजली बिलों में की गई वृद्धि पर दुख व्यक्त किया है. लोग अपने पुराने और नए बिल भेज रहे हैं, ताकि पता चल सके कि पिछले महीने की तुलना में राशि में पांच गुना से अधिक की वृद्धि कैसे हुई है.
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