Farmers Protest: नोएडा में किसानों का विरोध प्रदर्शन, जमीन रिकॉर्ड में गड़बड़ी से बढ़ा विवाद

Farmers Protest: नोएडा में किसानों का विरोध प्रदर्शन, जमीन रिकॉर्ड में गड़बड़ी से बढ़ा विवाद

Farmers protest: नोएडा में किसानों ने लैंड रिकॉर्ड में गड़बड़ी को लेकर बीकेयू के नेतृत्व में एसडीएम कार्यालय के बाहर जोरदार प्रदर्शन किया. क्या है मामला, जानिए किसान आंदोलन से जुड़ी हर जानकारी.

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Farmers Protest: नोएडा में किसानों का विरोध प्रदर्शन, जमीन रिकॉर्ड में गड़बड़ी से बढ़ा विवादनोएडा में एक बार फिर किसान सड़कों पर उतरे किसान (सांकेतिक फोटो)

Farmers Protest: नोएडा में एक बार फिर किसान सड़कों पर हैं. इस बार कारण है संशोधित भूमि अभिलेखों में खामियां. किसानों का आरोप है कि राजस्व विभाग द्वारा हाल ही में किए गए भूमि अभिलेखों के संशोधन में गंभीर गड़बड़ियां की गई हैं. इससे किसानों की जमीनों का सही विवरण रिकॉर्ड में नहीं दिख रहा, जिससे उन्हें भविष्य में जमीन पर मालिकाना हक साबित करने में परेशानी हो सकती है.

बीकेयू के नेतृत्व में जोरदार प्रदर्शन

भारतीय किसान यूनियन (BKU) के नेतृत्व में किसानों ने सेक्टर 6 स्थित एसडीएम कार्यालय के बाहर जोरदार प्रदर्शन किया. प्रदर्शन के दौरान किसानों ने एसडीएम चारूल यादव को ज्ञापन सौंपते हुए समस्या का तत्काल समाधान करने की मांग की. उनका कहना है कि भूमि रिकॉर्ड में जानबूझकर गड़बड़ी की गई है, जिससे किसानों का अधिकार छीनने की कोशिश की जा रही है.

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कृषि कानून विरोध की याद दिलाता आंदोलन

इस विरोध प्रदर्शन ने एक बार फिर से कृषि कानून विरोध और किसान आंदोलन की याद दिला दी. किसानों ने कहा कि जिस तरह पहले भी उनकी बात को अनसुना किया गया था, अब फिर वैसी ही स्थिति उत्पन्न हो रही है. किसान संगठनों का कहना है कि अगर जल्द ही इन खामियों को दूर नहीं किया गया, तो आंदोलन और तेज किया जाएगा.

किसान संगठन एकजुट, मांगों पर अड़े

किसान संगठन इस मुद्दे पर एकजुट नजर आए. सभी ने मिलकर यह निर्णय लिया कि जब तक भूमि अभिलेखों में सुधार नहीं होता और असल मालिकाना हक नहीं दिखाया जाता, तब तक विरोध जारी रहेगा. किसानों ने कहा कि वे अपने अधिकारों के लिए किसी भी हद तक जाने को तैयार हैं.

सरकारी प्रतिक्रिया का इंतजार

राजस्व विभाग और स्थानीय प्रशासन की ओर से अभी तक कोई ठोस कार्रवाई सामने नहीं आई है. एसडीएम चारूल यादव ने किसानों को आश्वासन दिया है कि मामले की जांच की जाएगी और आवश्यक कदम उठाए जाएंगे. लेकिन किसानों का भरोसा अब आश्वासनों से उठ चुका है. नोएडा में किसानों का यह विरोध सिर्फ एक क्षेत्रीय समस्या नहीं है, बल्कि यह एक बड़े मुद्दे की ओर इशारा करता है कि कैसे सरकारी रेकॉर्ड में गड़बड़ियां ग्रामीण भारत को प्रभावित कर रही हैं. अगर जल्द ही किसानों की बात नहीं सुनी गई, तो बीकेयू प्रदर्शन और किसान संगठन विरोध और व्यापक रूप ले सकता है. प्रशासन को चाहिए कि वह संवेदनशीलता के साथ किसानों की बात सुने और समाधान निकाले.

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