प्राकृतिक आपदा किसानों के लिए सबसे बड़ी आफत होती है. आपदा आने पर सबसे पहले किसान वर्ग प्रभावित होता है. इसी आपदा से होने वाले नुकसान की भरपाई के लिए किसानों की फसलों का बीमा किया जाता है. उत्तर प्रदेश के कृषि मंत्री सूर्य प्रताप शाही ने गुरुवार को बताया कि उत्तर प्रदेश के कृषि क्षेत्र को प्रतिकूल मौसमी परिस्थितियों और आकस्मिक दशाओं में खेती को होने वाले संभावित नुकसान से किसानों को बचाने के लिए प्रदेश सरकार की ओर से कृषि बीमा में सब्सिडी के लिए वित्तीय स्वीकृति प्रदान की गई है. उन्होंने बताया कि नेशनल क्रॉप इंश्योरेंस प्रोग्राम के अंतर्गत सरकार द्वारा वित्तीय वर्ष 2023-24 में कृषि सब्सिडी में प्राविधानित धनराशि 75370.00 लाख रुपये के सापेक्ष धनराशि 73 करोड़ 58 लाख रुपये की वित्तीय स्वीकृति प्रदान की गयी है.
आपको बता दें कि देश में कृषि फसलों को प्राकृतिक आपदा से होने वाले नुकसान पर बीमा सुरक्षा देने और किसानों का जोखिम कम करने के उद्देश्य से यह योजना लायी गयी. पूर्व की सभी फसल बीमा योजनाओं की समीक्षा के बाद प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की सरकार ने यह योजना लागू की.
यह भी पढ़ें- Monsoon Rain: अगस्त में ब्रेक लेगा मॉनसून, फिर पूरी तैयारी के साथ बरसेगा... बाढ़ के भी बनेंगे आसार
प्रधानमंत्री फसल बीमा योजना के तहत खरीफ 2023 में ज्वार, बाजरा, ग्वार, कपास, मक्का तथा रबी फसल के लिए भी बीमा होता है, साथ ही मौसम आधारित फसल बीमा में प्याज, हरी मिर्च, टमाटर फसल को रखा गया है. वहीं उद्यान के लिए किसानों की ओर से बीमा करवाया जा सकता है.
उत्तर प्रदेश एक कृषि प्रधान राज्य है. यहां हर तरह की पारंपरिक फसल से लेकर देसी, विदेशी, बागवानी, औषधी, मसाला, सब्जी, फल और पेड़ों से लेकर घास तक की खेती होती है. इन फसलों को मौसम की अनिश्चितताओं से बचाने के लिए सरकार की तरफ प्रधानमंत्री फसल बीमा योजना के जरिए बीमा करवाने की सहूलियत दी जाती है, जिससे फसल में होने वाला आर्थिक नुकसान अकेले किसान पर भारी ना पड़े.
यह भी पढ़ें- यूपी में 'छुट्टा पशुओं' से किसानों को मिलेगी बड़ी राहत, बुंदेलखंड के बाद पूरे प्रदेश में लागू होगी यह बड़ी योजना
हर जिले में बारिश, ओलावृष्टि और बाढ से फसलों का भारी नुकसान हुआ है. इससे पहले मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने प्रदेश में फसलों को हुए नुकसान का आकलन कराकर किसानों को तत्काल राहत देने का निर्देश दिया था. बिगड़े मौसम से जनहानि व पशुहानि के लिए भी मुआवजा देने के लिए कहा है.
Copyright©2025 Living Media India Limited. For reprint rights: Syndications Today