Mushroom Farming: मशरूम की खेती से बढ़ाएं आय, IARI ने दी ये खास टिप्स

Mushroom Farming: मशरूम की खेती से बढ़ाएं आय, IARI ने दी ये खास टिप्स

IARI ने आयोजित किया 5 दिवसीय मशरूम खेती प्रशिक्षण कार्यक्रम, जिसमें किसानों, छात्रों और महिला उद्यमियों को मशरूम की खेती और सतत कृषि व्यवसाय के बारे में व्यावहारिक ज्ञान दिया गया. जानिए कैसे बनाएं मशरूम से लाभकारी व्यवसाय.

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Mushroom Farming: मशरूम की खेती से बढ़ाएं आय, IARI ने दी ये खास टिप्समशरूम की खेती

ICAR-भारतीय कृषि अनुसंधान संस्थान (IARI) के ZTM & BPD इकाई ने प्लांट पैथोलॉजी डिवीजन के साथ मिलकर एक राष्ट्रीय स्तर का पांच दिवसीय प्रशिक्षण कार्यक्रम “सतत कृषि व्यवसाय के लिए मशरूम की खेती” पर आयोजित किया. इस कार्यक्रम में देशभर से आए छात्र, किसान, महिला उद्यमी और सरकारी अधिकारी शामिल हुए. कार्यक्रम की शुरुआत 25 अगस्त को ZTM & BPD यूनिट कॉन्फ्रेंस हॉल में हुई. IARI के निदेशक डॉ. च. श्रीनिवास राव ने उद्घाटन करते हुए मशरूम को सतत खेती और ग्रामीण उद्यमिता का अहम हिस्सा बताया. उन्होंने प्रतिभागियों से आग्रह किया कि वे इस क्षेत्र में व्यावहारिक ज्ञान लेकर नए स्टार्टअप की ओर कदम बढ़ाएं. इस अवसर पर एक प्रशिक्षण मैनुअल “मशरूम की खेती: सतत कृषि व्यवसाय के लिए” भी लॉन्च किया गया.

वैज्ञानिकों से मार्गदर्शन और जानकारी

प्रशिक्षण के दौरान IARI के प्रमुख वैज्ञानिक जैसे कि डॉ. एम.एस. सहारण, डॉ. दीबा कमिल, डॉ. अमृता दास और ZTM & BPD यूनिट की प्रभारी डॉ. आकृति शर्मा ने विषयों पर गहन जानकारी साझा की.

प्रतिभागियों को निम्नलिखित विषयों पर प्रशिक्षण दिया गया:

  • मशरूम उत्पादन की शुरुआत
  • Agaricus bitorquis की खेती
  • खाद (compost) बनाने की तकनीक
  • बीज उत्पादन (spawn production) और बोने की विधियां
  • शिटाके, पैडी स्ट्रॉ, कॉर्डीसिप्स, ऑयस्टर, वाइट बटन और मिल्की मशरूम की खेती
  • मशरूम का पोषण और औषधीय मूल्य
  • प्रसंस्करण और पैकेजिंग तकनीक
  • कृषि अपशिष्ट का पुनः उपयोग
  • उद्यमिता विकास और सरकारी योजनाएं
  • लागत-लाभ विश्लेषण और स्टार्टअप के अवसर

सोनिपत के मशरूम फार्म की यात्रा

28 अगस्त को प्रतिभागियों को हरियाणा के सोनिपत जिले के एक उन्नत मशरूम फार्म का दौरा कराया गया. वहां उन्होंने खाद तैयार करने से लेकर मार्केटिंग तक की पूरी प्रक्रिया को प्रत्यक्ष रूप से देखा और सीखा. यह अनुभव उनके व्यावसायिक कौशल को और मजबूत बनाने में मददगार रहा.

समापन समारोह और प्रमाणपत्र वितरण

29 अगस्त को आयोजित समापन सत्र में IARI के संयुक्त निदेशक (अनुसंधान) डॉ. सी. विश्वनाथन मुख्य अतिथि रहे. उन्होंने सभी प्रतिभागियों को बधाई दी और IARI के नवाचार प्लेटफार्मों से जुड़े रहने की सलाह दी. उन्होंने सभी को प्रशिक्षण प्रमाणपत्र भी वितरित किए.

प्रतिभागियों की प्रतिक्रिया

इस प्रशिक्षण कार्यक्रम से प्रतिभागियों ने न केवल वैज्ञानिक जानकारी पाई, बल्कि उद्यमिता और खेत स्तर के अनुभव भी प्राप्त किए. उन्होंने IARI के इस प्रयास की सराहना की और कहा कि अब वे मशरूम व्यवसाय में आत्मविश्वास के साथ आगे बढ़ने को तैयार हैं.

ICAR-IARI द्वारा आयोजित यह पांच दिवसीय प्रशिक्षण कार्यक्रम कृषि से जुड़े लोगों के लिए एक बेहतरीन अवसर साबित हुआ. मशरूम की खेती न केवल एक लाभदायक व्यवसाय है, बल्कि यह सतत कृषि और रोजगार सृजन का सशक्त माध्यम भी बन सकती है. ऐसे प्रशिक्षण कार्यक्रम ग्रामीण युवाओं और महिला उद्यमियों के लिए नई राहें खोलने का कार्य कर रहे हैं.

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