बिहार का सारण इस समय चर्चा का केंद्र बना हुआ है. यहां पर लोकसभा चुनाव के पांचवें चरण यानी 20 मई को वोट डाले जाएंगे. यह खबरों में इस समय लालू प्रसाद यादव की बेटी रोहिणी आचार्य की उम्मीदवारी की वजह से है. रोहिणी को राष्ट्रीय जनता दल (आरजेडी) ने सारण से चुनावी मैदान में उतारा है और यह उनका पहला चुनाव है. रोहिणी के सामने भारतीय जनता पार्टी (बीजेपी) के वर्तमान सांसद और सीनियर लीडर राजीव प्रताप रूडी हैं. सारण की राजनीति से अलग आज हम आपको राजीव प्रताप रूडी के बारे में बताते हैं. रूडी सन् 1989 से राजनीति में सक्रिय हैं और वह पूर्व प्रधानमंत्री चंद्रशेखर के करीबी रह चुके हैं.
एक जाने-माने सांसद और भारत के एक प्रमुख वाहक के लिए उड़ान भरने वाले एक उत्साही पायलट, राजीव प्रताप रूडी का कहना है कि उन्हें हर कुछ वर्षों में एक नया कौशल सीखने में आनंद आता है. लिम्का बुक ऑफ रिकॉर्ड्स की मानें तो रूडी इकलौते ऐसे राजनेता हैं जिनके पास फ्लाइंग का भी लाइसेंस है. रूडी सांसद होने के अलावा जल संसाधन पर स्थायी समिति के अध्यक्ष रहे हैं. इसके अलावा वह पूर्व केंद्रीय राज्य मंत्री, स्किल डेवलपमेंट एंड एंटरप्रेन्योरशिप (स्वतंत्र प्रभार), संसदीय कार्य, वाणिज्य और उद्योग, नागरिक उड्डयन मंत्रालय भी संभाल चुके हैं. साथ ही वह बीजेपी के राष्ट्रीय महासचिव और प्रवक्ता भी रहे हैं.
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रूडी का जन्म और पालन-पोषण पटना में हुआ. उनका पैतृक घर अमनौर है, जो मुख्य रूप से बिहार के सारण जिले का एक ग्रामीण ब्लॉक है. उन्होंने अर्थशास्त्र ऑनर्स में ग्रेजुएशन किया है, और पंजाब यूनिवर्सिटी से कानून की डिग्री ली. इसके बाद उन्होंने मगध यूनिवर्सिटी से अर्थशास्त्र में पोस्ट ग्रेजुएशन किया. इन सबके अलावा वह फ्लोरिडा, यूएसए से ए-320 टाइप रेटिंग वाले एक ट्रेन्ड कमर्शियल पायलट भी हैं. वह पटना के सेंट माइकल्स हाई स्कूल से स्कूली शिक्षा के बाद चंडीगढ़ चले गए थे.
रूडी जिस समय कॉलेज में थे उसी समय उन्होंने छात्रों के लिए प्रोग्रेसिव स्टूडेंट फ्रंट (पीएसएफ) नामक एक राजनीतिक मोर्चा बनाया. सरकारी कॉलेज में छात्र संघ के अध्यक्ष के रूप में उन्हें चुना गया. यहीं से उन्होंने फ्लाइंग भी सीखी. पायलट के रूप में उन्हें शुरुआती फ्लाइंग एक्सपीरियंस और उनकी ट्रेनिंग पटियाला फ्लाइंग क्लब में हुई थी. यहां पर उन्हें राष्ट्रीय कैडेट कोर एयर विंग की तरफ से चुना गया था.
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रूडी शायद दुनिया के इकलौते सांसद हैं जो एयरबस ए-320 जेट तो उड़ाते ही हैं साथ ही साथ भारत की लीडिंग एयरलाइनों में से एक में सीनियर फर्स्ट ऑफिसर के तौर पर हैं.इसके अलावा उन्होंने अलग-अलग मौकों पर भारतीय वायु सेना के लड़ाकू विमान सुखोई 30-एमकेआई, राफेल फाइटर जेट और ग्रिपेन तक को उड़ाया है. वह बिहार के यूनिवर्सिटी में इकोनॉमिक्स के टीचर थे और साथ ही पटना हाई कोर्ट में कानूनी सलाहकार के तौर पर कुछ दिन काम कर चुके हैं.
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चंडीगढ़ में अपने कॉलेज के दिनों के दौरान और उसके बाद, वह पूर्व पीएम चंद्रशेखर के साथ सक्रिय तौर पर जुड़े. उन्होंने छात्र जनता के अध्यक्ष के रूप में अखिल भारतीय स्तर पर युवा शाखा की देखभाल भी की. चंडीगढ़ में अपनी शिक्षा पूरी करने के बाद, वह बिहार में अपने गृह नगर छपरा लौट गए. अगले पांच सालों तक लगातार काम किया. सन् 1990 में वह जब सिर्फ 28 साल के थे तो बिहार के तरैया से विधानसभा सदस्य चुने गए थे. रूडी साल 2022 में उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के लिए प्लेन उड़ाने के अलावा साल 2013 में उस फ्लाइट को भी उड़ा रहे थे जो बीजेपी के कार्यक्रम के लिए गोवा गई थी. इसी सम्मेलन में मोदी को पीएम के तौर पर आगे बढ़ाने के नाम पर हामी भरी गई थी.
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