केंद्रीय वाणिज्य और उद्योग मंत्री पीयूष गोयल ने मंगलवार को नई दिल्ली में राष्ट्रीय हल्दी बोर्ड का शुभारंभ किया. हल्दी बोर्ड का मुख्यालय निजामाबाद में बनाया गया है. बोर्ड के पहले अध्यक्ष पल्ले गंगा रेड्डी नियुक्त किए गए हैं. केंद्रीय मंत्री पीयूष गोयल ने कहा कि राष्ट्रीय हल्दी बोर्ड का शुभारंभ देश भर में शुभ दिन (मकर संक्रांति) पर हो रहा है. केंद्रीय मंत्री ने कहा कि राष्ट्रीय हल्दी बोर्ड में विभिन्न मंत्रालयों के प्रतिनिधि शामिल होंगे. निर्यातक और उत्पादक निकाय के प्रतिनिधि भी बोर्ड में शामिल किए जाएंगे.
गोयल ने कहा कि हल्दी को 'गोल्डन स्पाइस' के रूप में भी जाना जाता है और नवगठित बोर्ड महाराष्ट्र, तमिलनाडु, आंध्र प्रदेश, तेलंगाना, मध्य प्रदेश, मेघालय सहित अन्य 20 राज्यों के हल्दी किसानों के कल्याण पर विशेष ध्यान देगा. आंध्रप्रदेश और तेलंगाना में हल्दी का उत्पादन बढ़ाने की अपार संभावनाएं हैं और हल्दी बोर्ड के गठन से देश के हल्दी उत्पादकों की आय बढ़ेगी.
केंद्रीय मंत्री ने कहा कि नवगठित बोर्ड नए हल्दी उत्पादों के अनुसंधान और विकास को बढ़ावा देने के साथ विदेशों में मार्केटिंग के लिए हल्दी से जुड़े उत्पादों की क्वालिटी प्रमोशन पर ध्यान देगा. बोर्ड हल्दी के जरूरी और चिकित्सीय गुणों के बारे में जागरूकता, इसकी उपज बढ़ाने और नए बाजारों में व्यापार को बढ़ावा देने के लिए भंडारण और सप्लाई चेन को बढ़ावा देने के उपायों पर ध्यान देगा. साथ ही यह बोर्ड हल्दी उत्पादन और निर्यात की गुणवत्ता और मानकों को देखने का काम भी करेगा.
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गोयल ने कहा कि पिछले वर्ष, 2023-24 में भारत में 3 लाख पांच हजार हेक्टेयर क्षेत्र में हल्दी की खेती हुई थी, जिसमें 10 लाख 74 हजार टन हल्दी का उत्पादन हुआ था. दुनिया के कुल हल्दी उत्पादन में 70 प्रतिशत से अधिक योगदान भारत का है. यहां 30 हल्दी किस्मों की खेती होती है.
हल्दी बोर्ड के गठन के मौके पर केंद्रीय गृह राज्य मंत्री बंडी संजय कुमार और निजामाबाद के सांसद अरविंद धर्मपुरी उपस्थित थे. बोर्ड में अध्यक्ष के अलावा, आयुष मंत्रालय, औषधि विभाग, कृषि और किसान कल्याण विभाग और वाणिज्य विभाग के प्रतिनिधियों को भी नामित किया गया है.
हल्दी के उत्पादन वाले दो शीर्ष राज्यों महाराष्ट्र और तेलंगाना और लकाडोंग हल्दी के लिए प्रसिद्ध मेघालय के प्रतिनिधि भी बोर्ड में शामिल होंगे. भारत विश्व में हल्दी का सबसे बड़ा उत्पादक, उपभोक्ता और निर्यातक है और विश्व व्यापार में उसकी 62 प्रतिशत से ज्यादा हिस्सेदारी है. देश में 2023-24 के दौरान 226.5 मिलियन डॉलर मूल्य के 1 लाख 62 हजार टन हल्दी और हल्दी उत्पादों का निर्यात किया गया.
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